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सड़क सुविधा का अभाव, 25 किमी पैदल चलकर मरीज को पहुंचाया अस्पताल - बीमार महिला को कुर्सी पर बिठाकर पहुंचाया अस्पताल

सैंज घाटी के मरोड़ गांव में सड़क सुविधा का अभाव है. यहां बीमार महिला को ग्रामीणों ने 25 किलोमीटर पैदल चलकर अस्पताल पहुंचाया गया है. गाड़ापारली पंचायत के उपप्रधान अजय, वार्ड पंच निर्मला ठाकुर, बीडीसी धर्मपाल ठाकुर ने कहा कि जैसे ही गांव में कोई बीमार पड़ जाता है तो लोगों की मुश्किलें बढ़ जाती हैं.

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Published : Mar 9, 2021, 10:03 AM IST

कुल्लू: सैंज घाटी के मरोड़ गांव में सड़क सुविधा न होने के कारण एक महिला को 25 किलोमीटर पैदल चलकर अस्पताल पहुंचाया गया. घाटी के मरोड़ गांव में सड़क सुविधा न होने के कारण यहां लोगों को खासी परेशानियां उठानी पड़ती है.

सड़क सुविधा न होने के चलते परेशानी

मंगलवार रात को मरोड़ गांव की मूर्ति देवी (35) पत्नी राम चंद को पेट दर्द की समस्या हुई, लेकिन गांव में सड़क सुविधा न होने के चलते ग्रामीण सुबह होने का इंतजार करते रहे. सुबह करीब आठ बजे ग्रामीणों ने मरीज को कुर्सी पर उठाकर पहाड़ी से उतारना शुरू किया. करीब पांच घंटे सफर के बाद महिला को सड़क तक पहुंचाया गया.

आश्वासन के अलावे कुछ नहीं मिला

गाड़ापारली पंचायत के उपप्रधान अजय, वार्ड पंच निर्मला ठाकुर, बीडीसी धर्मपाल ठाकुर ने कहा कि जैसे ही गांव में कोई बीमार पड़ जाता है तो लोगों की मुश्किलें बढ़ जाती हैं. मरीज को कुर्सी पर सड़क तक लाना पड़ता है. कई बार तो मरीज आधा रास्ते में ही दम तोड़ देते हैं. ग्रामीणों ने तो कई बार मरोड़ गांव को सड़क से जोड़ने की मांग उठाई, लेकिन हर बार उन्हें सरकार और नेताओं की ओर से आश्वासन ही मिले हैं.

वहीं, ग्राम पंचायत गाड़ापारली की प्रधान यमुना देवी ने कहा कि कई बार विभाग व सरकार को समस्या से अवगत करवाया गया है, लेकिन कोई हल नहीं निकला है. उधर, बंजार के विधायक सुरेंद्र शौरी ने कहा कि मरोड़ गांव के चारों ओर वन क्षेत्र हैं. ऐसे में गांव को सड़क से जोड़ने के लिए फॉरेस्ट क्लीयरेंस लेने के लिए भेजा गया है.

ये भी पढ़ें: CM और महेंद्र सिंह के विस क्षेत्र पर मेहरबानी! जल जीवन मिशन के तहत 44,395 लाख के टेंडर आवंटित

कुल्लू: सैंज घाटी के मरोड़ गांव में सड़क सुविधा न होने के कारण एक महिला को 25 किलोमीटर पैदल चलकर अस्पताल पहुंचाया गया. घाटी के मरोड़ गांव में सड़क सुविधा न होने के कारण यहां लोगों को खासी परेशानियां उठानी पड़ती है.

सड़क सुविधा न होने के चलते परेशानी

मंगलवार रात को मरोड़ गांव की मूर्ति देवी (35) पत्नी राम चंद को पेट दर्द की समस्या हुई, लेकिन गांव में सड़क सुविधा न होने के चलते ग्रामीण सुबह होने का इंतजार करते रहे. सुबह करीब आठ बजे ग्रामीणों ने मरीज को कुर्सी पर उठाकर पहाड़ी से उतारना शुरू किया. करीब पांच घंटे सफर के बाद महिला को सड़क तक पहुंचाया गया.

आश्वासन के अलावे कुछ नहीं मिला

गाड़ापारली पंचायत के उपप्रधान अजय, वार्ड पंच निर्मला ठाकुर, बीडीसी धर्मपाल ठाकुर ने कहा कि जैसे ही गांव में कोई बीमार पड़ जाता है तो लोगों की मुश्किलें बढ़ जाती हैं. मरीज को कुर्सी पर सड़क तक लाना पड़ता है. कई बार तो मरीज आधा रास्ते में ही दम तोड़ देते हैं. ग्रामीणों ने तो कई बार मरोड़ गांव को सड़क से जोड़ने की मांग उठाई, लेकिन हर बार उन्हें सरकार और नेताओं की ओर से आश्वासन ही मिले हैं.

वहीं, ग्राम पंचायत गाड़ापारली की प्रधान यमुना देवी ने कहा कि कई बार विभाग व सरकार को समस्या से अवगत करवाया गया है, लेकिन कोई हल नहीं निकला है. उधर, बंजार के विधायक सुरेंद्र शौरी ने कहा कि मरोड़ गांव के चारों ओर वन क्षेत्र हैं. ऐसे में गांव को सड़क से जोड़ने के लिए फॉरेस्ट क्लीयरेंस लेने के लिए भेजा गया है.

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