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पॉवर प्रोजेक्ट से लाहौल स्पीति को होगा नुकसान, शॉर्ट फिल्म के जरिए दिखाई गई प्रोजेक्ट से होने वाली विनाशलीला - save lahaul spiti

लाहौल स्पीति में सरकार द्वारा लगाए जा रहे पॉवर प्रोजेक्ट के विरोध में सेव लाहौल स्पीति संस्था ने कार्यक्रम आयोजित किया. इस दौरान लोगों को पॉवर प्रोजेक्ट से होने वाले विनाश को लेकर लघु फिल्म दिखाई गई.

The destruction of the power project at Lahaul Spiti was shown through a short film
पॉवर प्रोजेक्ट से लाहौल स्पीति को होगा नुकसान
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Published : Dec 29, 2019, 3:58 PM IST

कुल्लू: जिला लाहौल स्पीति में प्रदेश सरकार द्वारा जो पॉवर प्रोजेक्ट लगाने का प्रस्ताव रखा गया है, वह बिल्कुल भी सही नहीं है. लाहौल घाटी में विकास के कई अन्य माध्यम हैं जिस पर सरकार को काम करना चाहिए. पावर प्रोजेक्ट के माध्यम से लाहुल के पर्यावरण को खासा नुकसान होगा. कुल्लू के सरवरी में इस मसले को लेकर घाटी के लोगों को एक लघु फिल्म भी दिखाई गई.

लघु फिल्म के माध्यम से जिला किन्नौर में पॉवर प्रोजेक्टों के आने के बाद हुए पर्यावरण के नुकसान और पहाड़ों के विनाश के बारे में जानकारी दी गई. यह कार्यक्रम सेव लाहौल स्पीति संस्था ने आयोजित किया था. कार्यक्रम में लाहौल स्पीति घाटी के प्रबुद्ध लोगों ने भाग लिया था.

सेव लाहौल स्पीति संस्था के पदाधिकारी प्रेम कटोच ने बताया कि धर्मशाला में हुई इन्वेस्टर मीट में भी प्रदेश सरकार ने पॉवर प्रोजेक्ट के लिए कई कंपनियों के साथ एमओयू साइन किए हैं. जो गलत है, पॉवर प्रोजेक्ट लगने से घाटी के पर्यावरण को खासा नुकसान होगा और वहां पर जड़ी बूटियों सहित पेड़ पौधों को भी हानि पहुंचेगी.

वीडियो रिपोर्ट.

प्रेमचंद ने कहा कि लाहौल घाटी में प्रोजेक्ट के माध्यम से विकास नहीं बल्कि विनाश को बढ़ावा दिया जा रहा है. उन्होंने कहा कि लाहौल घाटी में अगर प्रदेश सरकार को विकास करना है तो वह पॉवर प्रोजेक्ट के मोह को छोड़ दे. लाहौल घाटी में ईको टूरिज्म को बढ़ावा देना चाहिए. वहीं विंटर स्पोर्ट्स की तरफ भी प्रदेश सरकार को ध्यान देने की जरूरत है. ताकि लाहुल घाटी का सौंदर्य बचा रह सके और जिला किन्नौर की तरह विनाश होने से लाहौल घाटी को बचाया जा सके.

ये भी पढ़ें: कुल्लू में प्राकृतिक खेती पर सेमिनार, प्रदेश के पूर्व राज्यपाल देवव्रत ने किसानों को किया संबोधित

कुल्लू: जिला लाहौल स्पीति में प्रदेश सरकार द्वारा जो पॉवर प्रोजेक्ट लगाने का प्रस्ताव रखा गया है, वह बिल्कुल भी सही नहीं है. लाहौल घाटी में विकास के कई अन्य माध्यम हैं जिस पर सरकार को काम करना चाहिए. पावर प्रोजेक्ट के माध्यम से लाहुल के पर्यावरण को खासा नुकसान होगा. कुल्लू के सरवरी में इस मसले को लेकर घाटी के लोगों को एक लघु फिल्म भी दिखाई गई.

