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धर्मशाला में 98.46 करोड़ रुपये से बनेगा इंटीग्रेटेड कमांड कंट्रोल सेंटर: सुरेश भारद्वाज - भागसू सांस्कृतिक केंद्र

धर्मशाला स्मार्ट सिटी में 98.46 करोड़ रुपये की लागत से इंटीग्रेटेड कमांड कंट्रोल सेंटर बनने जा रहा है. इसकी सैद्धांतिक मंजूरी मिल चुकी है, जबकि शहर में आम जनता की सुविधा के लिए 60 करोड़ रुपये की लागत से पैदल यात्री अनुकूल सड़कें और स्ट्रीट्स बनाई जा रही हैं.

Suresh Bhardwaj
सुरेश भारद्वाज
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Published : Sep 2, 2020, 7:05 PM IST

धर्मशाला: शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने बुधवार को डीआरडीए के सभागार में स्मार्ट सिटी और नगर निगम की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा कि धर्मशाला स्मार्ट सिटी में 98.46 करोड़ रुपये की लागत से इंटीग्रेटेड कमांड कंट्रोल सेंटर बनने जा रहा है. इसकी सैद्धांतिक मंजूरी मिल चुकी है, जबकि शहर में आम जनता की सुविधा के लिए 60 करोड़ रुपये की लागत से पैदल यात्री अनुकूल सड़कें और स्ट्रीट्स बनाई जा रही हैं.

शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महत्वाकांक्षी स्मार्ट सिटी परियोजना के कार्यों का समयबद्ध कार्यान्वयन सुनिश्चित करने के लिए दैनिक आधार पर समीक्षा की जा रही है. उन्होंने कहा कि इस परियोजना में प्रदेश सरकार के विभिन्न विभागों की परोक्ष भूमिका है. 18.50 करोड़ रुपये की लागत से एचआरटीसी के माध्यम से शहर के लिए 15 ई-बसें खरीदी जा रही हैं. इन बसों के आने से शहर में पर्यावरण संरक्षण में भी मदद मिलेगी और शहर को आधुनिक परिवहन सुविधा प्राप्त होगी.

वीडियो रिपोर्ट.

सुरेश भारद्वाज ने कहा कि 52.75 करोड़ रुपये की लागत से अन्य योजनाओं के साथ कनवरजेंस कर 8 परियाजनाओं पर काम पूरा किया जा चुका है. इसमें 57 लाख रुपये की लागत से शहरी बेघरों के आश्रय स्थल, 3.43 करोड़ रुपये की लागत से उपायुक्त कार्यालय में पार्किंग स्थल, 29.73 करोड़ रुपये की लागत से पेयजल योजनाओं के स्त्रोतों का उन्नयन और आटोमेशन, 3.70 करोड़ रुपये की लागत से भागसूनाग क्षेत्र के विकास, 4.44 करोड़ रुपये की लागत से शहर की सड़कों की मरम्मत और उन्नयन, 1.55 करोड़ रुपये की लागत से स्मार्ट एलईडी स्ट्रीट लाइटिंग, 5.19 करोड़ रुपये की लागत से आवास परियोजना और 4.14 करोड़ रुपये की लागत से भागसू सांस्कृतिक केंद्र के काम पूरे किए जा चुके हैं.

शहरी विकास मंत्री ने कहा कि इसके अलावा 40.98 करोड़ रुपये की लागत से रूफटॉप सोलर प्लांट, स्मार्ट क्लासरूम, समावेशी स्मार्ट सड़कों, धर्मशाला स्मार्ट सिटी वेबसाइट, ई-नगरपालिका, जीआईएस वेब पोर्टल, रूटजोन सिवरेज ट्रीटमेंट प्लांट तथा भूमिगत डस्टबिन के कार्य पूर्ण किये जा चुके हैं.

सुरेश भारद्धाज ने कहा कि स्मार्ट सिटी के तहत 132.44 करोड़ रुपये के विकास कार्य प्रगति पर हैं. इसमें आधुनिक बाधा मुक्त बस शेल्टर, दलाई लामा मंदिर पार्किंग, पर्वतारोहण संस्थान के होस्टल का उन्नयन कार्य, मौजूदा पैदल मार्ग और सीढ़ियों के सुधारीकरण, रूफटॉप पीवी प्लांट फेस संपति कर मानचित्रीकरण, समावेशी स्मार्ट सिटी स्ट्रीट (लोक निर्माण विभाग), नड्डी स्थित रूटजोन सिवरेज ट्रीटमेंट प्लांट तथा स्टेट-ऑफ-आर्ट पेयजल शोधन योजना पर कार्य चल रहा है, जबकि डिजिटल पेमेंट सिस्टम का काम निजी बैंक के माध्यम से शुरू किया जा रहा है.

