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पंचायतों में नहीं हो पा रहे विकास कार्य, मांगों को लेकर DC के द्वार पहुंचे सोलन ब्लॉक की पंचायतों के प्रधान

जिला परिषद कैडर कर्मचारियों हड़ताल पर जाने से सोलन जिले के पंचायतों और बीडीओ कार्यालयों में कामकाज पूरी तरह से ठप्प हो चुका है. जिसके कारण लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. वहीं, सोलन ब्लॉक की पंचायतों के प्रधान अपनी मांगों को लेकर सोलन डीसी से मुलाकात कर ज्ञापन सौंपा है. पढ़ें पूरी खबर.. (Heads of Panchayats met Solan DC )

Heads of Panchayats met Solan DC
मांगों को लेकर डीसी से मिले पंचायतों के प्रधान
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By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : Oct 9, 2023, 8:09 PM IST

मांगों को लेकर डीसी से मिले पंचायतों के प्रधान

सोलन: हिमाचल प्रदेश में पिछले 10 दिनों से जिला परिषद कैडर कर्मचारी महासंघ हड़ताल पर है, जिस कारण पंचायत और बीडीओ कार्यालय में कामकाज पूरी तरह से ठप पड़ चुके हैं. वहीं, आपदा के समय में जो लोगों को राहत मिलनी थी और पंचायत में जो विकास कार्य होने थे उनमें कहीं ना कहीं देरी हो रही है. ऐसे में इस बात को लेकर सोलन ब्लॉक की पंचायतों के प्रधानों ने सोमवार को डीसी सोलन मनमोहन शर्मा से मुलाकात की है और सरकार को अपने मांग के संदर्भ में ज्ञापन भी भेजा है.

दरअसल, प्रधानों का कहना है कि कर्मचारियों के हड़ताल पर जाने से पंचायत में होने वाले सभी कार्य पूरी तरह से ठप हो चुके हैं. वहीं, जो कार्यभार पंचायत सचिवों का कर्मचारियों को दिया गया है, उनसे वह कार्य हो पाना मुश्किल है. ऐसे में आपदा के समय में जो लोगों के डंगे लगाए जाने थे,काऊ शेड बनने थे या फिर अन्य प्रमाण पत्र, मृत्यु प्रमाण पत्र और जन्म प्रमाण पत्र दिए जाने हैं, उसको लेकर कहीं ना कहीं लोगों में भी रोष है कि उनके कार्य नहीं हो रहे हैं. ऐसे में पंचायत के सभी प्रधानों ने मिलकर डीसी सोलन मनमोहन शर्मा से मुलाकात की है.

ग्राम पंचायत नौणी मझगांव के प्रधान मदन हिमाचली ने कहा कि पंचायत में कर्मचारियों के हड़ताल पर जाने की वजह से विकास कार्य पूरी तरह से ठप्प हो चुके हैं. वहीं, डांगरी पंचायत के उपप्रधान मदन ठाकुर ने कहा कि जब सरकार ने कर्मचारियों से अपनी 10 गारंटी में उनके विभाग में विलय की मांग को लेकर वादा किया था, तो सरकार को यह डिमांड जल्द पूरी करनी चाहिए थी, लेकिन आज कर्मचारियों के हड़ताल पर जाने से पंचायत में कामकाज पूरी तरह से ठप्प है.

ग्राम पंचायत ओछघाट की प्रधान पूनम ने कहा कि पंचायत में सेकेट्री द्वारा दिए जाने वाले प्रमाण पत्र और आपदा के समय में जो विकास कार्य जल्द से जल्द लोगों के किए जाने थे, उनमें देरी हो रही है. ऐसे में सरकार को चाहिए कि जिला परिषद कैडर कर्मचारियों की मांग को जल्द पूरा किया जाए ताकि पंचायत में जल्द से जल्द कार्य पूरा हो सके. वहीं, ग्राम पंचायत सेरी के उपप्रधान मोहित का कहना है कि जिला परिषद कैडर कर्मचारी 16 विभागों के साथ मिलकर कार्य करते हैं, लेकिन इन्हें आज तक विभागों में विलय नहीं किया गया है. ऐसे में यह उनकी जायज मांग है, जिस पर सरकार को ध्यान देना चाहिए.

