नई दिल्ली: प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने शुक्रवार को कहा कि पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) के विदेश में रहने वाले कुछ सदस्यों ने भारत में प्रवासी भारतीयों (एनआरआई) खातों में कोष भेजा जिसे बाद में कट्टरपंथी इस्लामी संगठन को स्थानांतरित कर दिया गया. इसका मकसद विदेशी वित्तोषण से संबंधित कानून से बचना था. एक दिन पहले राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने पीएफआई के खिलाफ देशभर में छापे मारे थे. उसके चार सदस्यों को गिरफ्तार किया था.
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ईडी ने आरोप लगाया कि पीएफआई ने विदेश में कोष इकट्ठा किया. उसे हवाला/अन्य माध्यम से भारत भेजा. ईडी ने कहा कि कोष पीएफआई/सीएफआई और अन्य संबंधित संगठनों के सदस्यों, कार्यकर्ताओं या पदाधिकारियों के खातों के जरिए भी भेजा गया. एजेंसी ने कहा कि विदेश से हासिल कोष को सरकारी एजेंसियों से छुपाया गया. पीएफआई द्वारा ऐसे कोष और चंदा को जुटाने में नियमों का पालन नहीं किया गया. ईडी ने बताया कि पीएफआई विदेशी योगदान विनियमन अधिनियम (एफसीआरए) के तहत पंजीकृत नहीं है.