इसके अतिरिक्त 18.03 करोड़ रुपये के बस स्टैंड से शिक्षा बोर्ड तक की स्मार्ट सड़क, 1.38 करोड़ रुपये के ईको पर्यटन, 22.44 करोड़ रुपये के स्मार्ट सिटी कार्यालय कॉम्प्लेक्स, 13.50 करोड़ रुपये की लागत से भूमिगत केबलिंग और 26 लाख रुपये की लागत के ऑल एबिलिटी पार्क का काम आरंभिक चरण में है.

ये भी पढ़ें: TCP मंत्री ने किया धर्मशाला बॉयज स्कूल का निरीक्षण, बोले- स्मार्ट तकनीक से पढ़ेंगे बच्चे

धर्मशाला: शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने बुधवार को डीआरडीए के सभागार में स्मार्ट सिटी और नगर निगम की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा कि धर्मशाला स्मार्ट सिटी में 98.46 करोड़ रुपये की लागत से इंटीग्रेटेड कमांड कंट्रोल सेंटर बनने जा रहा है. इसकी सैद्धांतिक मंजूरी मिल चुकी है, जबकि शहर में आम जनता की सुविधा के लिए 60 करोड़ रुपये की लागत से पैदल यात्री अनुकूल सड़कें और स्ट्रीट्स बनाई जा रही हैं.

शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महत्वाकांक्षी स्मार्ट सिटी परियोजना के कार्यों का समयबद्ध कार्यान्वयन सुनिश्चित करने के लिए दैनिक आधार पर समीक्षा की जा रही है. उन्होंने कहा कि इस परियोजना में प्रदेश सरकार के विभिन्न विभागों की परोक्ष भूमिका है. 18.50 करोड़ रुपये की लागत से एचआरटीसी के माध्यम से शहर के लिए 15 ई-बसें खरीदी जा रही हैं. इन बसों के आने से शहर में पर्यावरण संरक्षण में भी मदद मिलेगी और शहर को आधुनिक परिवहन सुविधा प्राप्त होगी.

वीडियो रिपोर्ट.

सुरेश भारद्वाज ने कहा कि 52.75 करोड़ रुपये की लागत से अन्य योजनाओं के साथ कनवरजेंस कर 8 परियाजनाओं पर काम पूरा किया जा चुका है. इसमें 57 लाख रुपये की लागत से शहरी बेघरों के आश्रय स्थल, 3.43 करोड़ रुपये की लागत से उपायुक्त कार्यालय में पार्किंग स्थल, 29.73 करोड़ रुपये की लागत से पेयजल योजनाओं के स्त्रोतों का उन्नयन और आटोमेशन, 3.70 करोड़ रुपये की लागत से भागसूनाग क्षेत्र के विकास, 4.44 करोड़ रुपये की लागत से शहर की सड़कों की मरम्मत और उन्नयन, 1.55 करोड़ रुपये की लागत से स्मार्ट एलईडी स्ट्रीट लाइटिंग, 5.19 करोड़ रुपये की लागत से आवास परियोजना और 4.14 करोड़ रुपये की लागत से भागसू सांस्कृतिक केंद्र के काम पूरे किए जा चुके हैं.

शहरी विकास मंत्री ने कहा कि इसके अलावा 40.98 करोड़ रुपये की लागत से रूफटॉप सोलर प्लांट, स्मार्ट क्लासरूम, समावेशी स्मार्ट सड़कों, धर्मशाला स्मार्ट सिटी वेबसाइट, ई-नगरपालिका, जीआईएस वेब पोर्टल, रूटजोन सिवरेज ट्रीटमेंट प्लांट तथा भूमिगत डस्टबिन के कार्य पूर्ण किये जा चुके हैं.

सुरेश भारद्धाज ने कहा कि स्मार्ट सिटी के तहत 132.44 करोड़ रुपये के विकास कार्य प्रगति पर हैं. इसमें आधुनिक बाधा मुक्त बस शेल्टर, दलाई लामा मंदिर पार्किंग, पर्वतारोहण संस्थान के होस्टल का उन्नयन कार्य, मौजूदा पैदल मार्ग और सीढ़ियों के सुधारीकरण, रूफटॉप पीवी प्लांट फेस संपति कर मानचित्रीकरण, समावेशी स्मार्ट सिटी स्ट्रीट (लोक निर्माण विभाग), नड्डी स्थित रूटजोन सिवरेज ट्रीटमेंट प्लांट तथा स्टेट-ऑफ-आर्ट पेयजल शोधन योजना पर कार्य चल रहा है, जबकि डिजिटल पेमेंट सिस्टम का काम निजी बैंक के माध्यम से शुरू किया जा रहा है.

इसके अतिरिक्त 18.03 करोड़ रुपये के बस स्टैंड से शिक्षा बोर्ड तक की स्मार्ट सड़क, 1.38 करोड़ रुपये के ईको पर्यटन, 22.44 करोड़ रुपये के स्मार्ट सिटी कार्यालय कॉम्प्लेक्स, 13.50 करोड़ रुपये की लागत से भूमिगत केबलिंग और 26 लाख रुपये की लागत के ऑल एबिलिटी पार्क का काम आरंभिक चरण में है.

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