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जोगिंद्रनगर में रेलवे ट्रैक के दोनों ओर हो रहा भूस्खलन, दहशत में लोग

जोगिंद्रनगर में रेलवे लाइन के आसपास हो रहे भूस्खलन से लोग दहशत में है. स्टेशन अधीक्षक रेलवे स्टेशन जोगिंद्रनगर राजेश भारद्वाज ने रेलवे फाटक से ईसीएच अस्पताल के मुख्य द्वार तक दोनों ओर से हो रहे भूस्खलन को देखते हुए लोगों को इस रास्ते का इस्तेमाल न करने का आह्वान किया गया है.

landslide in jogindernagar
landslide in jogindernagar
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Published : Sep 1, 2020, 10:59 PM IST

जोगिंद्रनगर/मंडीः जिला मंडी के जोगिंद्रनगर में ऐतिहासिक रेलवे लाइन के आसपास लगातार हो रहे भूस्खलन से नगर परिषद के तीन वार्डों की करीब दो हजार आबादी दहशत में है. लाईन के दोनों और भूस्खलन से बड़े-बड़े पत्थर और मलबा गिरने का सिलसिला जारी है. इस कारण वहां से गुजर रहे लोगों की जान पर जोखिम बना हुआ है.

रेलवे लाइन के साथ लगते रिहायशी मकान भी खतरे की जद में आए हैं. वहीं, पूर्व सैनिक सदन की भूमि पर भी खतरा मंडराया हुआ है. रेलवे फाटक के वार्ड पांच और छह को आवागमन करने वाले रास्ते पर करीब 50 मीटर की जगह भूस्खलन की जद में आई है. बरसात के मौसम में कई बार बड़े-बड़े पत्थर और मलबा रेलवे लाईन पर गिर चुका है. हालांकि किसी भी प्रकार का जानी नुकसान नहीं हुआ है लेकिन पत्थर गिरने को लेकर वार्डवासी खौफजदा है.

railway track in Jogindernagar
भूस्खलन हुए रास्ते पर से गुजरता स्कूटी चालक

उधर, रेलवे लाइन के साथ लगते नाले में भारी भूस्खलन होने से रेलवे लाइन को भी नुकसान पहुंचना शुरू हो चुका है. लगातार हो रही बारिश रेलवे भूमि के लिए खतरा बनी हुई है. गौरतलब है कि जोगिंद्रनगर सरकाघाट मार्ग पर रेलवे फाटक से होकर वार्ड तीन, पांच और छह की ओर जाने वाले इस रास्ते पर साल 1929 के स्थापित रेवले लाईन पर रेलगाड़ियों की भी छंटनी होती हैं.

वहीं, तीनों वार्डों के करीब दो हजार लोग रोजाना अपने-अपने गंतव्य स्थान की ओर आवागमन करते हैं. लोगों का कहना है कि रेलवे लाईन के दोनों और लगातार हो रहे भूस्खलन को लेकर स्थानीय प्रशासन और विभागीय अधिकारी अधिक गंभीर नहीं है.

विडंबना यह है कि राहगीरों की सुरक्षा के चलते चेतावनी बोर्ड भी अभी तक स्थापित नहीं हो पाए हैं. ऐसे में लोगों का इस रास्त से होकर गुजरना खतरे से खाली नहीं रहा है. दिन के समय तो लोग पूरी ऐहतियात बरतकर रास्ते से गुजर जाते हैं लेकिन रास्ते में रात के समय अंधेरा होने के कारण गुजरना जान जोखिम पैदा करने जैसा है.

एसडीएम जोगिंद्रनगर अमित मेहरा का कहना है कि ररेलवे भूमि के इर्द गिर्द भूस्खलन को देखते हुए लोगों को रास्ते का इस्तेमाल न करने की हिदायत दी गई है. सुरक्षा के चलते रेलवे लाइन के दोनों और चेतावनी बोर्ड लगाने के निर्देश रेलवे विभाग को जारी किए जा रहे हैं.

