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अदरक उत्पादन के लिए नौणी विश्वविद्यालय की नई पहल, किसानों को दिया जाएगा विशेष प्रशिक्षण

प्रदेश में अदरक एक प्रमुख नकदी फसल मानी जाती है व किसानों की आर्थिकी को भी प्रभावित करती है. इसी तरह सिरमौर जिला में अदरक एक प्रमुख फसल रही है, लेकिन पिछले कुछ समय से यहां पर अदरक उत्पादन में कमी भी आई है जिस का कारण सड़न रोग माना जाता है.

अदरक उत्पादन के लिए नौणी विश्वविद्यालय की नई पहल, किसानों को दिया जाएगा विशेष प्रशिक्षण
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Published : Nov 25, 2019, 10:12 AM IST

नाहन: राजगढ़ उपमंडल के तहत बड़ू साहिब में इंटरनल यूनिवर्सिटी में वार्षिक समारोह का आयोजन किया गया. समारोह में नौणी हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर डॉ. परविंद्र कौशल ने बतौर मुख्यातिथि शिरकत की. इस दौरान उन्होंने करीब 350 विद्यार्थियों को डिग्री वितरित की.

वीडियो.

समापन समारोह के बाद पत्रकारों से बातचीत करते हुए सिरमौर के अदरक पर पूछे गए सवाल पर डॉ. परविंद्र कौशल ने कहा कि हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी में अदरक उत्पादन को लेकर विशेष प्रशिक्षण दिया जा रहा है और उनमें जागरूकता लाने के लिए शिविर भी लगाए जा रहे हैं, ताकि किसान सही तरीके से अदरक लगा सकें.

डॉ. कौशल ने कहा कि प्रदेश का अदरक गुणवत्ता में सबसे अलग माना जाता है. अदरक उत्पादन को लेकर नौणी हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी में जागरूकता शिविर आयोजित किए जाते हैं और फील्ड कैंप से भी किसानों को जागरूक किया जा रहा है. बता दें कि सिरमौर जिला में अदरक एक प्रमुख फसल रही है, लेकिन पिछले कुछ समय से यहां पर अदरक उत्पादन में कमी भी आई है.

ये भी पढ़ें: सिरमौर में यहां सजा जनमंच, विधानसभा अध्यक्ष डॉ. बिंदल ने सुनीं लोगों की समस्याएं

नाहन: राजगढ़ उपमंडल के तहत बड़ू साहिब में इंटरनल यूनिवर्सिटी में वार्षिक समारोह का आयोजन किया गया. समारोह में नौणी हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर डॉ. परविंद्र कौशल ने बतौर मुख्यातिथि शिरकत की. इस दौरान उन्होंने करीब 350 विद्यार्थियों को डिग्री वितरित की.

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समापन समारोह के बाद पत्रकारों से बातचीत करते हुए सिरमौर के अदरक पर पूछे गए सवाल पर डॉ. परविंद्र कौशल ने कहा कि हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी में अदरक उत्पादन को लेकर विशेष प्रशिक्षण दिया जा रहा है और उनमें जागरूकता लाने के लिए शिविर भी लगाए जा रहे हैं, ताकि किसान सही तरीके से अदरक लगा सकें.

डॉ. कौशल ने कहा कि प्रदेश का अदरक गुणवत्ता में सबसे अलग माना जाता है. अदरक उत्पादन को लेकर नौणी हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी में जागरूकता शिविर आयोजित किए जाते हैं और फील्ड कैंप से भी किसानों को जागरूक किया जा रहा है. बता दें कि सिरमौर जिला में अदरक एक प्रमुख फसल रही है, लेकिन पिछले कुछ समय से यहां पर अदरक उत्पादन में कमी भी आई है.

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Intro:-प्रदेश सहित सिरमौर का अदरक उच्च गुणवत्ता वाला: डा. परविंद्र कौशल
-नौणी के वाइस चांसलर ने वार्षिक समारोह के समापन पर पूछे सवाल का दिया जवाब
नाहन। उपमंडल राजगढ़ के तहत बड़ू साहिब में इंटरनल यूनिवर्सिटी के वार्षिक समारोह में नौणी हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर डा. परविंद्र कौशल ने बतौर मुख्यातिथि शिरकत की। इस दौरान उन्होंने करीब 350 विद्यार्थियों को डिग्रियां वितरित की।Body:समापन समारोह के बाद पत्रकारों से बातचीत करते हुए सिरमौर के अदरक पर पूछे गए सवाल पर नौणी विश्वविद्यालय के वाइस चांसलर डा. परविंद्र कौशल ने कहा कि प्रदेश की हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी नौणी में अदरक उत्पादन को लेकर विशेष प्रशिक्षण दिया जा रहा है और उनमें जागरूकता लेने के लिए शिविर भी लगाए जा रहे हैं, ताकि किसान सही तरीके से अदरक लगा सकें। डा. कौशल ने कहा कि प्रदेश का अदरक गुणवत्ता में सबसे अलग माना जाता है। सिरमौर के अदरक में सड़न रोग की शिकायतें भी हैं, जिस का कारण मुख्यत बीज के समय उसे रोगमुक्त न करना है। अदरक उत्पादन को लेकर नौणी हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी में जागरूकता शिविर आयोजित किए जाते हैं और फील्ड कैंपों से भी किसानो को जागरूक किया जा रहा है। सिरमौर के अदरक उत्पादन को सुधारने के लिए प्रशिक्षण दिया जाएगा।
बाइट: डा. परविंद्र कौशल, वाइस चांसलरConclusion:सिरमौर जिला में अदरक एक प्रमुख फसल रही है, लेकिन पिछले कुछ समय से यहां पर अदरक उत्पादन में कमी भी आई है। इसका कारण सड़न रोग को माना जाता है।
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