बता दें कि प्रदेश भर के 88 ब्लॉक में 4700 कर्मचारी पिछले 10 दिनों से ग्रामीण विकास विभाग और पंचायती राज विभाग में विलय की मांग को लेकर हड़ताल कर रहे हैं, लेकिन सरकार अभी तक इस पर कोई निर्णय नहीं ले पाई है. अब कर्मचारियों के समर्थन में पंचायत के प्रधान भी उतर चुके है.

ये भी पढ़ें: Solan Zilla Parishad Cadre: सत्ता में आने से पहले कांग्रेस ने किया था विभाग में विलय का चुनावी वादा, अब नहीं दिया जा रहा मांगों पर ध्यान: राजेश ठाकुर

मांगों को लेकर डीसी से मिले पंचायतों के प्रधान

सोलन: हिमाचल प्रदेश में पिछले 10 दिनों से जिला परिषद कैडर कर्मचारी महासंघ हड़ताल पर है, जिस कारण पंचायत और बीडीओ कार्यालय में कामकाज पूरी तरह से ठप पड़ चुके हैं. वहीं, आपदा के समय में जो लोगों को राहत मिलनी थी और पंचायत में जो विकास कार्य होने थे उनमें कहीं ना कहीं देरी हो रही है. ऐसे में इस बात को लेकर सोलन ब्लॉक की पंचायतों के प्रधानों ने सोमवार को डीसी सोलन मनमोहन शर्मा से मुलाकात की है और सरकार को अपने मांग के संदर्भ में ज्ञापन भी भेजा है.

दरअसल, प्रधानों का कहना है कि कर्मचारियों के हड़ताल पर जाने से पंचायत में होने वाले सभी कार्य पूरी तरह से ठप हो चुके हैं. वहीं, जो कार्यभार पंचायत सचिवों का कर्मचारियों को दिया गया है, उनसे वह कार्य हो पाना मुश्किल है. ऐसे में आपदा के समय में जो लोगों के डंगे लगाए जाने थे,काऊ शेड बनने थे या फिर अन्य प्रमाण पत्र, मृत्यु प्रमाण पत्र और जन्म प्रमाण पत्र दिए जाने हैं, उसको लेकर कहीं ना कहीं लोगों में भी रोष है कि उनके कार्य नहीं हो रहे हैं. ऐसे में पंचायत के सभी प्रधानों ने मिलकर डीसी सोलन मनमोहन शर्मा से मुलाकात की है.

ग्राम पंचायत नौणी मझगांव के प्रधान मदन हिमाचली ने कहा कि पंचायत में कर्मचारियों के हड़ताल पर जाने की वजह से विकास कार्य पूरी तरह से ठप्प हो चुके हैं. वहीं, डांगरी पंचायत के उपप्रधान मदन ठाकुर ने कहा कि जब सरकार ने कर्मचारियों से अपनी 10 गारंटी में उनके विभाग में विलय की मांग को लेकर वादा किया था, तो सरकार को यह डिमांड जल्द पूरी करनी चाहिए थी, लेकिन आज कर्मचारियों के हड़ताल पर जाने से पंचायत में कामकाज पूरी तरह से ठप्प है.

ग्राम पंचायत ओछघाट की प्रधान पूनम ने कहा कि पंचायत में सेकेट्री द्वारा दिए जाने वाले प्रमाण पत्र और आपदा के समय में जो विकास कार्य जल्द से जल्द लोगों के किए जाने थे, उनमें देरी हो रही है. ऐसे में सरकार को चाहिए कि जिला परिषद कैडर कर्मचारियों की मांग को जल्द पूरा किया जाए ताकि पंचायत में जल्द से जल्द कार्य पूरा हो सके. वहीं, ग्राम पंचायत सेरी के उपप्रधान मोहित का कहना है कि जिला परिषद कैडर कर्मचारी 16 विभागों के साथ मिलकर कार्य करते हैं, लेकिन इन्हें आज तक विभागों में विलय नहीं किया गया है. ऐसे में यह उनकी जायज मांग है, जिस पर सरकार को ध्यान देना चाहिए.

बता दें कि प्रदेश भर के 88 ब्लॉक में 4700 कर्मचारी पिछले 10 दिनों से ग्रामीण विकास विभाग और पंचायती राज विभाग में विलय की मांग को लेकर हड़ताल कर रहे हैं, लेकिन सरकार अभी तक इस पर कोई निर्णय नहीं ले पाई है. अब कर्मचारियों के समर्थन में पंचायत के प्रधान भी उतर चुके है.

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