रांची: लोकसभा 2019 का चुनावी रंग और सरहुल का रंग नेताओं को राजनीति करने में बल प्रदान कर रहा है. वर्तमान सांसद रामटहल चौधरी ने बीजेपी से अपना इस्तीफा देने के बाद निर्णय किया है कि वह निर्दलीय लड़ेंगे. अब रांची लोकसभा सीट में महासंग्राम होने वाला है.
एक तरफ बीजेपी से बागी हुए वर्तमान सांसद रामटहल चौधरी तो वहीं दूसरी ओर बीजेपी ने संजय सेठ को रांची लोकसभा सीट के लिए उम्मीदवार बनाया है. कांग्रेस ने सुबोधकांत को अपना उम्मीदवार बनाया है. बुधवार को सरहुल मिलन समारोह कार्यक्रम के दौरान एक ही मंच पर वर्तमान सांसद रामटहल चौधरी और पूर्व केंद्रीय मंत्री सुबोधकांत सहाय नजर आए.
रामटहल चौधरी 16 अप्रैल को निर्दलीय चुनाव लड़ने को लेकर नामांकन करेंगे. रामटहल चौधरी ने कहा है कि बीजेपी को अहंकार हो गया था यही कारण है कि झारखंड के 4 वर्तमान सांसदों का टिकट काट दिया है. सत्ता में बैठकर उनको कुछ दिखाई नहीं दे रहा है. वो अब जनता के पास जाएंगे और बीजेपी के नाकामियों की पोल खोलेंगे और सत्ता से उखाड़ फेंकने का काम करेंगे.
रामटहल ने कहा कि इंदिरा गांधी और राजीव गांधी की सरकार को फुल बहुमत आया था, लेकिन उसके बाद वह सिमटते चले गए. उन्होंने कहा कि ऐसा ही हाल बीजेपी का होने वाला है. जनता का सपोर्ट उनके साथ है वो निर्दलीय लड़कर चुनाव जीतेंगे. वहीं, पूर्व केंद्रीय मंत्री और रांची संसदीय क्षेत्र के प्रत्याशी सुबोधकांत सहाय ने कहा कि राजनीति में स्वाभिमान सबसे बड़ा होता है जो नेता अगर स्वाभिमान नहीं बचा सका उसका राजनीति में कुछ नहीं रहता. रामटहल चौधरी ने अपने स्वाभिमान को बचाने के लिए बीजेपी से इस्तीफा दिया है. बीजेपी में लोगों की कदर नहीं है. सुबोधकांत ने कहा की वो 5 साल से चुनाव की तैयारी कर रहे हैं. उनका मुकाबला किसी से नहीं है.