शिमला: राजधानी शिमला में फर्जी सर्टिफिकेट से नौकरी लेने का मामला सामने आया है. यहां के एक निजी स्कूल में एक शिक्षक पिछले करीब तीन सालों से फर्जी प्रमाणपत्र के जरिए नौकरी कर रहा था. जब एक व्यक्ति द्वारा इस बात की शिकायत की गई तो स्कूल प्रबंधन मामले की जांच में जुट गया. जांच में आरोपी की कॉलेज की डिग्री भी फर्जी निकली. निजी स्कूल प्रबंधन ने फर्जी शिक्षक को नौकरी से निकाल कर उसके खिलाफ धोखाधड़ी का केस दर्ज कराया है. यह मामला शहर के ढली थाना क्षेत्र का है.
मामले के अनुसार आईवीआई इंटरनेशनल स्कूल भट्टाकुफर में अरुण ठाकुर नाम का व्यक्ति शारीरिक शिक्षक के तौर पर काम कर रहा था. वह शिमला जिले के चौपाल का मूल निवासी है. स्कूल प्रबंधन को अरुण ठाकुर की फर्जी डिग्री बारे शिकायत मिली. इसके बाद आरोपी की डिग्री जांची गई, तो पता चला कि उसकी कॉलेज की डिग्री फर्जी है. आरोपी ने अपनी डिग्री में जिस कॉलेज का जिक्र किया था, उस कॉलेज से वह पढ़ा ही नहीं था.
ढली थाने में मामला दर्ज: इसका खुलासा होने पर आईवीआई इंटरनेशनल स्कूल भट्टाकुफर के प्रिंसिपल ने आरोपी के खिलाफ थाना ढली में शिकायत दर्ज करवाई कि आरोपी ने जाली प्रमाण पत्र देकर शारीरिक शिक्षक की नौकरी हासिल की और आर्थिक लाभ लेकर स्कूल प्रबंधन के साथ धोखाधड़ी की. वहीं, ASP सुनील नेगी ने पुष्टि को बताया कि अभियुक्त के खिलाफ IPC की धाराओं 420, 467, 468 व 471 में प्राथमिकी दर्ज कर कार्रवाई अमल में लाई जा रही है.