शिमला: पंचायत चुनाव प्रचार के दौरान कोरोना संक्रमण न फैले इसके लिए प्रदेश सरकार पूरा ध्यान देगी. मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि इसके लिए एसओपी बनाई जा रही है और एसओपी के अनुसार ही पंचायत चुनाव करवाये जा रहे हैं.
मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि पंचायत चुनाव लड़ने से किसी को वंचित नहीं किया जा सकता. ऐसे में पॉजिटिव व्यक्ति भी चुनाव लड़ सकता है, लेकिन वह चुनाव प्रचार नहीं कर सकता. संक्रमित व्यक्ति को चुनाव प्रचार करने नहीं दिया जा सकता. चुनाव प्रचार में एसओपी का कड़ाई से पालन करना होगा.
पंचायत चुनावों की घोषणा प्रदेश में कभी भी हो सकती है
बता दें कि पंचायत चुनावों की घोषणा प्रदेश में कभी भी हो सकती है. अभी तक प्रदेश में पंचायत चुनाव के लिए सौ पंचायतों की अंतिम मतदाता सूची 18 दिसंबर को जारी होने की उम्मीद है. अभी तक 3515 पंचायतों की अंतिम मतदाता सूची जारी हो चुकी है. मतदाता सूची के जारी होने के साथ राज्य चुनाव आयोग चुनाव की आगे की प्रक्रिया को शुरु करेगा.
चुनाव की घोषणा से लेकर मतदान करवाने के लिए कम से कम 26 दिन आवश्यक हैं
प्रदेश में नई पंचायतों के गठन और नए नगर निकायों के गठन के बाद अब पंचायतों की कुल संख्या 3615 हो गई है. इससे पूर्व पंचायतों की संख्या 3229 थी. अब पंचायतों में वार्डों की संख्या 21384 हो गई है, जबकि 81 बीडीसी समीतियों के सदस्यों की संख्या 1792 और बारह जिला परिषदों में 249 जिला परिषद सदस्य हैं.
26 दिन की प्रक्रिया राज्य चुनाव आयोग द्वारा निर्धारित नियमों के आधार पर नामांकन दाखिल होने से दस दिन पूर्व अधिसूचना जारी की जाती है. इसके बाद तीन दिन नामांकन के लिए और चौथे दिन नामांकन पत्रों की छटनी और नामांकन के छठे दिन नाम वापसी होती है. नाम वापसी के बाद कम से कम दस दिन मतदान के लिए दिए जाते हैं. पंचायत प्रतिनिधियों का कार्यकाल 23 जनवरी को हो रहा है.