नाहन: महिलाओं को शक्ति भी माना जाता है और आज के दौर में महिलाएं पुरुष के साथ कदम से कदम मिलाकर चल रही हैं. महिला सशक्तिकरण का ऐसा ही उदाहरण नाहन विकासखंड के तहत ग्राम पंचायत आंबवाला-सैनवाला की महिलाओं ने पेश किया है.
दरअसल इन महिलाओं ने जल संरक्षण के महत्व को समझते हुए मनरेगा के तहत गांव के जंगल में एक बड़े जलाशय (तालाब) का निर्माण किया है. यह तालाब जहां सिंचाई के लिए प्रयोग होगा, वही जंगली जानवरों, गांव के पशुओं को भी पानी उपलब्ध करवाएगा.
महिलाओं की माने तो ग्रीष्म ऋतु के दौरान जंगलों में आग भी बहुत लगती है. ऐसे में यहां का पानी आग बुझाने को भी काम आएगा. ग्रामीण क्षेत्र की इन महिलाओं ने कई महीने के कार्य के बाद यह तालाब बनाया है और सभी लोग उनके इस कार्य की सराहना भी कर रहे हैं.
ईटीवी भारत से बातचीत करते हुए पंचायत की वार्ड सदस्य रुकमणी देवी ने बताया कि उनके इलाके में गर्मी में पानी की दिक्कत होती है. इसलिए उन्होंने इस तालाब के कार्य को स्वीकृत करवाया और फिर सभी महिलाओं ने अन्य लोगों के साथ मिलकर इस तालाब का तैयार किया. अब यह जलाशय अनेक कार्यों में प्रयोग किया जाएगा.
वहीं, अन्य महिला सुरेशो देवी ने बताया कि सभी ने बहुत मेहनत की और अब तालाब बन चुका है. यह सिंचाई व पशुओं के भी काम आएगा.
उधर पंचायत प्रधान संदीप तोमर ने बताया कि जल संरक्षण को लेकर पंचायत में अनेक कार्य किए जा रहे हैं और नेशनल हाईवे के साथ लगते इस जंगल में महिलाओं ने बड़ी ईमानदारी व परिश्रम से काम किया है. इस कार्य में गांव की दर्जनभर महिलाओं ने काम किया. अब यह तलाब बनकर तैयार हो चुका है, जिसका विभिन्न कार्यों में बड़ा लाभ होगा.
उल्लेखनीय है कि महिलाओं ने इस कार्य में जहां जल संरक्षण का संदेश दिया है, वहीं परस्पर सहयोग व परिश्रम का भी शानदार उदाहरण पेश किया है, जोकि अन्य पंचायतों के लिए भी प्रेरणास्तोत्र बना है.
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