वाराणसी : बाबा विश्वनाथ (Baba Vishwantah) की नगरी काशी में दिसंबर का महीना उत्सव के नाम होने वाला है. बड़ी वजह यह है कि लगभग 350 साल के बाद बाबा विश्वनाथ के मंदिर का भव्य सुंदरीकरण किया जा रहा है और यह सुंदरीकरण 13 दिसंबर को लोगों के सामने पूर्ण होने के साथ ही भव्य रूप में सामने आएगा, क्योंकि पीएम मोदी (Prime Minister Narendra Modi.) खुद विश्वनाथ धाम ( Vishwanath Dham inauguration) का उद्घाटन करेंगे.
वैसे तो इस विश्वनाथ धाम के अंदर बहुत कुछ खास होगा, लेकिन एक ऐसी खास डिजिटल गैलरी भी बनाई जा रही है, जहां पर बहुत कुछ खास देखने को मिलेगा. बनारस की संस्कृति सभ्यता और परंपरा के साथ संगीत कला यहां तक की कलाकृतियां भी आपको फिजिकल और डिजिटल दोनों तरीके से मिल जाएंगी.
24 भवनों में खास होगी बनारस गैलरी
दरअसल, श्री काशी विश्वनाथ धाम में कुल 24 भवन तैयार हो रहे हैं. इन भवनों में गेस्ट हाउस, यात्री सुविधा केंद्र, सिक्योरिटी दुकानें और बहुत कुछ खास होगा. इन भवनों में एक ऐसा भवन भी है, जो बनारस की पौराणिकता को तो बताएगा ही साथ ही बाबा के दरबार के इतिहास के साथ-साथ बनारस की संस्कृति और सभ्यता से भी रूबरू कराएगा. इसके लिए खास तैयारी की जा रही है.
मंदिर के मुख्य कार्यपालक अधिकारी सुनील वर्मा का कहना है कि विश्वनाथ धाम में वाराणसी गैलरी का निर्माण किया जा रहा है. इस गैलरी में डिजिटल माध्यम से और फिजिकल माध्यम से भक्तों को बनारस के इतिहास, बाबा विश्वनाथ के मंदिर से जुड़े इतिहास के साथ ही बनारस की संस्कृति, सभ्यता, संगीत का एक अद्भुत समागम देखने को मिलेगा. 24 भवनों के निर्माण में वाराणसी गैलरी काफी महत्वपूर्ण होगी. यहां पर शिव भक्तों को ज्योतिर्लिंग इसके पौराणिक और आध्यात्मिक महत्व और मंदिर के इतिहास की पूरी जानकारी उपलब्ध होगी.
विश्वनाथ धाम के निर्माण की भी उपलब्ध होगी जानकारी
वाराणसी मंडल के कमिश्नर दीपक अग्रवाल (deepak agrawal) ने बताया कि इस गैलरी में श्री काशी विश्वनाथ धाम से जुड़े और उसके निर्माण के लिए किए गए प्रयासों की पूरी जानकारी भक्तों को डिजिटल तरीके से उपलब्ध करवाई जाएगी. भक्त यहां आकर यह जान सकेंगे कि इस पूरे प्रोजेक्ट को तैयार होने में कितना वक्त लगा, कितनी मुश्किलें आईं और किस तरह से यह भव्य रूप में लोगों के सामने है. यहां तक कि विश्वनाथ धाम के विस्तारीकरण और विकास के दौरान जो कुछ घरों से अद्भुत मूर्तियां, पुराने घरों से निकले नक्काशीदार दरवाजे, खिड़कियां यहां तक कि 350 भवनों से मिले ताले चाबियां भी यहां पर संजोकर रखने की तैयारी की जा रही है. इस विरासत को धरोहर के रूप में वाराणसी गैलरी में प्रदर्शित किया जाएगा.
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इतने वर्ग मीटर में तैयार हो रही वाराणसी गैलरी
काशी की आध्यात्मिक परंपरा को भी गैलरी में प्रदर्शित करने की तैयारी की जा रही है. वाराणसी गैलरी में धाम के ऐतिहासिक धरोहरों को डिजिटल माध्यम से प्रदर्शित करने की प्लानिंग की गई है. बता दें कि वाराणसी गैलरी का निर्माण 319 वर्ग मीटर में हो रहा है. राउंड शेप में बनी गैलरी में वाराणसी के इतिहास के साथ यहां की धरोहर को डिस्प्ले के लिए विशेष रूप से रखा जाएगा. इमारतों को हैरिटेज लुक देने के लिए बाहरी दीवारों पर लाल पत्थर लगाए जाने का काम वर्तमान में चल रहा है जो अंदर तापमान को नियंत्रित रखेंगे.