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Opposition Unity: सीएम नीतीश और हेमंत के बीच की मुलाकात के बाद क्या बन गई बात? अटकलों को दौर जारी

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के बीच मुलाकात को लेकर सवाल और अटकलों का दौर शुरू हो गया है. इस मुलाकात का क्या रिजल्ट आएगा और क्या दोनों नेताओं के बीच बात बन गई, इसके जवाब तलाशे जा रहे हैं.

nitish hemant meeting
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Published : May 10, 2023, 8:56 PM IST

सीएम हेमंत सोरेन और सीएम नीतीश कुमार के बयान

रांची: बीजेपी के खिलाफ विपक्षी एकता को मजबूत बनाने में जुटे बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार बुधवार को झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से मिलने रांची पहुंचे. उन्होंने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से उनके सरकारी आवास पर मुलाकात की. दोनों नेताओं ने इस मुलाकात को सकारात्मक बताया. वहीं सीएम हेमंत सोरेन ने नीतीश कुमार की इस कोशिश की सराहना की.

यह भी पढ़ें: हेमंत सोरेन से मिले नीतीश कुमार, कहा- देश के इतिहास को बदलने की हो रही कोशिश, 2024 में सब एकजुट होकर लड़ेंगे चुनाव

नीतीश-हेमंत मुलाकात, क्या बन गई बात: मिशन 2024 को लेकर नीतीश और हेमंत की ये मुलाकात क्या रंग लाएगी, इस पर सवाल अभी से उठने लगे हैं. पिछले चुनाव के दौरान झारखंड के 14 सीटों में से एनडीए के खाते में 12 सीटें हाथ लगी थी. वहीं एक सीट झारखंड मुक्ति मोर्चा और एक सीट पर कांग्रेस को सफलता मिली थी. झारखंड में जदयू का कोई खास जनाधार नहीं है. ऐसे में नीतीश कुमार झारखंड मुक्ति मोर्चा और कांग्रेस को भरोसे में लेकर 2024 के चुनावी नैया को पार लगाने में जुटे हैं. मगर, सवाल हमेशा की तरह इस बार भी तब उठने लगी जब नीतीश कुमार से पत्रकारों ने यह पूछना शुरू किया कि विपक्षी एकता का नेता कौन होगा? इसका जवाब देने से नीतीश कुमार बचते दिखे.

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हेमंत सोरेन को शॉल ओढ़ाते नीतीश कुमार

हेमंत सोरेन ने मीडिया कर्मियों के सामने जिस तरह से अपनी बातों को रखा और यह कहा कि आज संक्षिप्त चर्चा हुई है, आने वाले समय में इस पर विस्तार से चर्चा करने की आवश्यकता है. इसे कहीं ना कहीं झारखंड मुक्ति मोर्चा का बड़ा एजेंडा के रूप में माना जा रहा है. हेमंत सोरेन हाल के दिनों में आदिवासी चेहरा के रूप में देश में तेजी से उभर रहे हैं. ऐसे में पार्टी की महत्वाकांक्षा को किनारे कर कोई फैसला लेने में वे जल्दबाजी नहीं दिखायेंगे. यही वजह है कि इसके संकेत सीएम हेमंत ने दे दिए हैं.

दोनों नेताओं के बीच एक घंटे तक चली बातचीत: बता दें कि पूर्व घोषित कार्यक्रम के अनुसार बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के साथ डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव, जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह और मंत्री संजय कुमार झा भी मौजूद थे. सभी नेताओं के बीच बंद कमरे में करीब 1 घंटे तक हुई बातचीत के दौरान अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव को लेकर रणनीति बनती रही. इस दौरान नीतीश कुमार ने इमोशनल कार्ड खेलते हुए मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से विपक्षी एकता बनाने के उनके मुहिम में साथ देने की अपील की. बीजेपी को नंबर वन राजनीतिक दुश्मन मान रहे इन नेताओं के बीच आनेवाले समय में 2024 के लोकसभा चुनाव को लेकर विस्तार से चर्चा करने की सहमति बनी.

