मंडी: छोटी काशी मंडी के ऐतिहासिक मंदिर बाबा भूतनाथ में बाबा भूतनाथ का 1 माह तक जलाभिषेक नहीं किया जाएगा. महाशिवरात्रि तक अब परंपरा के अनुसार तारा रात्रि से बाबा भूतनाथ को माखन का लेप ही चढ़ेगा. शुक्रवार की मध्यरात्रि को बाबा भूतनाथ की पूजा अर्चना करने के बाद करीब एक माह तक केवल मक्खन का लेप लगाया जाएगा. जिसमें बाबा भोलेनाथ के देश में प्रसिद्ध व ऐतिहासिक मंदिरों में विराजमान रूपों को मक्खन के साथ उकेरा जाएगा. जिससे महाशिवरात्रि तक बाबा भोलेनाथ के कई रूपों के दर्शन छोटी काशी में भक्तों को करने के लिए मिलेंगे.
मान्यता है कि बाबा भूतनाथ को माखन का लेप चढ़ते ही छोटी काशी मंडी में शिवरात्रि महोत्सव का आगाज हो जाता है. 1 माह बाद महाशिवरात्रि के दिन मक्खन को उतार कर बाबा भूतनाथ पर जल का अभिषेक किया जाएगा और उनके दर्शन करने का सौभाग्य करीब एक माह बाद मिलेगा. बाबा भूतनाथ मंदिर मंडी के महंत देवानंद सरस्वती ने बताया कि मंदिर में कई वर्षों से चली आ रही परंपरा के अनुसार इस बार भी शुक्रवार से बाबा भूतनाथ पर केवल मक्खन चढ़ेगा.
उन्होंने बताया कि इसके लिए गांवों से देसी गौ माता का शुद्ध मक्खन लाया जा रहा है जिससे पहले दिन लगभग 21 किलो मक्खन से श्रृंगार किया जाएगा. इसके साथ ही बाकी दिनों के लिए डेयरी से बिना नमक वाला मक्खन भी स्पेशल तौर पर मंगवाया जाता है. देवानंद सरस्वती ने बताया कि हमारी परंपरा और संस्कृति सनातन के स्तंभ है और इसे आगे भी इसी प्रकार से सहेज कर रखा जाएगा साथ ही आने वाली पीढ़ी को भी इसकी जानकारी दी जाएगी. बता दें कि तारा रात्रि से ही शिवरात्रि का शुभारंभ हो जाता है और फिर महाशिवरात्रि का महोत्सव मंडी में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मनाई जाती है.
पंडित अमित शर्मा के अनुसार महाशिवरात्रि के दिन भगवान शंकर को पंचामृत से स्नान कराएं. केसर के 8 लोटे जल चढ़ाएं. इसके बाद चंदन का तिलक लगाएं, बेलपत्र, भांग, गन्ने का रस, धतूरा, तुलसी, जायफल, कमल गट्टे, फल, मिठाई, मीठा पान इत्र और दक्षिणा चढ़ाएं. इसके बाद खीर का भोग लगाकर प्रसाद बांटे. इस दिन शिव पुराण का पाठ जरूर करें.
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