मंडी: नेरचौक स्थित अटल मेडिकल एवं रिसर्च यूनिवर्सिटी हिमाचल प्रदेश (Atal Medical and Research University) स्वास्थ्य के क्षेत्र में शिक्षा प्रदान करने के लिए एक महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है. इसके तहत एएमआरयू (अटल मेडिकल एवं रिसर्च यूनिवर्सिटी) अगले शैक्षणिक सत्र में होमोपैथी, आयुर्वेदिक और फार्मेसी को भी एफिलिएशन देने जा रहा है. इससे अब एएमआरयू के कार्य क्षेत्र में मेडिकल, डेंटल और नर्सिंग कॉलेजों के बाद नए आयाम जुड़ने जा रहे हैं. वहीं अटल मेडिकल एवं रिसर्च यूनिवर्सिटी के कैंपस निर्माण के लिए मंडी जिले के बल्ह उपमंडल के स्योहली में लगभग 125 बीघा भूमि को प्रदेश सरकार ने मंजूरी प्रदान कर दी है. इसको लेकर एएमआरयू प्रबंधन द्वारा आगामी कार्रवाई शुरू कर दी गई है.
जानकारी देते हुए अटल मेडिकल एंड रिसर्च यूनिवर्सिटी हिमाचल प्रदेश के रजिस्ट्रार अमर नेगी ने कहा कि एएमआरयू प्रदेश में मेडिकल, डेंटल, आयुर्वेदिक, होम्योपैथी फार्मेसी और नर्सिंग कॉलेजों के लिए मान्यता प्रदान करता है. उन्होंने कहा कि वर्ष 2020-21 में मेडिकल और डेंटल बैचेज को यूनिवर्सिटी द्वारा पंजीकृत कर दिया गया है. यूनिवर्सिटी द्वारा इनकी परीक्षा भी करवाई जाएगी. इसके अलावा यूनिवर्सिटी द्वारा नर्सिंग कॉलेजों की परीक्षा करवाई गई हैं और काउंसलिंग (Counseling process in Atal Medical University) प्रोसेस भी शुरू कर दी गई है.
बता दें कि नेरचौक स्थित आयुर्विज्ञान एवं अनुसंधान विश्वविद्यालय (मेडिकल एंड रिसर्च यूनिवर्सिटी) को विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) की मान्यता मिलने के बाद नए आयाम स्थापित किए जा रहे हैं. अब विश्वविद्यालय पूरी तरह से क्रियाशील हो गया है. अटल आयुर्विज्ञान एवं अनुसंधान विश्वविद्यालय प्रदेश में मेडिकल, डेंटल और नर्सिंग कॉलेजों के लिए मान्यता प्रदान करते हैं. वर्तमान में यूनिवर्सिटी को श्री लाल बहादुर शास्त्री मेडिकल कॉलेज नेरचौक (Medical College Nerchowk) के कैंपस में अस्थाई तौर पर चलाया जा रहा है जिसे जल्द ही अपना कैंपस मिलने वाला है.
अगले शैक्षणिक सत्र में यूनिवर्सिटी के साथ जुड़ने जा रहे नए आयाम, होमोपैथी, आयुर्वेदिक और फार्मेसी को भी मिलेगी अफ्फिलिएशन
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