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अपने क्षेत्र की ही यात्रा कर पाएंगे देवता, 15 बजंतरी और 100 लोगों को साथ जाने की अनुमति - SOP for religious events in himachal

डीसी डॉ. ऋचा वर्मा ने जिला कुल्लू की देव संस्कृति/देव परम्परा और पूजा पद्धति को ध्यान में रखते हुए आदेश जारी किए हैं. जारी किए गए आदेशों के अनुसार जिला कुल्लू के देवी-देवताओं को प्रचलित परम्पराओं के अनुसार केवल अपने हारियान क्षेत्र में ही यात्रा करनी होगी और देवी-देवता वाहन में सफर नहीं करेंगे और न ही अपने पूजित क्षेत्र (हार) से बाहर जाएंगे. आदेश के अनुसार एक समय में 15 बजंतरियों सहित 100 लोगों को ही देवी-देवता के साथ जाने की अनुमति होगी.

देवी देवता
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Published : Oct 17, 2020, 4:27 PM IST

कुल्लू: धार्मिक संस्थानों को खोलने के लिए निर्धारित एसओपी के तहत आवश्यक दिशा-निर्देश डीसी डॉ. ऋचा वर्मा ने जिला कुल्लू की देव संस्कृति/देव परम्परा और पूजा पद्धति को ध्यान में रखते हुए जारी किए हैं. हिमाचल प्रदेश सरकार की ओर से 5 सितंबर, 2020 को यह दिशा निर्देश जारी किए थे.

जारी किए गए आदेशों के अनुसार जिला कुल्लू के देवी-देवताओं को प्रचलित परम्पराओं के अनुसार केवल अपने हारियान क्षेत्र में ही यात्रा करनी होगी और देवी-देवता गाड़ी में सफर नहीं करेंगे और न ही अपने पूजित क्षेत्र (हार) से बाहर जाएंगे. आदेश के अनुसार एक समय में 15 बजंतरियों सहित 100 लोगों को ही देवी-देवता के साथ जाने की अनुमति होगी.

कोविड-19 महामारी को ध्यान में रखते हुए देवता के साथ जाने वाले सभी कारकूनों/देवलुओं को मास्क का प्रयोग करना और उचित सामाजिक दूरी बनाए रखना आवश्यक होगा. जिस घर में देवता का रथ/ पालकी जाएगी, वहां देवता के हारियान/ कारकूनों के अतिरिक्त कोई भी अन्य व्यक्ति नहीं बुलाया जाएगा. देवता का रथ एवं पालकी को किसी ऐसे स्थान पर ले जाया जाना मान्य नहीं होगा जहां कोविड-19 महामारी का मरीज उपचाराधीन हो.

इसके अतिरिक्त, नवरात्रों के दौरान एवं मंदिर में होने वाले विशेष पूजा-अनुष्ठानों के समय सभी कारकूनों को मास्क का प्रयोग और उचित सामाजिक दूरी बनाए रखना अनिवार्य होगा. हिमाचल प्रदेश सरकार द्वारा 5 सितम्बर, 2020 को जारी की गई मानक संचालन प्रक्रिया के अनुसार मंदिर परिसर में आने वाले श्रद्धालुओं के लिए समुचित सेनेटाईजेशन (स्वच्छता) की व्यवस्था को सुनिश्चित करना देवता/मंदिर प्रशासन की जिम्मेदारी होगी.

नवरात्रों में पूजा अर्चना के समय रखें इन नियमों का ख्याल

डीसी डाॅ. ऋचा वर्मा ने जिलावासियों को नवरात्रों की बधाई देते हुए कहा कि जिला प्रशासन लोगों की श्रद्धा व आस्था का सम्मान करता है. उन्होंने लोगों से आग्रह किया है कि नवरात्रों के समय मंदिरों में पूजा-अर्चना करते समय कोविड-19 के नियमों का खास तौर पर ख्याल रखें ताकि हम भयाभय महामारी से बच सकें.

डीसी कुल्लू ने लोगों से अपील की है कि मंदिरों में कम से कम दो गज की दूरी बनाकर पूजा के लिए सयंम के साथ अपनी बारी का इंतजार करें. हाथों को सेनिटाइज कर लें और फेस कवर का इस्तेमाल अच्छे से करें. हो सके तो घर पर ही पूजा अर्चना करें.

