मंडी: हिमाचल देवभूमि है, यहां लोगों में आपसी भाईचारा मजबूत है. लोग एक दूसरे के साथ मिलजुल कर रहते हैं, इसलिए यहां अन्य राज्यों के मुकाबले अनुसूचित जाति वर्गों की स्थिति बेहतर है. यह बात हिमाचल प्रदेश राज्य अनुसूचित जाति आयोग के अध्यक्ष वीरेंद्र कश्यप ने मंडी जिले में राज्य अनुसूचित जाति आयोग की (Himachal Scheduled Castes Commission) बैठक की अध्यक्षता करते हुए कही. इस मौके पर (State Scheduled Castes Commission meeting in Mandi) उन्होंने अनुसूचित जाति विकास योजना यानि एससीडीपी में पैसे के समुचित उपयोग पर संतोष व्यक्त किया.
उन्होंने कहा कि जिले में एससीडीपी में दिए लगभग शत प्रतिशत फंड्स काम में लगाए गए हैं, जो सराहनीय है. इस बैठक में अधिकारियों के साथ ही खासतौर पर अनुसूचित जाति वर्ग के चुने हुए जनप्रतिनिधियों और अनुसूचित जाति वर्ग से जुड़ी विभिन्न सामाजिक संस्थाओं के प्रतिनिधियों को बुलाया गया था, ताकि आयोग को उनके विचार, सुझाव और टिप्पणियों के जरिए सही फीडबैक मिल सके.
इसमें बैंकों की आनाकानी को आयोग कड़ाई से लेगा. वहीं, वीरेंद्र कश्यप ने पुलिस विभाग को यह सुनिश्चित बनाने को कहा कि अनुसूचित जाति से जुड़े मामलों में एफआईआर दर्ज करने में किसी तरह का विलंब न हो. राज्य अनुसूचित जाति आयोग के अध्यक्ष ने बैठक में विभिन्न विभागों द्वारा अनुसूचित जाति वर्ग से संबंधित लोगों के कल्याण के लिए चलाई योजनाओं के कार्यान्वयन और प्रगति का भी जायजा लिया.
बैठक में विधायक हीरा लाल, विनोद कुमार और इंद्र सिंह गांधी ने अनुसूचित जाति वर्ग के कल्याण से जुड़े विभिन्न मुद्दों पर अपने विचार रखे और कल्याण एवं विकास योजनाओं को लेकर बहुमूल्य सुझाव दिए. बैठक में हिमाचल प्रदेश राज्य अनुसूचित जाति आयोग के सदस्य सचिव अजय चौहान, भाजपा अनुसूचित जाति मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष नितिन कुमार, उपायुक्त अरिंदम चौधरी, पुलिस अधीक्षक शालिनी अग्निहोत्री, एसडीएम सदर मंडी रितिका जिंदल, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग के अतिरिक्त निदेशक नीरज गुप्ता, जिला कल्याण अधिकारी आर.सी.बंसल सहित सभी विभागों के जिला प्रमुख, पंचायती राज संस्थानों और शहरी निकायों के अनुसूचित जाति वर्ग से जुड़े निर्वाचित जनप्रतिनिधि और सामाजिक संस्थाओं के प्रतिनिधि उपस्थित रहे.