शिमला: प्रदेश में सवर्ण आयोग की मांग (demand for upper caste commission) को लेकर देवभूमि क्षत्रिय संगठन (Dev Bhoomi Kshatriya Organization) और देवभूमि सवर्ण मोर्चा (Devbhoomi Savarna Morcha) ने पदयात्रा शुरू कर दी है. सोमवार को शिमला से हरिद्वार के लिए 'सवर्ण आयोग अधिकार पदयात्रा' और एट्रोसिटी एक्ट की शव यात्रा निकाली गई. ये पद यात्रा हरिद्वार पहुंचने के बाद यमुनानगर, चंडीगढ़, ऊना से होते हुए करीब 800 किलोमीटर की दूरी तय करने के बाद दस दिसंबर को धर्मशाला पहुंचने पर खत्म होगी.
देवभूमि क्षत्रिय संगठन और देवभूमि सवर्ण मोर्चा के अध्यक्ष रुपेश ठाकुर ने कहा कि यह यात्रा समाज में आपसी भाईचारे, समानता और सवर्ण आयोग गठन की मांग के लिए की जा रही है. सवर्ण समाज के लोग जातिगत आरक्षण (caste reservation), एट्रोसिटी एक्ट (atrocity act) आदि कानूनों से आहत हैं और इन सब कानूनों का शव यात्रा निकालकर हरिद्वार में 'पिंडदान' किया जाएगा. यह शव यात्रा शिमला से होकर कुमारहट्टी सोलन से उत्तराखंड होते हुए हरिद्वार पहुंचेगी.
उन्होंने बताया कि नंगे पांव यात्रा निकाली जाएगी और पदयात्रा के दौरान सवर्ण समाज का कोई भी व्यक्ति होटल-ढाबों का खाना नहीं खाएगा. हरिद्वार में पिंडदान करने के उपरांत आर्थिक आधार पर आरक्षण का गंगाजल हरिद्वार से लाया जाएगा और यमुनानगर, चंडीगढ़, ऊना से होते हुए 800 किलोमीटर का सफर तय करने के बाद दस दिसम्बर को धर्मशाला शीतकालीन सत्र के दौरान विधानसभा का घेराव किया जाएगा और सवर्ण आयोग का गठन का समर्थन न करने वाले नेताओं का शुद्धिकरण किया जाएगा.
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