फरीदाबाद: खूबसूरत सूरजकुंड पहाड़ियों में 34वां अंतरराष्ट्रीय सूरजकुंड मेला शुरू हो चुका है. ये मेला उन लोगों के लिए सबसे महत्वपूर्ण है, जो लोग हस्तशिल्प और कला के शौकीन हैं.
इस मेले में आप हस्तशिल्प और विभिन्न प्रकार की कलाओं के साथ-साथ सांस्कृतिक कार्यक्रम भी देख सकते हैं. राजस्थान के सांस्कृतिक नृत्य से लेकर कंट्री पाटनर उज्बेकिस्तान तक के सांस्कृतिक नृत्य आपको देखने को मिलेंगे.
मेले में सांस्कृतिक झांकियां
जैसे ही आप मेले के अंदर पहुंचेंगे. अलग-अलग राज्यों के सांस्कृतिक कार्यक्रमों की झांकियां आपको चारों तरफ दिखाई देंगी जो आप को अपनी ओर आकर्षित करेंगे. मेले में आंध्र प्रदेश, राजस्थान, हिमाचल सहित अन्य राज्यों के सांस्कृतिक कार्यक्रम मेले की चौपाल पर आपको देखने को मिलेंगे.
मेले में आए दूसरे राज्यों से कलाओं में निपुण हस्तशिल्प के कलाकारों का कहना है कि सूरजकुंड मेला एक ऐसा प्लेटफार्म है, जहां भारत के अलग-अलग राज्यों से आकर तो हस्तशिल्प कलाकार और सांस्कृतिक कार्यक्रम पेश करने वाले कलाकार मिलते हैं बल्कि दूसरे देशों के हस्तशिल्प कलाकारों से भी उनकी मेले में मुलाकात होती है. उनको ये जानने का मौका मिलता है कि किस तरह से हस्तशिल्प की कला को प्रत्येक देश और राज्य बढ़ा रहा है.
मेले में हस्तशिल्प की झलक
उन्होंने कहा कि वह पिछले कई सालों से मेले में आ रहे हैं और जब भी वह मेले में आते हैं उनको बेहद खुशी होती है. मेले में चाहे हस्तशिल्प की झलक हो या फिर सांस्कृतिक कार्यक्रमों की झलक हो या फिर मशहूर रेशम के धागों वाली साड़ियों की कला हो या फिर अन्य कोई कला सभी कलाओं का यहां पर संगम हो जाता है. एक ही मैदान में सभी कलाओं का संगम होते ही दृश्य बेहद मनमोहक बन जाता है.
मेले में आए हस्तशिल्प कलाकार
मेले की शुरुआत में आए दर्शकों का कहना है कि उन्हें ये महिला बेहद पसंद है क्योंकि यहां पर अलग-अलग देशों का अलग-अलग राज्यों का संस्कृति देखने को उनको अवसर प्राप्त होता है. वे हर बार मेले में आते हैं. हस्तशिल्प कलाकार यहां से बेहतर संगम कहीं भी नहीं देखा जा सकता और यहां पर वह चीजें भी देखने को मिलती हैं, जो हम सिर्फ इंटरनेट पर देख सकते हैं.
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अंतरराष्ट्रीय सूरजकुंड हस्तशिल्प मेला फरीदाबाद के सूरजकुंड पहाड़ियों में अपने दर्शकों का स्वागत करने के लिए तैयार हैं. मेले में आने वाले दर्शकों में खासी खुशी देखने को मिल रही है. वहीं मेले में आए हस्तशिल्प के कलाकार भी खासे उत्साह में नजर आ रहे हैं.
हिमाचल प्रदेश है इस बार की थीम
इस साल हिमाचल प्रदेश को थीम राज्य बनाया गया है. ऐसे में सूरजकुंड अंतरराष्ट्रीय हस्तशिल्प मेले में इस बार दर्शकों को हिमाचल प्रदेश की हस्तकला, संस्कृति और बेजोड़ शिल्पकला देखने को मिलेगी.
सूरजकुंड मेला के थीम राज्य हिमाचल प्रदेश होने के कारण मेले में रंगीन हिमाचली टोपी, शॉल भी देश-विदेश के पर्यटकों का ध्यान खींचेंगी. आपको बता दें कि हिमाचल में कई ऐसी जगहें है, जो लकड़ी पर नक्काशी शिल्प के लिए मशहूर हैं.
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