शिमलाः आईजीएमसी में मरीजों को नए भवन के लिए लंबा इंतजार करना पड़ेगा. नए भवन को बनने में अभी 6 महीने तक का समय लग सकता है. इसका कारण फंड की कमी बताई जा रही है.
लोक निर्माण विभाग के अधिकारियों के मुताबिक 2016 में काम शुरू होने के दौरान 56 करोड़ रुपए की राशि आईजीएमसी के नए भवन के लिए स्वीकृत की गई थी और 2018 में इस कार्य को पूरा करने का लक्ष्य रखा गया था, लेकिन अब इसकी लागत करीब 100 करोड़ रुपये हो चुकी है और बजट अभी तक 36 करोड़ ही मिल पाया है.
गुरुवार को आईजीएमसी में हुई गवर्निंग काउंसिल की बैठक में भी स्वास्थ्य मंत्री विपिन परमार ने ओपीड़ी ब्लॉक को लेकर सवाल उठाए थे. लोक निर्माण विभाग के अधिकारियों ने मंत्री को बताया था कि भवन में 12 लिफ्ट के साथ दूसरे कार्य भी अधर में लटके हैं. इन कार्यों को पूरा करने के लिए 35 से 40 करोड़ रुपये तुरंत जारी होने चाहिए.
गौरतलब है कि पुराने भवन में 700 के लगभग बेड है और एक बेड पर 2 से 3 मरीज एडमिट है. ऐसे में मरीजों के इलाज मे काफी परेशानी होती है. अस्पताल में दाखिल मरीज अस्पताल प्रशासन फरियाद लेकर पहुंचने वाले मरीजों और तीमारदारों को मरीजों की संख्या अधिक होने का दुखड़ा सुनाकर चुप करवा देता है.
बता दें कि नए भवन को एक दिसंबर 2018 में उद्घाटन होने की बात कही जा रही थी, फिर मार्च 2019 और अब 6 महीने तक का समय बताया जा रहा है.
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