नाहन: हिमाचल प्रदेश की पहचान विश्व भर में एक सेब राज्य के रूप में मानी जाती है. हिमाचली सेब अक्सर विदेशी सेब कड़ा मुकाबला देते आए हैं. वहीं, अब हिमाचल में ही इटली से आयात किए गए पौधे विकसित किए जा रहे हैं.
दरअसल, हिमाचल निर्माता स्व. वाईएस परमार के गृह क्षेत्र बागथन में बागवानी विभाग के बगीचों में इन दिनों इटली से आयात किए गए विभिन्न प्रजातियों के सेब के पौधे तैयार किए जा रहे हैं. जल्द ही ये पौधे प्रदेश के शिमला, सोलन, सिरमौर आदि के ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बागवानों को दिए जाएंगे. इन पौधों के लगने से प्रदेश के बागवान भी उच्च गुणवत्ता समेत बाजार में प्रतिस्पर्धा में भी अव्वल आ पाएंगे.
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बागवानी विभाग सिरमौर के उपनिदेशक डॉ. राजेंद्र भारद्वाज का मानना है कि इटली के सेब से बागवानों की आर्थिक स्थिति ओर मजबूत हो सकेगी. उन्होंने बताया कि प्रदेश में उच्च गुणवत्ता वाले सेब उत्पादन के लिए ये पौधे विशेष रूप से इटली से लाए गए हैं. ये सेब अपने बेहतरीन स्वाद, रंग व बाजार मूल्य के लिए जाने जाते हैं और इससे बागवानों को बहुत लाभ मिलेगा.
बता दें कि इटली के सेब की खासियत है कि ये 32 से 34 डिग्री सेल्सियस तापमान में भी हो सकता है. अन्य फलों की अपेक्षा इटली से आ रही प्रजाति के सेब के बाजार में अच्छे दाम मिलते हैं. अन्य प्रजाति के सेब से पहले ही इस पौधे की फसल आती है. ये सेब न केवल बाजार में बेहतर दामों बल्कि अच्छे रंग व बड़े आकार समेत स्वाद के लिए भी जाने जाते हैं.
उल्लेखनीय है कि ये विदेशी सेब के पौधे इस वर्ष प्रदेश के बागवानों को वितरित किए जाएंगे, जिससे बागवानों को बेहद लाभ मिलेगा.
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