सुंदरनगर: हिमाचल परिवहन निगम में कार्यरत कर्मचारी समय पर वेतन नहीं मिलने पर एचारटीसी प्रबंधन से खफा हो गए हैं. इसके तहत कर्मचारी महासंघ संघ (इंटक) और मजदूर संघ ने समय पर वेतन नहीं मिलने पर कड़ा विरोध जताया है.
उनका कहना है कि प्रदेश कर्मचारियों द्वारा मेहनत कर प्रदेश सरकार और परिवहन विभाग को हर माह करोड़ों रुपये कमा कर दिए जा रहे हैं. इसके बावजूद भी उन्हें समय पर वेतन दिया जा रहा है. उन्होंने कहा कि समय पर वेतन ना मिलने के कारण उन्हें और उनके परिवार को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.
'वेतन हर माह के पहले सप्ताह में दिए जाए'
उन्होंने मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर और परिवहन विभाग से मांग की है कि उन्हें मिलने वाला वेतन हर माह के पहले सप्ताह में दिए जाए. जिससे वह अपना और अपने परिवार का गुजारा कर सके. इंटक इकाई सुंदरनगर के महामंत्री धनीराम का कहना है कि कर्मचारियों को मिलने वाला वेतन हर महीने की 20 तारीख के बाद मिल रहा है.
उन्होंने कहा कि सभी कर्मचारियों को वेतन माह के पहले सप्ताह में दिया जाना चाहिए. उन्होंने कहा की टीएमपीए परिचालकों को हर महीने मात्र 5500 रूपये वेतन दिया जा रहा है जिसे दिहाड़ी के हिसाब से देखा जाए तो मात्र 183 रुपए बन रहा है.
'प्रबंधन के खिलाफ आंदोलन किया जाएगा'
उन्होंने कहा कि यह दिहाड़ी सरकारी व मनरेगा देहरी से भी कम है. उन्होंने कहा कि पिस मिल कर्मचारियों को अनुबंध पॉलिसी में लाया जाए और 3 वर्ष के उपरांत नियमित किया जाए. उन्होंने कहा कि अगर सरकार उनकी मांग पर ध्यान नहीं देगी तो प्रदेश कार्यकारिणी से संपर्क कर प्रबंधन के खिलाफ आंदोलन किया जाएगा.
हिमाचल प्रदेश परिवहन मजदूर संघ के प्रदेश सचिव चमन लाल ने कहा कि परिवहन निगम के कर्मचारियों को मिलने वाला वेतन 20 तारीख के बाद दिया जा रहा है उन्होंने सरकार से मांग की है कि सभी कर्मचारियों को अन्य विभागों की तर्ज पर माह की पहली तारीख को वेतन जाना चाहिए, ताकि वह अपना और अपने परिवार का गुजारा कर सके.
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