कुल्लू: रविवार सुबह लाहौल घाटी के गोशाल गांव के पास ग्लेशियर गिरने से चार ढाबे तबाह हो गए. हालांकि घटना के दौरान यहां कोई भी व्यक्ति मौजूद नहीं था, लेकिन ग्लेशियर गिरने से चार ढाबे पूरी तरह से तबाह हो गए. घटना के बाद जिला आपदा प्रबंधन की टीम सक्रिय हुई और घटनास्थल का जायजा लिया. यह ग्लेशियर तांदी संगम स्थल के साथ बने ब्रिज के पास गिरा है.
बता दें कि लाहौल-स्पीति में ग्लेशियरों के गिरने का दौर लगतार जारी है. ऐसे में स्थानीय लोग जहां दहशत में हैं, वहीं प्रशासन ने भी जिला में अलर्ट जारी कर रखा है. रविवार सुबह मौसम भले ही साफ था, लेकिन गोशाल गांव के समीप गिरे ग्लेशियर से स्थानीय लोग डर गए हैं, क्योंकि अभी भी यहां पर ग्लेशियर गिरने का खतरा बना हुआ है. इसके साथ ही घाटी में जगह-जगह ग्लेशियर गिरने की संभावना बनी हुई है. इसके लिए प्रशासन ने एहतिहात के तौर पर लोगों से अपील की है कि वे ऐसे क्षेत्रों की तरफ न जाएं जहां ग्लेशियर गिरने का खतरा बना हुआ है.
बता दें कि इससे पहले उदयपुर के पास तिंदी में ग्लेशियर गिरा था, जिसमें एक शराब का ठेका व दो भवन तबाह हो गए थे. यही नहीं गोंदला के समीप गिरे ग्लेशियर की चपेट में चार मजदूर व उनके बच्चे भी इसकी चपेट में आकर दब गए थे, जिन्हें प्रशासन की रेस्क्यू टीम ने कड़ी मशक्कत के बाद जिंदा बाहर निकाला था. ऐसे में अब रविवार को भी लाहौल में ग्लेशियर के गिरने से लोग डर गए हैं. लाहौल में इन दिनों घरों से बाहर निकलना खतरे से खाली नहीं है.
उपायुक्त लाहौल-स्पीति अश्वनी कुमार चौधरी का कहना है कि रविवार को आपदा प्रबंधन की टीम ने उन्हें सूचना दी है कि गोशाल गांव के पास ग्लेशियर गिरा है. इस घटना में चार ढाबे ग्लेशियर के मलबे में दब गए हैं. हलांकि ग्लेशियर गिरने की इस घटना में किसी भी तरह का कोई जानी नुकसान नहीं हुआ है. उन्होंने कहा कि प्रशासन की लोगों से यही अपील है कि वे सुरक्षित स्थलों पर ही रहें.