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बातचीत करते हेमंत सोरेन, नीतीश कुमार और तेजस्वी यादव

नीतीश ने हेमंत के साथ खेला इमोशनल कार्ड: हेमंत सोरेन के साथ मुलाकात के दौरान नीतीश कुमार ने इमोशनल कार्ड खेलते हुए उनके पिताजी के साथ रहे संबंधों को याद कराते हुए कहा कि उन्हें मुख्यमंत्री बनाने का काम गुरुजी शिबू सोरेन ने ही किया था. इस वजह से सोरेन परिवार से उनका रिश्ता पुराना है. मुलाकात के बाद संयुक्त रूप से दोनों नेताओं ने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि वर्तमान राजनीतिक परिस्थिति को ध्यान में रखते हुए यह आवश्यक है कि विपक्षी एकता को बनाना चाहिए. इस मौके पर नीतीश कुमार ने कहा कि पूरे देश में विपक्ष एकजुट होकर आगे चले, इसके लिए प्रयास किए जा रहे हैं. एकजुट होकर विपक्ष आगे चलेगा तो देश का विकास होगा और यदि देश का विकास होगा तो झारखंड अछूता नहीं रहेगा. हम लोगों का प्रयास होगा कि विपक्षी एकता बनी रहे और आपसी विवाद ना होने दिया जाए. इसके लिए मिलजुल कर काम करेंगे.

मीडिया कर्मियों के द्वारा पूछे गए सवाल का जवाब देते हुए नीतीश कुमार ने कहा कि कांग्रेस के बड़े नेताओं के साथ उनकी बातचीत हो चुकी है. झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने विपक्षी एकता बनाने को लेकर नीतीश कुमार की पहल की सराहना करते हुए कहा कि आज संक्षिप्त बातचीत हुई है. आने वाले समय में विस्तार से इस पर चर्चा करने की आवश्यकता है.

यह भी पढ़ें: Opposition Unity: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मुलाकात के बाद बोले हेमंत सोरेन, एकजुट होकर चलने का लिया गया निर्णय

बहरहाल, ओडिशा के बाद नीतीश कुमार झारखंड दौरे पर रहे और आने वाले समय में महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे और एनसीपी प्रमुख शरद पवार से मुलाकात कर गैर बीजेपी एकता को मजबूत करेंगे. माना जा रहा है कि अगले महीने 17 या 18 जून को पटना में गैर भाजपा दलों के बड़े नेताओं का महाजुटान होगा जिसमें 2024 की चुनावी रणनीति बनाने की कोशिश की जाएगी.

सीएम हेमंत सोरेन और सीएम नीतीश कुमार के बयान

रांची: बीजेपी के खिलाफ विपक्षी एकता को मजबूत बनाने में जुटे बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार बुधवार को झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से मिलने रांची पहुंचे. उन्होंने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से उनके सरकारी आवास पर मुलाकात की. दोनों नेताओं ने इस मुलाकात को सकारात्मक बताया. वहीं सीएम हेमंत सोरेन ने नीतीश कुमार की इस कोशिश की सराहना की.

यह भी पढ़ें: हेमंत सोरेन से मिले नीतीश कुमार, कहा- देश के इतिहास को बदलने की हो रही कोशिश, 2024 में सब एकजुट होकर लड़ेंगे चुनाव

नीतीश-हेमंत मुलाकात, क्या बन गई बात: मिशन 2024 को लेकर नीतीश और हेमंत की ये मुलाकात क्या रंग लाएगी, इस पर सवाल अभी से उठने लगे हैं. पिछले चुनाव के दौरान झारखंड के 14 सीटों में से एनडीए के खाते में 12 सीटें हाथ लगी थी. वहीं एक सीट झारखंड मुक्ति मोर्चा और एक सीट पर कांग्रेस को सफलता मिली थी. झारखंड में जदयू का कोई खास जनाधार नहीं है. ऐसे में नीतीश कुमार झारखंड मुक्ति मोर्चा और कांग्रेस को भरोसे में लेकर 2024 के चुनावी नैया को पार लगाने में जुटे हैं. मगर, सवाल हमेशा की तरह इस बार भी तब उठने लगी जब नीतीश कुमार से पत्रकारों ने यह पूछना शुरू किया कि विपक्षी एकता का नेता कौन होगा? इसका जवाब देने से नीतीश कुमार बचते दिखे.

