शिमला/चंडीगढ़: कई दिनों से लॉकडाउन की वजह से हिमाचल के बहुत से छात्र चंडीगढ़ में फंसे हुए थे. इसके बाद हिमाचल सरकार ने फैसला लिया था कि राजस्थान का कोटा हो या दिल्ली या फिर चंडीगढ़ यहां से वह अपने प्रदेश के सभी छात्रों को वापस लाएगी. इसी के तहत रविवार को चंडीगढ़ स्थित हिमाचल भवन से सरकार ने 13 बसों के जरिए राज्य के विभिन्न जिलों के बच्चों को निकालने का काम किया.
सरकार ने 15 बसों को भेजा था, लेकिन सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए 13 बसों में ही छात्रों को भेजने का काम पूरा हो गया. इस काम को पूरा करने की जिम्मेदारी नोडल अधिकारी राजीव कुमार, हिमाचल भवन के एजीएम अनिल कपूर और डीएसपी परवाणू की सौंपी गई थी. इसके बाद इन अधिकारियों ने चंडीगढ़ से हिमाचल रोडवेज की बसों में करीब 350 छात्रों को सोलन तक भेजा. यहां पर इन सभी छात्रों का मेडिकल चेकअप होगा और उसके बाद इन सभी छात्रों को संबंधित जिलों के डीसी उनके जिलों में पहुंचाएंगे.
हिमाचल के अधिकारियों का चंडीगढ़ पुलिस और प्रशासन ने भी पूरा साथ दिया. इसके लिए मौके पर चंडीगढ़ पुलिस की टीम भी मौजूद रही. बता दें कि इन छात्रों को 14 दिन तक घर पर आइसोलेट किया जाएगा. अगर किसी छात्र की तबीयत खराब होगी तो उसे सोलन में आइसोलेट किया जाएगा. उसे आइसोलेशन का समय पूरा करने के बाद ही घर भेजा जाएगा. बता दें कि इन बसों से भेजे गए छात्रों की दूरी को लेकर जो जरूरी नई दिशा निर्देश थे उनको निभाते हुए, इन छात्रों को बसों में भेजा गया. बसों की सीट के हिसाब से एक बस में करीब 22 से लेकर 27 छात्रों को भेजा गया. इसके लिए सरकार के सभी दिशा-निर्देशों का अधिकारियों ने खास तौर पर ध्यान रखा.
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