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तमाम सुविधाओं से लैस नाहन की एकमात्र कोरोना लैब, जरुरत पड़ने पर दिन-रात होता है काम

नाहन के डॉक्टर यशवंत सिंह परमार मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में एकमात्र सरकारी कोविड-19 लैब मौजूद है. मेडिकल कॉलेज प्रबंधन के अनुसार लैब में तमाम सुविधाएं उपलब्ध हैं. इसे एमसीआई की ओर से मान्यता प्रदान की गई है. अब एक बार फिर कोरोना के मामले बढ़ने लगे हैं तो जरूरत पड़ने पर लैब में रात-दिन भी काम होता है.

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Published : Apr 10, 2021, 5:18 PM IST

नाहन: वैश्विक महामारी कोरोना ने एक बार फिर तेजी से अपने पांव पसारने शुरू कर दिए हैं. सरकार के निर्देशों पर स्वास्थ्य विभाग बचाव के हर संभव प्रयास कर रहा है. तेजी से बढ़ते मामलों के बीच एक बार फिर सैंपलिंग के साथ-साथ जांच भी व्यापक स्तर पर शुरू हो गई है. ईटीवी भारत की टीम ने कोविड-19 लैब और सैंपलिंग को लेकर जांच पड़ताल की तो सामने आया कि नाहन लैब में न केवल व्यापक स्तर पर सैंपलिंग की जा रही है, बल्कि जांच में भी तेजी लाई जा रही है.

जरुरत पड़ने पर लैब में दिन-रात होता है काम

मेडिकल कॉलेज प्रबंधन के अनुसार लैब में तमाम सुविधाएं उपलब्ध हैं. इसे एमसीआई की ओर से मान्यता प्रदान की गई है. अब एक बार फिर कोरोना के मामले बढ़ने लगे हैं तो पहले की तरह जरूरत पड़ने पर यह लैब रात-दिन भी काम करती है. लैब में करीब 40 कर्मचारियों का स्टाफ तैनात है जो जरूरत पड़ने पर रात-दिन काम करता है.

वीडियो रिपोर्ट.

700-900 सैंपल जांच के लिए पहुंच रहे लैब

नाहन मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल डॉक्टर एनके महेंद्रू ने बताया कि कोविड-19 लैब में तीन प्रकार के सैंपलों की जांच की जाती है. सरकार ने आउटसोर्सिंग पर लैब के लिए पर्याप्त मात्रा में स्टाफ भी मुहैया करवाया है जो रात 12 बजे तक भी सैंपलों की जांच करता है. उन्होंने बताया कि फिर से कोरोना सैंपलिंग बढ़ती जा रही है. कभी 300 सैंपल होते हैं तो कभी 700 से लेकर 900 सैंपल लैब में पहुंचते हैं.

अब तक करीब 1 लाख लोगों की हुई सैंपलिंग

लैब में तैनात स्टाफ रोस्टर के हिसाब से अपनी सेवाएं दे रहा है. जब से कोरोना काल शुरू हुआ है तब से अब तक करीब एक लाख लोगों की सैंपलिंग हो चुकी है. पांचों स्वास्थ्य खंडों में फिर से व्यापक स्तर पर सैंपलिंग की जा रही है. पूरे दिन के सैंपल एकत्रित कर जांच के लिए लैब में भेजे आते हैं जिनकी रिपोर्ट अगले दिन मिलती है.

5 स्वास्थ्य खंड़ों पर हो रहा कोरोना सैंपलिंग का काम

सिरमौर के सीएमओ डॉक्टर केके पराशर ने बताया कि जिले के पांचों स्वास्थ्य खंडों में स्वास्थ्य विभाग की टीमें कोरोना सैंपलिंग के लिए काम कर रही हैं. हर ब्लॉक में 3 से 4 जगहों पर सैंपलिंग लेने का काम किया जा रहा है. उन्होंने बताया कि सैंपलिंग को लेकर मेन फोकस उन क्षेत्रों में रहता है जहां पर कोरोना पॉजिटिव मामले सामने आते हैं.

70 प्रतिशत आरटीपीसीआर, 30 प्रतिशत रैपिड एंटीजन

उद्योगों में भी सैंपलिंग का कार्य शुरू कर दिया गया है. सीएमओ ने बताया कि जो हाई रिस्क एरिया हैं, जहां पर 5 से ज्यादा मामले आ रहे हैं, उस क्षेत्र की सैंपलिंग हो रही है. जिले भर में 800 के आसपास सैंपलिंग रोजाना करने की कोशिश की जा रही है. 70% आरटीपीसीआर और 30% रैपिड एंटीजन टेस्ट होते हैं. सीएमओ ने कहा कि विभाग का प्रयास अभी सैंपलिंग को और अधिक बढ़ाने का है.

