शिमलाः रेलवे स्टेशन पर तैनात स्टेशन अधीक्षक प्रिंस सेठी और स्टेशन मास्टर वशिष्ठ मुनि यादव ने छोटा शिमला की एक महिला को उसका गहनों से भरा बैग लौटाया. शिमला रेलवे स्टेशन जहां से रोजाना सैकड़ों सैलानी शिमला से कालका तक का सफर करते हैं.
बीते कल एक महिला शिमला से कालका का सफर करने के लिए ट्रेन में चढ़ी तो अपना गहनों का पर्स प्लेटफार्म पर ही भूल गई. गनीमत यह रही है कि महिला का पर्स स्टेशन से निकलने से पहले ही स्टेशन मास्टर वशिष्ठ मुनि यादव ने प्लेटफॉर्म पर देख लिया.
प्लेटफार्म पर गहनों से भरा बैग
प्लेटफार्म पर पर्स पड़ा देख बिना देरी किए पर्स मिलने की अनाउंसमेंट करवाई गई. लगातार अनाउंसमेंट के बाद महिला ट्रेन से उतर कर स्टेशन अधीक्षक के कार्यालय आई. महिला को बैग लौटाने से पहले उनसे बैग की पहचान भी पूछी गई.
स्टेशन अधीक्षक ने लौटाया बैग
इसके बाद जब महिला ने बैग की सही पहचान बताई तो उसके बाद स्टेशन अधीक्षक प्रिंस सेठी ने उन्हें उनका पर्स लौटाया. हालांकि, महिला को उनका पर्स लौटाया गया है इसके बारे में उनसे लिखित में भी लिया गया है.
पर्स में गहनों के साथ पैसे भी थे
महिला के पर्स में गहनों के साथ पैसे भी थे. इस पूरी प्रक्रिया में ट्रेन को 15 मिनटों के लिए ट्रैक पर रोके रखा गया. बार-बार अनाउंसमेंट करने के बाद महिला को अपना पर्स खोने के बारे में पता चला और अनाउंसमेंट सुनकर वह स्टेशन पर अपना पर्स लेने के लिए आई. बैग में 18 हजार रुपए, तीन मोबाइल और ज्वैलरी थी. महिला ने स्टेशन अधीक्षक प्रिंस सेठी और स्टेशन मास्टर वशिष्ठ मुनि यादव का आभार जताया.
ये भी पढ़ेंः- सावधान! तेजी से फैल रहा साइबर अपराध, विभिन्न राज्यों में फैले ठगों के तार