कुल्लू: जिला कुल्लू की सैंज घाटी में बीते जुलाई माह में आई बाढ़ के चलते करोड़ों रुपए की संपत्ति नष्ट हो गई और यहां पर सड़क मार्ग भी बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया. लेकिन एक महीना से अधिक का समय बीतने के बाद भी सड़क मार्ग वाहनों की आवाजाही के लिए बहाल नहीं हो पाया है. जिससे घाटी की 4 पंचायतों के लोगों को खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. ऐसे में सैंज घाटी के ग्रामीणों का एक प्रतिनिधिमंडल ढालपुर में डीसी आशुतोष गर्ग से मिला.
वहीं, उन्होंने डीसी आशुतोष से मांग रखी कि जहां सड़क पर मलबा गिरा हुआ है उसे हटाने के लिए एनएचपीसी को निर्देश जारी किए जाएं. जानकारी देते हुए मनु महाराज कोऑपरेटिव सोसायटी के प्रधान महेंद्र पालसरा ने बताया कि यहां पर रेला, न्यूली, सैंज, शांगढ़, शेंशर सड़क 1 माह से भी अधिक समय से बंद पड़ी हुई है और लोगों को पैदल ही सफर करना पड़ रहा है. हालांकि न्यूली में अब झूला पुल लगाया गया है, लेकिन उसके बाद भी लोगों की परेशानी कम नहीं हुई है.
घाटी में जब लोग बीमार हो रहे हैं तो उन्हें कई किलोमीटर पालकी में ढोकर सैंज लाना पड़ रहा है और उसके बाद उन्हें वाहन के माध्यम से कुल्लू पहुंचाया जा रहा है. ऐसे में अगर जिला प्रशासन एनएचपीसी, लोक निर्माण विभाग के अधिकारियों को जल्द से जल्द काम करने के निर्देश जारी करें. तो यह सड़क वाहनों की आवाजाही के लिए बाहर हो सकती है.
महेंद्र पालसरा ने कहा कि ग्रामीण इलाकों में सबसे ज्यादा समस्या किसानों को आ रही है और किसानों के कृषि उत्पाद खेतों में खराब हो रहे हैं. जब तक सड़क की हालत सही नहीं होती है. तब तक लोगों को भी आर्थिक रूप से नुकसान उठाना पड़ रहा है. ऐसे में अब इस दिशा में प्रशासन जल्द से जल्द काम करें.