हमीरपुर: हिमाचल में इस साल भंग किए गए प्रदेश कर्मचारी चयन आयोग के पूर्व सचिव एवं HAS अधिकारी जितेंद्र कंवर को एक बार फिर विजिलेंस ने गिरफ्तार किया है. इस बार पेपर लीक मामले में पहले से दर्ज एक अन्य केस में जितेंद्र को गिरफ्तार किया गया है. गौरतलब है कि इसी साल 4 अप्रैल को पेपर लीक मामले में जितेंद्र कंवर को गिरफ्तार किया गया था. बाद में उन्हें जमानत पर रिहा कर दिया गया था. इस मामले मामले में विजिलेंस के मिली जानकारी के अनुसार कुछ और कर्मचारियों की गिरफ्तारियां भी जल्द हो सकती है.
SIT द्वारा डॉ. जितेंद्र कंवर को पिछले कल ही पूछताछ के लिए हमीरपुर विजिलेंस थाना बुलाया था. जिसके बाद उनकी गिरफ्तारी विजिलेंस ने की. हालांकि उन्हें पहले से दर्ज केस में गिरफ्तार किया गया है, लेकिन यह गिरफ्तारी नए तथ्य सामने आने के बाद हुई है. रात को हुई गिरफ्तारी के बाद जितेंद्र को मंगलवार को कोर्ट में पेश किया गया, जहां से 15 दिसंबर तक रिमांड पर भेज दिया गया है. मामले की जांच कर रही विजिलेंस टीम को जितेंद्र कंवर से पूछताछ के बाद कई और राज खुलने की उम्मीद है.
गौरतलब है कि पिछले साल के आखिर में सुक्खू सरकार के सत्ता में आते ही स्टाफ सिलेक्शन कमीशन में पेपर लीक फर्जीवाड़े का पर्दाफाश हुआ था. डॉ. जितेंद्र कंवर आयोग में सचिव के साथ-साथ परीक्षा नियंत्रक और भर्ती रिकॉर्ड के कस्टोडियन भी रहे. इस मामले में 23 दिसंबर 2022 को हमीरपुर विजिलेंस थाना में FIR दर्ज हुई थी. पहली FIR में निलंबित वरिष्ठ सहायक उमा आजाद, उसका बेटा नितिन, दलाल संजीव समेत आठ लोग आरोपी बनाए गए थे. विजिलेंस ब्यूरो अब तक 13 मामले दर्ज कर चुका है. इनमें तीन लोग ज्यूडिशियल रिमांड पर हैं. इनमें मुख्य आरोपी उमा आजाद, उसका बेटा नितिन और एक अन्य रवि कुमार शामिल है.
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