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हेमंत सोरेन को शॉल ओढ़ाते नीतीश कुमार

हेमंत सोरेन ने मीडिया कर्मियों के सामने जिस तरह से अपनी बातों को रखा और यह कहा कि आज संक्षिप्त चर्चा हुई है, आने वाले समय में इस पर विस्तार से चर्चा करने की आवश्यकता है. इसे कहीं ना कहीं झारखंड मुक्ति मोर्चा का बड़ा एजेंडा के रूप में माना जा रहा है. हेमंत सोरेन हाल के दिनों में आदिवासी चेहरा के रूप में देश में तेजी से उभर रहे हैं. ऐसे में पार्टी की महत्वाकांक्षा को किनारे कर कोई फैसला लेने में वे जल्दबाजी नहीं दिखायेंगे. यही वजह है कि इसके संकेत सीएम हेमंत ने दे दिए हैं.

दोनों नेताओं के बीच एक घंटे तक चली बातचीत: बता दें कि पूर्व घोषित कार्यक्रम के अनुसार बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के साथ डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव, जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह और मंत्री संजय कुमार झा भी मौजूद थे. सभी नेताओं के बीच बंद कमरे में करीब 1 घंटे तक हुई बातचीत के दौरान अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव को लेकर रणनीति बनती रही. इस दौरान नीतीश कुमार ने इमोशनल कार्ड खेलते हुए मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से विपक्षी एकता बनाने के उनके मुहिम में साथ देने की अपील की. बीजेपी को नंबर वन राजनीतिक दुश्मन मान रहे इन नेताओं के बीच आनेवाले समय में 2024 के लोकसभा चुनाव को लेकर विस्तार से चर्चा करने की सहमति बनी.

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बातचीत करते हेमंत सोरेन, नीतीश कुमार और तेजस्वी यादव

नीतीश ने हेमंत के साथ खेला इमोशनल कार्ड: हेमंत सोरेन के साथ मुलाकात के दौरान नीतीश कुमार ने इमोशनल कार्ड खेलते हुए उनके पिताजी के साथ रहे संबंधों को याद कराते हुए कहा कि उन्हें मुख्यमंत्री बनाने का काम गुरुजी शिबू सोरेन ने ही किया था. इस वजह से सोरेन परिवार से उनका रिश्ता पुराना है. मुलाकात के बाद संयुक्त रूप से दोनों नेताओं ने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि वर्तमान राजनीतिक परिस्थिति को ध्यान में रखते हुए यह आवश्यक है कि विपक्षी एकता को बनाना चाहिए. इस मौके पर नीतीश कुमार ने कहा कि पूरे देश में विपक्ष एकजुट होकर आगे चले, इसके लिए प्रयास किए जा रहे हैं. एकजुट होकर विपक्ष आगे चलेगा तो देश का विकास होगा और यदि देश का विकास होगा तो झारखंड अछूता नहीं रहेगा. हम लोगों का प्रयास होगा कि विपक्षी एकता बनी रहे और आपसी विवाद ना होने दिया जाए. इसके लिए मिलजुल कर काम करेंगे.

मीडिया कर्मियों के द्वारा पूछे गए सवाल का जवाब देते हुए नीतीश कुमार ने कहा कि कांग्रेस के बड़े नेताओं के साथ उनकी बातचीत हो चुकी है. झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने विपक्षी एकता बनाने को लेकर नीतीश कुमार की पहल की सराहना करते हुए कहा कि आज संक्षिप्त बातचीत हुई है. आने वाले समय में विस्तार से इस पर चर्चा करने की आवश्यकता है.

यह भी पढ़ें: Opposition Unity: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मुलाकात के बाद बोले हेमंत सोरेन, एकजुट होकर चलने का लिया गया निर्णय

बहरहाल, ओडिशा के बाद नीतीश कुमार झारखंड दौरे पर रहे और आने वाले समय में महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे और एनसीपी प्रमुख शरद पवार से मुलाकात कर गैर बीजेपी एकता को मजबूत करेंगे. माना जा रहा है कि अगले महीने 17 या 18 जून को पटना में गैर भाजपा दलों के बड़े नेताओं का महाजुटान होगा जिसमें 2024 की चुनावी रणनीति बनाने की कोशिश की जाएगी.

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