नाहनः जिले के गांवों में कोरोना संक्रमण का खतरा लगातार बरकार है. शहरों के साथ-साथ ग्रामीण क्षेत्रों में भी संक्रमण की काफी अधिक मार पड़ी है. जिले में अब भी 123 पंचायतें ऐसी हैं, जिन्हें प्रशासन की ओर से अति संवेदनशील श्रेणी में रखा गया है, जबकि 95 पंचायतें संवेदनशील श्रेणी में शूमार है. इसको लेकर डीसी सिरमौर डॉ. आरके परूथी ने विस्तार से जानकारी दी.
कोरोना संक्रमण के मद्देनजर 3 श्रेणियों बांटी पंचायतें
डीसी सिरमौर डॉ. आरके परूथी ने बताया कि जिले में कुल 259 पंचायतें हैं, जिन्हें संक्रमण के मद्देनजर 3 श्रेणियों अति संवेदनशील, संवेदनशील व सामान्य में बांटा गया है. उन्होंने बताया कि जिले की कुल पंचायतों में से 123 पंचायतें अब भी अति संवेदनशील श्रेणी में शामिल हैं, जहां पर 5 से अधिक कोरोना संक्रमण के मामले हैं.
हालांकि इसमें थोड़ी गिरावट आई है. पहले 131 अति संवेदनशील पंचायतें थी. उन्होंने बताया कि जिले की 95 पंचायतें संवेदशील श्रेणी में रखी गई हैं, जहां पर 5 से कम कोरोना के केस है, जबकि राहत की बात यह है कि शेष 41 पंचायतें अब भी कोरोना संक्रमण से दूर है, जहां पर एक भी मामला फिलहाल संक्रमण का नहीं है.
जिले में कोरोना के रिकवरी रेट में सुधार
दूसरी तरफ जिले में कोरोना के रिकवरी रेट में सुधार आया है, लेकिन मृत्यु दर में प्रतिदिन बढ़ोतरी हो रही है. मृत्यु दर में बढ़ोतरी का कारण लोगों का समय पर अस्पताल न पहुंचना भी है. डीसी डॉ. परूथी ने बताया कि जिले में रिकवरी रेट में थोड़ा सुधार आया है, जोकि 87 प्रतिशत के आसपास है, लेकिन जहां पाॅजिटिव मरीज काफी संख्या में रिकवर हुए है, वहीं मृत्यु दर भी बढ़ी है. जिले में मृत्यु दर 8.16 प्रतिशत है, जोकि सामान्यतः महामारी के मापदंडों के मुताबिक 1 प्रतिशत से नीचे होनी चाहिए.
कोरोना प्रोटोकॉल का सख्ती से करें पालन
डीसी ने लोगों से अपील करते हुए कहा कि अस्पताल पहुंचने में देरी न करें, ताकि समय रहते उपचार मिल सके. जिला प्रशासन का यह भी कहना है कि यदि लोग संयम रखेंगे और कोविड प्रोटोकाॅल का सख्ती से पालन करें, तो उम्मीद है कि मई माह के अंत तक जिले की पाॅजिटिविटी दर में काफी सुधार होगा और कम से कम लोग पाॅजीटिव आएंगे.
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