लघु फिल्म के माध्यम से जिला किन्नौर में पॉवर प्रोजेक्टों के आने के बाद हुए पर्यावरण के नुकसान और पहाड़ों के विनाश के बारे में जानकारी दी गई. यह कार्यक्रम सेव लाहौल स्पीति संस्था ने आयोजित किया था. कार्यक्रम में लाहौल स्पीति घाटी के प्रबुद्ध लोगों ने भाग लिया था.

सेव लाहौल स्पीति संस्था के पदाधिकारी प्रेम कटोच ने बताया कि धर्मशाला में हुई इन्वेस्टर मीट में भी प्रदेश सरकार ने पॉवर प्रोजेक्ट के लिए कई कंपनियों के साथ एमओयू साइन किए हैं. जो गलत है, पॉवर प्रोजेक्ट लगने से घाटी के पर्यावरण को खासा नुकसान होगा और वहां पर जड़ी बूटियों सहित पेड़ पौधों को भी हानि पहुंचेगी.

वीडियो रिपोर्ट.

प्रेमचंद ने कहा कि लाहौल घाटी में प्रोजेक्ट के माध्यम से विकास नहीं बल्कि विनाश को बढ़ावा दिया जा रहा है. उन्होंने कहा कि लाहौल घाटी में अगर प्रदेश सरकार को विकास करना है तो वह पॉवर प्रोजेक्ट के मोह को छोड़ दे. लाहौल घाटी में ईको टूरिज्म को बढ़ावा देना चाहिए. वहीं विंटर स्पोर्ट्स की तरफ भी प्रदेश सरकार को ध्यान देने की जरूरत है. ताकि लाहुल घाटी का सौंदर्य बचा रह सके और जिला किन्नौर की तरह विनाश होने से लाहौल घाटी को बचाया जा सके.

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Intro:पॉवर प्रोजेक्ट से लाहुल स्पीति को होगा नुकसान
फ़िल्म के माध्यम से दिखाई प्रोजेक्ट से हुई विनाशलीलाBody:




जिला लाहौल स्पीति में प्रदेश सरकार द्वारा जो पावर प्रोजेक्ट लगाने का प्रस्ताव रखा गया है वह बिल्कुल भी सही नहीं है। लाहौल घाटी में विकास के कई अन्य माध्यम है जिस पर सरकार को काम करना चाहिए। पावर प्रोजेक्ट के माध्यम से लाहुल के पर्यावरण को खासा नुकसान होगा। कुल्लू के सरवरी में इस मसले को लेकर घाटी के लोगों को एक लघु फिल्म भी दिखाई गई। लघु फिल्म के माध्यम से जिला किन्नौर में पावर प्रोजेक्टों के आने के बाद हुए पर्यावरण के नुकसान व पहाड़ों के विनाश के बारे में जानकारी दी गई। यह कार्यक्रम सेव लाहौल स्पीति संस्था के द्वारा आयोजित किया गया। जिसमें लाहुल घाटी के प्रबुद्ध लोगों ने भाग लिया। सेव लाहौल स्पीति संस्था के पदाधिकारी प्रेम कटोच ने बताया कि धर्मशाला में हुई इन्वेस्टर मीट में भी प्रदेश सरकार ने पावर प्रोजेक्ट के लिए कई कंपनियों के साथ एमओयू साइन किए हैं। जो गलत है। पावर प्रोजेक्ट लगने से घाटी के पर्यावरण को खासा नुकसान होगा और वहां पर जड़ी बूटियों सहित पेड़ पौधों को भी हानि पहुंचेगी। प्रेमचंद ने कहा कि लाहौल घाटी में प्रोजेक्ट के माध्यम से विकास नहीं बल्कि विनाश को बढ़ावा मिलेगा। उन्होंने कहा कि लाहुल घाटी में अगर प्रदेश सरकार को विकास करना है तो वह पावर प्रोजेक्ट के मोह को छोड़ दे। Conclusion:

लाहौल घाटी में ईको टूरिज्म को बढ़ावा देना चाहिए वहीं विंटर स्पोर्ट्स की तरफ भी प्रदेश सरकार को ध्यान देने की जरूरत है। ताकि लाहुल घाटी का सौंदर्य बचा रह सके और जिला किन्नौर की तरह विनाश होने से लाहुल घाटी को बचाया जा सके।
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