किन्नौर: गलवान घाटी में भारत चीन की सीमा पर हुई झड़प के बाद किन्नौर में चीन की सीमा से लगते गांवों में अलर्ट जारी किया गया है. चीन की सीमा से लगते किन्नौर के कूनो चारङ्ग, छितकुल, समदो, कौरिक, शिपकिला में सेना और आईटीबीपी के जवान तैनात हो चुके हैं. सेना के आलाधिकारियों ने कूनो चारङ्ग के प्रधान को भी इस बात से वाकिफ करवा दिया है कि कोई भी व्यक्ति चीनी सीमा के नजदीक नहीं जाएगा. ग्रामीणों को चीनी सीमा से 25 किलोमीटर पीछे रहने को कहा गया है.
किन्नौर का नमज्ञा गांव चीनी सीमा से सबसे नजदीक है. नमज्ञा से चीन की सीमा 13 किलोमीटर दूर है. यहां से चीन का शिपकी गांव भी देखा जा सकता है. इन दिनों सेना के हेलिकॉप्टर और गाड़ियां रोजाना शिपकला की ओर जा रही हैं. शिपकिला का कुछ हिस्सा भारत की सीमा में आता है, जबकि कुछ हिस्सा चीन के पास है. नमज्ञा गांव के लोगों को सीमावर्ती क्षेत्रों में जाने की मनाही की गई है. इन दिनों यहां मोबाइल सम्पर्क सेवा भी पूरी तरह से ठप्प पड़ गई है.
नमज्ञा के लोग इन दिनों अपने घरो में दुबके हुए हैं और सेना व आईटीबीपी के हर आदेशो की पालना भी कर रहे हैं. रोजाना सेना व आईटीबीपी के जवान व बड़े बड़े वाहन सीमा की ओर जा रहे हैं. ऐसे में सड़को पर वाहनों को खड़ा करने पर भी मनाही है.
डीसी किन्नौर ने कहा कि चीन सीमाओं पर इन दिनों सेना व आईटीबीपी के जवान तैनात हो चुके हैं और सेना व आईटीबीपी के आला अधिकारियों के साथ प्रशासन सम्पर्क में है. लोगों को खाने पीने की किसी भी चीज की कमी नहीं रहेगी.
बता दें कि नमज्ञा के ग्रामीण कई साल पहले तिब्बत में अपना व्यापार करने के लिए आते-जाते थे. किन्नौर से व्यापारी तिब्बत और चीन में रेशम, कारपेट, चमड़े के जूते, थर्मस, हींग, नमक, गुड़, चीनी, मसाले, चावल ले जाया करते थे, लेकिन पिछले कुछ समय से नमज्ञा व चीन की सीमा को व्यापार के लिए बन्द कर दिया गया है.