शिमलाः फेस्टिवल सीजन के दौरान प्रदेश सरकार ने गरीब लोगों को महंगाई का तोहफा दिया है. सरकार ने सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत राशन डिपो पर मिलने वाली सस्ती दालें महंगी कर दी हैं.
इस कारण प्रदेश में करीब 18.50 लाख परिवार प्रभावित हुए हैं. सरकार ने नवंबर माह से राशन डिपो में मिलने वाली दालों की कीमतों में 5-5 रुपए प्रति किलो की वृद्धि की है. यहीं नहीं, त्योहारी मौसम में मिलने वाला चीनी का अत्तिरिक्त कोटा भी नहीं पहुंचा है. फेस्टिवल सीजन में डिपो में मिलने वाली दालें 5 रुपए महंगी हुई है.
बता दें कि डिपो में मिलने वाले सरसों के तेल में 9 रुपए की वृद्धि ही कर दी है. वहीं, दालों में चने की दाल और माश, उड़द और मूंग दाल के दाम में 5-5 रुपए की वृद्धि हुई है. नई दरों के मुताबिक राशन डिपो पर जो दाल 40 रुपए थी उसके दाम 45 रुपए, जबकि जो दाल 45 रुपए थी. वह अब 50 रुपए मिल रही हैं. डिपो में बढ़ते दामों से गरीब आदमी परेशान हो गया है और सरकार से सस्ता राशन देने की मांग की है.
वहीं, लोगों का कहना है कि एक तरफ कोरोना काल में गरीब लोगों की नौकरी छीन गई है और दूसरी तरफ फेस्टिवल सीजन में महंगाई ने कमर तोड़ दी है. बाजार में इन दिनों कोई भी सब्जी 50 रुपए से कम दामों पर नहीं बिक रही है. दूसरी ओर सरकार ने डिपो में मिलने वाले राशन को भी महंगा कर दिया है.
लोगों का कहना है कि कोरोना काल में गरीब लोगों को सरकार से बड़ी आस थी कि राशन के दामों में कटौती होगी और बढ़ा हुआ राशन मिलेगा, लेकिन डिपो में बढ़े हुए दामों पर दालें मिलना किसी नई मुसीबत से कम नहीं है. जिसका सीधा असर गरीब लोगों की जेब पर पड़ेगा.
वहीं, जिला खाद्य नियंत्रक पूर्ण चंद ठाकुर का कहना है कि डिपो में मिलने वाले दाम में 5 रुपए की बढ़ोतरी हुई है, लेकिन बीपीएल के परिवार को पुराने दाम में ही राशन मिलेगा, जबकि एपीएल परिवार को पांच रुपए ज्यादा चुकाने होंगे. वहीं, डिपो में बढ़ी हुई मात्रा के साथ चीनी एयर चावल का कोटा दिया जाएगा.
गौर रहें कि सरकार ने खाद्य वस्तुओं के बढ़े दामों से लोगों को राहत प्रदान करने के उद्देश्य से डिपो में सस्ता राशन शुरू किया था. इसके तहत डिपो में पहले बाजार से आधे से भी कम दामों पर दालें, रिफाइंड व सरसों का तेल वितरित किया जाता था.
लेकिन इनके दामों में लगातार हो रही वृद्धि के कारण अब बाजार व डिपो के राशन के दामों में बहुत अंतर नहीं रह गया है. रिफाइंड तेल के दाम तो बाजार व डिपो दोनों में ही बराबर हो गए हैं.