स्टेशन अधीक्षक रेलवे स्टेशन जोगिंद्रनगर राजेश भारद्वाज ने रेलवे फाटक से ईसीएच अस्पताल के मुख्य द्वार तक दोनों ओर से हो रहे भूस्खलन को देखते हुए लोगों को इस रास्ते का इस्तेमाल न करने का आह्वान रेलवे विभाग की ओर से किया गया है. उन्होंने ने कहा कि रेलवे लाइन के दोनों और सुरक्षा के चलते जल्द चेतावनी बोर्ड भी स्थापित कर दिए जाएंगे.

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रेलवे लाइन के साथ लगते रिहायशी मकान भी खतरे की जद में आए हैं. वहीं, पूर्व सैनिक सदन की भूमि पर भी खतरा मंडराया हुआ है. रेलवे फाटक के वार्ड पांच और छह को आवागमन करने वाले रास्ते पर करीब 50 मीटर की जगह भूस्खलन की जद में आई है. बरसात के मौसम में कई बार बड़े-बड़े पत्थर और मलबा रेलवे लाईन पर गिर चुका है. हालांकि किसी भी प्रकार का जानी नुकसान नहीं हुआ है लेकिन पत्थर गिरने को लेकर वार्डवासी खौफजदा है.

railway track in Jogindernagar
भूस्खलन हुए रास्ते पर से गुजरता स्कूटी चालक

उधर, रेलवे लाइन के साथ लगते नाले में भारी भूस्खलन होने से रेलवे लाइन को भी नुकसान पहुंचना शुरू हो चुका है. लगातार हो रही बारिश रेलवे भूमि के लिए खतरा बनी हुई है. गौरतलब है कि जोगिंद्रनगर सरकाघाट मार्ग पर रेलवे फाटक से होकर वार्ड तीन, पांच और छह की ओर जाने वाले इस रास्ते पर साल 1929 के स्थापित रेवले लाईन पर रेलगाड़ियों की भी छंटनी होती हैं.

वहीं, तीनों वार्डों के करीब दो हजार लोग रोजाना अपने-अपने गंतव्य स्थान की ओर आवागमन करते हैं. लोगों का कहना है कि रेलवे लाईन के दोनों और लगातार हो रहे भूस्खलन को लेकर स्थानीय प्रशासन और विभागीय अधिकारी अधिक गंभीर नहीं है.

विडंबना यह है कि राहगीरों की सुरक्षा के चलते चेतावनी बोर्ड भी अभी तक स्थापित नहीं हो पाए हैं. ऐसे में लोगों का इस रास्त से होकर गुजरना खतरे से खाली नहीं रहा है. दिन के समय तो लोग पूरी ऐहतियात बरतकर रास्ते से गुजर जाते हैं लेकिन रास्ते में रात के समय अंधेरा होने के कारण गुजरना जान जोखिम पैदा करने जैसा है.

एसडीएम जोगिंद्रनगर अमित मेहरा का कहना है कि ररेलवे भूमि के इर्द गिर्द भूस्खलन को देखते हुए लोगों को रास्ते का इस्तेमाल न करने की हिदायत दी गई है. सुरक्षा के चलते रेलवे लाइन के दोनों और चेतावनी बोर्ड लगाने के निर्देश रेलवे विभाग को जारी किए जा रहे हैं.

स्टेशन अधीक्षक रेलवे स्टेशन जोगिंद्रनगर राजेश भारद्वाज ने रेलवे फाटक से ईसीएच अस्पताल के मुख्य द्वार तक दोनों ओर से हो रहे भूस्खलन को देखते हुए लोगों को इस रास्ते का इस्तेमाल न करने का आह्वान रेलवे विभाग की ओर से किया गया है. उन्होंने ने कहा कि रेलवे लाइन के दोनों और सुरक्षा के चलते जल्द चेतावनी बोर्ड भी स्थापित कर दिए जाएंगे.

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