किसी भी स्थल पर अनावश्यक भीड़-भाड़ करने से बचें. उन्होंने कहा कि कोरोना का संकट लगातार बढ़ रहा है और थोड़ी सी असावधानी किसी भी व्यक्ति को और उसके परिवार को संकट में डाल सकती है.

पढ़ें: इनडोर स्टेडियम हमीरपुर में कबड्डी प्रतियोगिता का आयोजन, ग्रामीण क्षेत्रों के युवा दिखा रहे दमखम

कुल्लू: धार्मिक संस्थानों को खोलने के लिए निर्धारित एसओपी के तहत आवश्यक दिशा-निर्देश डीसी डॉ. ऋचा वर्मा ने जिला कुल्लू की देव संस्कृति/देव परम्परा और पूजा पद्धति को ध्यान में रखते हुए जारी किए हैं. हिमाचल प्रदेश सरकार की ओर से 5 सितंबर, 2020 को यह दिशा निर्देश जारी किए थे.

जारी किए गए आदेशों के अनुसार जिला कुल्लू के देवी-देवताओं को प्रचलित परम्पराओं के अनुसार केवल अपने हारियान क्षेत्र में ही यात्रा करनी होगी और देवी-देवता गाड़ी में सफर नहीं करेंगे और न ही अपने पूजित क्षेत्र (हार) से बाहर जाएंगे. आदेश के अनुसार एक समय में 15 बजंतरियों सहित 100 लोगों को ही देवी-देवता के साथ जाने की अनुमति होगी.

कोविड-19 महामारी को ध्यान में रखते हुए देवता के साथ जाने वाले सभी कारकूनों/देवलुओं को मास्क का प्रयोग करना और उचित सामाजिक दूरी बनाए रखना आवश्यक होगा. जिस घर में देवता का रथ/ पालकी जाएगी, वहां देवता के हारियान/ कारकूनों के अतिरिक्त कोई भी अन्य व्यक्ति नहीं बुलाया जाएगा. देवता का रथ एवं पालकी को किसी ऐसे स्थान पर ले जाया जाना मान्य नहीं होगा जहां कोविड-19 महामारी का मरीज उपचाराधीन हो.

इसके अतिरिक्त, नवरात्रों के दौरान एवं मंदिर में होने वाले विशेष पूजा-अनुष्ठानों के समय सभी कारकूनों को मास्क का प्रयोग और उचित सामाजिक दूरी बनाए रखना अनिवार्य होगा. हिमाचल प्रदेश सरकार द्वारा 5 सितम्बर, 2020 को जारी की गई मानक संचालन प्रक्रिया के अनुसार मंदिर परिसर में आने वाले श्रद्धालुओं के लिए समुचित सेनेटाईजेशन (स्वच्छता) की व्यवस्था को सुनिश्चित करना देवता/मंदिर प्रशासन की जिम्मेदारी होगी.

नवरात्रों में पूजा अर्चना के समय रखें इन नियमों का ख्याल

डीसी डाॅ. ऋचा वर्मा ने जिलावासियों को नवरात्रों की बधाई देते हुए कहा कि जिला प्रशासन लोगों की श्रद्धा व आस्था का सम्मान करता है. उन्होंने लोगों से आग्रह किया है कि नवरात्रों के समय मंदिरों में पूजा-अर्चना करते समय कोविड-19 के नियमों का खास तौर पर ख्याल रखें ताकि हम भयाभय महामारी से बच सकें.

डीसी कुल्लू ने लोगों से अपील की है कि मंदिरों में कम से कम दो गज की दूरी बनाकर पूजा के लिए सयंम के साथ अपनी बारी का इंतजार करें. हाथों को सेनिटाइज कर लें और फेस कवर का इस्तेमाल अच्छे से करें. हो सके तो घर पर ही पूजा अर्चना करें.

किसी भी स्थल पर अनावश्यक भीड़-भाड़ करने से बचें. उन्होंने कहा कि कोरोना का संकट लगातार बढ़ रहा है और थोड़ी सी असावधानी किसी भी व्यक्ति को और उसके परिवार को संकट में डाल सकती है.

पढ़ें: इनडोर स्टेडियम हमीरपुर में कबड्डी प्रतियोगिता का आयोजन, ग्रामीण क्षेत्रों के युवा दिखा रहे दमखम

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