शिमलाः नगर निगम शिमला के आयुक्त के साथ सीटू नेता के किए हुए दुर्व्यवहार के बाद मामला पूरी तरह गर्मा चुका है. बीजेपी पार्षद आरती चौहान ने महापौर और उप महापौर के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है.
नगर निगम शिमला के आयुक्त के साथ दुर्व्यवहार की इस घटना के बाद सोमवार को सभी पार्षद आयुक्त से मिलने पहुचें, लेकिन महापौर और उप महापौर दोनो ही आयुक्त से मिलने नहीं पहुंचे. महापौर के न आने पर बीजेपी पार्षद आरती चौहान ने मोर्चा खोल दिया और दोनो से इस्तीफे की मांग कर डाली.
पार्षद आरती चौहान ने आरोप लगाया कि इतना संवेदनशील मामला होने के बाद भी महापौर और उप महापौर ने आयुक्त के पद आने की जहमत तक नहीं उठाई. निगम के आयुक्त को मारने की धमकी दी गई और सब पार्षद यहां पहुंचे है और एसपी को ज्ञापन सौंपा है, लेकिन महापौर ओर उप महापौर नहीं पहुंच पाए हैं.
आरती चौहान ने कहा कि ऐसे महापौर और उप महापौर को अपने पद पर बने रहने का कोई हक नहीं है. जो अपने अधिकारियों के साथ खड़े न हो पाए. उन्हें तुरंत अपने पद से इस्तीफा दे देना चाहिए. मुख्यमंत्री जयराम से आयुक्त को थप्पड़ मारने की धमकी देने वाले विजेंदर मेहरा के खिलाफ जल्द कार्रवाई करने की मांग की.
बता दें शनिवार को आयुक्त को सीटू के राज्य अध्यक्ष विजेंदर मेहरा ने थप्पड़ मारने की धमकी दी थी, लेकिन न तो महापौर ओर न ही उप महापौर सोमवार को आयुक्त से मिलने पहुंचे. जबकि सभी दलों के पार्षद आयुक्त से मिलने पहुंचे. वहीं, नगर निगम महापौर ओर उप महापौर के चुनाव से पहले ही वर्तामान महापौर उप महापौर के खिलाफ उनके पार्षदों ने मोर्चा खोल दिया है.