शिमला: आईजीएमसी में एक्सरे मशीन खराब हो गई है और एमआरआई मशीन के लिए 3 महीने की डेट दी जा रही है. जिससे मरीजों को परेशानियों को सामना करना पड़ रहा है. सबसे अधिक परेशानी आर्थो, श्वास रोगियों और मेडिसिन वार्ड में दाखिल मरीजों को हो रही है. इन मरीजों को रुटीन के टेस्ट करवाने में परेशानी हो रही है. यहीं नहीं आपातकालीन वार्ड में भी दिनभर मरीजों की भीड़ लगी रही. प्रबंधन की यह ढील लोगों पर भारी पड़ सकती है. (Xray machine defective in IGMC) (Patients facing problem in IGMC).
ऐसे में मरीजों ने स्वास्थ्य विभाग व प्रशासन पर आरोप लगाए कि उनकी अव्यवस्थाओं की वजह से मरीज प्रदेश भर में दर-दर की ठोकरें खाने को मजबूर हैं. मरीजों ने यह भी आरोप लगाए की यहां पर सिफारिश के चलते ही एक्सरे होते हैं. मरीजों कहना है कि दूरदराज के इलाकों और अन्य राज्यों से भी मरीज यहां अपना इलाज करवाने आते हैं. वहीं, मरीज अगर एक्सरे करवा भी लेते हैं तो फिर समय पर रिपोर्ट नहीं आती.
मरीजों ने बताया कि एक्सरे मशीन दो दिन से खराब है. ठीक करवाने के लिए प्रशासन की तरफ से अभी तक कोई कदम नहीं उठाए गए हैं. वहीं, दूसरी ओर अगर एमआरआई की बात की करें तो यहां एमआरआई की एक ही मशीन है. सैकड़ों मरीज इस मशीन के सहारे हैं. इन दिनों मरीजों को 3 महीने की डेट दी जा रही है. मरीजों का आरोप है कि अस्पताल में वरिष्ठ नागरिकों, महिलाओं और दिव्यांगों के लिए अलग से कोई व्यवस्था नहीं की गई है. जिससे उन्हें भी काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.
हालांकि सरकार की तरफ से निर्देश दिए गए हैं कि वरिष्ठ नागरिकों, महिलाओं और दिव्यांगों के लिए अलग से पंक्ति होनी चाहिए. आइजीएमसी के नए ओपीडी भवन में साढ़े तीन करोड़ से थ्री डायमेंशनल डिजिटल एक्सरे मशीन लगाई गई हैं, लेकिन वहां पर ताला लगा रहता है. जिससे मरीजों को इस मशीन का लाभ नहीं मिल पा रहा है और मरीजों को धक्के खाने पड़ रहे हैं.
क्या कहते हैं प्रशासनिक अधिकारी: आइजीएमसी की प्रिंसिपल डॉ. सीता ठाकुर ने बताया कि एक्सरे की एक यूनिट खराब है. मशीन जल्द ठीक करवा ली जाएगी. मरीजों को परेशानी न हो इसका ध्यान रखा जाएगा. (Xray machine defective in IGMC)(Patients facing problem in IGMC).
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