कुल्लू: दुर्गम पहाड़ी पर सूरज तो उगता देखा है लेकिन क्रिकेट का सितारा चमकने लगे तो आश्चर्य जरूर होगा. जिला कुल्लू में क्रिकेट के सितारे का उदय हो चुका है. क्रिकेट का यह उभरता सितारा रंजना ठाकुर है. रंजना ठाकुर ने कुल्लू जिला की सराज घाटी का ही नहीं बल्कि पूरे प्रदेश का नाम देश भर में रोशन किया है.
उपमंडल बंजार के चकुरठा पंचायत के फगौला गांव में पिता अध्यापक ज्ञान ठाकुर और माता गृहणी नुरमा देवी के घर इस बेटी का जन्म हुआ. रंजना ठाकुर ने दुर्गम पहाड़ी पर ही अपनी पिच तैयार की और आज राष्ट्र स्तर की पिचों पर चौके-छ्क्के लगा रही है. हाल ही में आंध्र प्रदेश के विजयवाड़ा में आयोजित होने बाली अंडर-23 राष्ट्रीय क्रिकेट प्रतियोगिता के लिए हिमाचल की टीम में रंजना ठाकुर का चयन हुआ है. रंजना अपनी टीम के साथ धर्मशाला से आंध्र प्रदेश के लिए रवाना हो गई है. इसके लिए रंजना ने एचपीसीए और कोच का आभार प्रकट किया है. यह प्रतियोगिता 12 से 19 नवंबर तक आयोजित होगी.
बता दें कि रंजना ठाकुर ने पढ़ाई और घर के काम के साथ खेलों की प्रैक्टिस नहीं छोड़ी. इससे पहले रंजना हरियाणा के रोहतक में भी राष्ट्र स्तरीय प्रतियोगिता में भाग ले चुकी है. रंजना सिर्फ क्रिकेट में ही नहीं बल्कि टेनिस व एथेलेटिक्स में भी माहिर है. जम्मू में वो टेनिस बॉल प्रतियोगिता में अपनी प्रतिभा का लोहा मनवा चुकी हैं. सोलन में राज्य स्तरीय प्रतियोगिता के अलावा रॉयल चेलेंज में भी खेल चुकी है. राज्य स्तरीय क्रॉस कंट्री में रनरअप रही है और रेस में 10,000 मीटर 51 मिनट में पूरी कर चुकी है.
इसके अलावा रंजना ठाकुर हिमाचल के लगभग सभी मैदानों में अपनी प्रतिभा का लोहा मनवा चुकी है. रंजना की शुरुआती शिक्षा राजकीय प्राथमिक पाठशाला फगवाना में हुई. इसके बाद 10 वीं की शिक्षा कोटला स्कूल और जमा दो बालीचौकी से की. इसके अलावा स्नातक की डिग्री कॉलेज कुल्लू से की और अब एचपीसीए की ओर से राष्ट्रीय क्रिकेट प्रतियोगिता में भाग ले रही हैं. रंजना की इस कामयाबी पर उनके गांव, स्कूल और कॉलेज में खुशी का माहौल है. रंजना ने इस कामयावी का श्रेय अपने माता-पिता, गुरुजनों, कोच कमल नैन और अध्यापिका सुजाता को दिया है. इस प्रतियोगिता को जीतने के बाद अब रंजना का सपना अंतरराष्ट्रीय पिच पर जाने का है.
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