ये भी पढ़ें: पालमपुर और सोलन नगर निगम में धमाकेदार जीत, कांग्रेस को ईवीएम पसंद है

नाहन: वैश्विक महामारी कोरोना ने एक बार फिर तेजी से अपने पांव पसारने शुरू कर दिए हैं. सरकार के निर्देशों पर स्वास्थ्य विभाग बचाव के हर संभव प्रयास कर रहा है. तेजी से बढ़ते मामलों के बीच एक बार फिर सैंपलिंग के साथ-साथ जांच भी व्यापक स्तर पर शुरू हो गई है. ईटीवी भारत की टीम ने कोविड-19 लैब और सैंपलिंग को लेकर जांच पड़ताल की तो सामने आया कि नाहन लैब में न केवल व्यापक स्तर पर सैंपलिंग की जा रही है, बल्कि जांच में भी तेजी लाई जा रही है.

जरुरत पड़ने पर लैब में दिन-रात होता है काम

मेडिकल कॉलेज प्रबंधन के अनुसार लैब में तमाम सुविधाएं उपलब्ध हैं. इसे एमसीआई की ओर से मान्यता प्रदान की गई है. अब एक बार फिर कोरोना के मामले बढ़ने लगे हैं तो पहले की तरह जरूरत पड़ने पर यह लैब रात-दिन भी काम करती है. लैब में करीब 40 कर्मचारियों का स्टाफ तैनात है जो जरूरत पड़ने पर रात-दिन काम करता है.

वीडियो रिपोर्ट.

700-900 सैंपल जांच के लिए पहुंच रहे लैब

नाहन मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल डॉक्टर एनके महेंद्रू ने बताया कि कोविड-19 लैब में तीन प्रकार के सैंपलों की जांच की जाती है. सरकार ने आउटसोर्सिंग पर लैब के लिए पर्याप्त मात्रा में स्टाफ भी मुहैया करवाया है जो रात 12 बजे तक भी सैंपलों की जांच करता है. उन्होंने बताया कि फिर से कोरोना सैंपलिंग बढ़ती जा रही है. कभी 300 सैंपल होते हैं तो कभी 700 से लेकर 900 सैंपल लैब में पहुंचते हैं.

अब तक करीब 1 लाख लोगों की हुई सैंपलिंग

लैब में तैनात स्टाफ रोस्टर के हिसाब से अपनी सेवाएं दे रहा है. जब से कोरोना काल शुरू हुआ है तब से अब तक करीब एक लाख लोगों की सैंपलिंग हो चुकी है. पांचों स्वास्थ्य खंडों में फिर से व्यापक स्तर पर सैंपलिंग की जा रही है. पूरे दिन के सैंपल एकत्रित कर जांच के लिए लैब में भेजे आते हैं जिनकी रिपोर्ट अगले दिन मिलती है.

5 स्वास्थ्य खंड़ों पर हो रहा कोरोना सैंपलिंग का काम

सिरमौर के सीएमओ डॉक्टर केके पराशर ने बताया कि जिले के पांचों स्वास्थ्य खंडों में स्वास्थ्य विभाग की टीमें कोरोना सैंपलिंग के लिए काम कर रही हैं. हर ब्लॉक में 3 से 4 जगहों पर सैंपलिंग लेने का काम किया जा रहा है. उन्होंने बताया कि सैंपलिंग को लेकर मेन फोकस उन क्षेत्रों में रहता है जहां पर कोरोना पॉजिटिव मामले सामने आते हैं.

70 प्रतिशत आरटीपीसीआर, 30 प्रतिशत रैपिड एंटीजन

उद्योगों में भी सैंपलिंग का कार्य शुरू कर दिया गया है. सीएमओ ने बताया कि जो हाई रिस्क एरिया हैं, जहां पर 5 से ज्यादा मामले आ रहे हैं, उस क्षेत्र की सैंपलिंग हो रही है. जिले भर में 800 के आसपास सैंपलिंग रोजाना करने की कोशिश की जा रही है. 70% आरटीपीसीआर और 30% रैपिड एंटीजन टेस्ट होते हैं. सीएमओ ने कहा कि विभाग का प्रयास अभी सैंपलिंग को और अधिक बढ़ाने का है.

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