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Kullu: जनवरी से अप्रैल माह तक 56 किलो 646 ग्राम चरस बरामद, 101 मामलों में 89 आरोपी हुए गिरफ्तार - हिमाचल में चरस की तस्करी

हिमाचल प्रदेश के जिला कुल्लू में चार महीने के अंदर 56 किलो 656 ग्राम चरस पकड़ी गई है. महज कुछ पैसों के लालच में आकर युवा में भी तस्करी में संलिप्त हो रहे हैं. पढ़ें पूरी खबर...

Charas cases in Kullu
सांकेतिक तस्वीर.
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Published : May 11, 2023, 3:53 PM IST

कुल्लू: जिला कुल्लू में नशा तस्करों पर कुल्लू पुलिस की कार्रवाई लगातार जारी है. हालांकि आए दिन रोजाना चरस और हेरोइन तस्करों पर पुलिस कारवाई के मामले सामने आ रहे हैं, लेकिन नशा तस्कर उसके बाद भी बेखौफ अपने कारोबार को अंजाम दे रहा है और पुलिस का डर भी उसमें दिखाई नहीं दे रहा है. ऐसे में कुल्लू पुलिस के द्वारा 4 माह के भीतर 56 किलो 646 ग्राम चरस बरामद की गई है. जनवरी से लेकर अप्रैल माह तक 101 मामले दर्ज किए गए हैं और 89 लोगों को गिरफ्तार किया गया है. वहीं, कुल्लू पुलिस स्थानीय लोगों से भी आग्रह कर रही है कि वे भी नशा मुक्त कुल्लू बनाने के लिए पुलिस का सहयोग करें.

कुल्लू पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार जनवरी से लेकर अप्रैल माह तक 56 किलो 646 किलोग्राम चरस बरामद की गई है. इसके अलावा 569 ग्राम हेरोइन, 35 किलोग्राम भुक्की, अफीम के 1 लाख 25 हजार 366 पौधे नष्ट किए गए हैं. इसके अलावा 3 किलो 710 ग्राम अफीम भी बरामद की गई है. वहीं बीते दिनों ही मनाली में कुल्लू पुलिस की टीम ने अब तक सबसे अधिक हेरोइन की खेप 266 ग्राम बरामद की है. जिसकी बाजार में कीमत 13 लाख 30 हजार रुपए आंकी गई है. कानपुर का रहने वाला आरोपी युवक स्कूली बच्चों को ₹5000 प्रति ग्राम के हिसाब से हेरोइन बेचता था. जिला कुल्लू के कई स्थानों पर हेरोइन और चरस सहित अन्य नशे के सामग्री आसानी से मिल जाती है. वहीं, रातों रात अमीर बनने की चाह में युवा भी बीते कुछ सालों से चरस तस्करी के कारोबार में संलिप्त हो गए हैं. इसके अलावा पुलिस ने 4 माह में 4 महिलाओं के खिलाफ भी नशा तस्करी करने का मामला दर्ज किया है.

साल 2022 की बात करें तो जिला कुल्लू के मनाली और मणिकर्ण इलाके में नारकोटिक्स की टीम ने 13,000 बीघा भूमि से चरस की खेती को नष्ट किया है, लेकिन इसके बाद भी चरस तस्करी के मामले सामने आ रहे हैं. जिला कुल्लू के रूमसू, नथान, चौकी, धारा, जरी, पीनी, मलाणा, राइटिंग, मैजिक वैली, शीला, तोश की पहाड़ियों पर यह चरस की खेती नष्ट की गई थी. इसके अलावा भी कई दुर्गम स्थान ऐसे हैं जहां पर चरस की खेती की जाती है. वहां पर ना तो पुलिस पहुंच पाती है और ना ही कोई एजेंसी वहां पहुंच पाई है.

हिमाचल प्रदेश में कुल्लू जिला के अलावा मंडी, धर्मशाला अपर शिमला में भी भांग और अफीम की खेती की जाती है. हर साल इस खेती को नष्ट करने के लिए अभियान चलाया जाता है, लेकिन उसके बाद भी चरस, अफीम तस्करी के मामले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं. जिला कुल्लू की एसपी साक्षी वर्मा ने बताया कि जिला कुल्लू में हेरोइन और चरस तस्करी को रोकने के लिए पुलिस लगातार कार्य कर रही है. मनाली में भी बीते दिनों 266 ग्राम हेरोइन बरामद की गई थी. ऐसे में नशा तस्करों पर कुल्लू पुलिस की नजर है और उन पर कानूनी कार्रवाई भी की जा रही है.

Read Also- भांग, गांजा और चरस... नाम अलग, दाम अलग लेकिन पौधा एक, दवा से लेकर नशे तक होता है इस्तेमाल

कुल्लू: जिला कुल्लू में नशा तस्करों पर कुल्लू पुलिस की कार्रवाई लगातार जारी है. हालांकि आए दिन रोजाना चरस और हेरोइन तस्करों पर पुलिस कारवाई के मामले सामने आ रहे हैं, लेकिन नशा तस्कर उसके बाद भी बेखौफ अपने कारोबार को अंजाम दे रहा है और पुलिस का डर भी उसमें दिखाई नहीं दे रहा है. ऐसे में कुल्लू पुलिस के द्वारा 4 माह के भीतर 56 किलो 646 ग्राम चरस बरामद की गई है. जनवरी से लेकर अप्रैल माह तक 101 मामले दर्ज किए गए हैं और 89 लोगों को गिरफ्तार किया गया है. वहीं, कुल्लू पुलिस स्थानीय लोगों से भी आग्रह कर रही है कि वे भी नशा मुक्त कुल्लू बनाने के लिए पुलिस का सहयोग करें.

कुल्लू पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार जनवरी से लेकर अप्रैल माह तक 56 किलो 646 किलोग्राम चरस बरामद की गई है. इसके अलावा 569 ग्राम हेरोइन, 35 किलोग्राम भुक्की, अफीम के 1 लाख 25 हजार 366 पौधे नष्ट किए गए हैं. इसके अलावा 3 किलो 710 ग्राम अफीम भी बरामद की गई है. वहीं बीते दिनों ही मनाली में कुल्लू पुलिस की टीम ने अब तक सबसे अधिक हेरोइन की खेप 266 ग्राम बरामद की है. जिसकी बाजार में कीमत 13 लाख 30 हजार रुपए आंकी गई है. कानपुर का रहने वाला आरोपी युवक स्कूली बच्चों को ₹5000 प्रति ग्राम के हिसाब से हेरोइन बेचता था. जिला कुल्लू के कई स्थानों पर हेरोइन और चरस सहित अन्य नशे के सामग्री आसानी से मिल जाती है. वहीं, रातों रात अमीर बनने की चाह में युवा भी बीते कुछ सालों से चरस तस्करी के कारोबार में संलिप्त हो गए हैं. इसके अलावा पुलिस ने 4 माह में 4 महिलाओं के खिलाफ भी नशा तस्करी करने का मामला दर्ज किया है.

साल 2022 की बात करें तो जिला कुल्लू के मनाली और मणिकर्ण इलाके में नारकोटिक्स की टीम ने 13,000 बीघा भूमि से चरस की खेती को नष्ट किया है, लेकिन इसके बाद भी चरस तस्करी के मामले सामने आ रहे हैं. जिला कुल्लू के रूमसू, नथान, चौकी, धारा, जरी, पीनी, मलाणा, राइटिंग, मैजिक वैली, शीला, तोश की पहाड़ियों पर यह चरस की खेती नष्ट की गई थी. इसके अलावा भी कई दुर्गम स्थान ऐसे हैं जहां पर चरस की खेती की जाती है. वहां पर ना तो पुलिस पहुंच पाती है और ना ही कोई एजेंसी वहां पहुंच पाई है.

हिमाचल प्रदेश में कुल्लू जिला के अलावा मंडी, धर्मशाला अपर शिमला में भी भांग और अफीम की खेती की जाती है. हर साल इस खेती को नष्ट करने के लिए अभियान चलाया जाता है, लेकिन उसके बाद भी चरस, अफीम तस्करी के मामले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं. जिला कुल्लू की एसपी साक्षी वर्मा ने बताया कि जिला कुल्लू में हेरोइन और चरस तस्करी को रोकने के लिए पुलिस लगातार कार्य कर रही है. मनाली में भी बीते दिनों 266 ग्राम हेरोइन बरामद की गई थी. ऐसे में नशा तस्करों पर कुल्लू पुलिस की नजर है और उन पर कानूनी कार्रवाई भी की जा रही है.

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