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Sarchu Border Dispute: नहीं थम रहा मनाली-लद्दाख बाइक एसोसिएशन के बीच विवाद, दोनों तरफ से लगाया सरचू सीमा पर नाका

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Published : Aug 4, 2022, 3:49 PM IST

पर्यटकों को मनाली से लेह के लिए दो पहिया वाहन मुहैया करवाने वाली मनाली बाइक एसोसिएशन (Manali Bikers Association) और लद्दाख बाइक रेंटल कोऑपरेटिव लिमिटेड के बीच विवाद खत्म होने का नाम नहीं ले रहा है. लद्दाख बाइक रेंटल कोऑपरेटिव लिमिटेड का कहना है कि मनाली के बाइकर्स ने एमओयू का उल्लंघन किया है. वहीं, मनाली बाइक एसोसिएशन ने सभी आरोपों को निराधार बताया है. क्या है आखिर ये विवाद.. जानने के लिए पढ़ें पूरी खबर...

Sarchu Border Dispute
मनाली और लद्दाख बाइक एसोसिएशन के बीच विवाद

कुल्लू: अपनी खूबसूरती के लिए दुनिया भर में प्रसिद्ध लेह-लद्दाख की वादियों को निहारने हर साल लाखों पर्यटक पहुंचते हैं. कुछ पर्यटक चार पहिया वाहनों से तो कुछ मनाली-लेह सड़क मार्ग से होते हुए मोटरसाइकिल की सवारी का भी मजा लेते हैं. लेकिन इस साल हिमाचल और लेह लद्दाख की बाइक एसोसिएशन की तनातनी के चलते पर्यटक मोटरसाइकिल की सवारी का मजा नहीं ले पा रहे हैं. क्योंकि इस साल फिर से हिमाचल और लेह-लद्दाख के बाइक टूर ऑपरेटरों में तनाव फिर से बढ़ गया है. हिमाचल के मोटरसाइकिल को लेह लद्दाख की सीमा पर रोका जा रहा है.

लेह और मनाली बाइकर्स एसोसिएशन के बीच तनाव: लद्दाख बाइक रेंटल कोऑपरेटिव लिमिटेड ने (Ladakh Bike Rental Co-Operative Limited) जुलाई माह में भी लद्दाख में कुछ बाइक जब्त कर लिए थे, लेकिन प्रशासन के हस्तक्षेप के बाद छोड़ दिए गए. साथ ही प्रशासन ने इन मोटरसाइकिल को वापस गाड़ियों में भरकर मनाली जाने की सलाह दी. इसके साथ ही मनाली से लद्दाख में बाइकों का प्रवेश रोकने के लिए सरचू सीमा पर नाका भी लगा दिया है. वहीं, इसके बाद अब हिमाचल की ओर से भी मनाली बाइकर्स एसोसिएशन ने सरचू में नाका लगा (Sarchu Border Dispute) दिया है, जिससे विवाद और गहरा हो गया है. मिली जानकारी के अनुसार लेह और मनाली बाइकर्स एसोसिएशन के बीच लंबे समय से तनाव चल रहा है.

Leh Manali Road
सरचू सीमा पर नाका

2018 में भी हुआ था विवाद: बाइक वालों को एक क्षेत्र से दूसरे क्षेत्रों में प्रवेश करने की अनुमति नहीं है. इससे पहले साल 2018 में हुए विवाद के कारण बाइक से एक क्षेत्र से दूसरे क्षेत्र में प्रवेश करने की अनुमति नहीं थी. फिर इस साल की शुरुआत में इस विवाद को सुलझा लिया गया था. दोनों यूनियनों ने एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए कि बाइक एक दूसरे के क्षेत्र में प्रवेश कर सकते हैं. लेकिन अब लद्दाख बाइक रेंटल कोऑपरेटिव लिमिटेड का कहना है कि मनाली के बाइकर्स ने एमओयू का उल्लंघन किया है.

पर्यटक हो रहे परेशान: लेह व मनाली एसोसिएशन के बीच 25 फरवरी 2022 को आपस में इकरार हुआ था कि मनाली वालों के मोटर साइकिल लेह तक ही जाएंगे, जबकि लेह के पर्यटन स्थलों में नहीं जाएंगे. इकरार अनुसार लेह वाले मनाली में अपने बाइक किराये पर नहीं देंगे. लेकिन लेह वालों ने मनाली वालों पर आरोप लगया कि वो इकरार को तोड़ रहे हैं. जबकि मनाली वालों का कहना है कि ऐसा कुछ नहीं है और उन पर गलत आरोप लगाए जा रहे हैं. वहीं, हिमाचल के अलावा भी बाहरी राज्यों की बाइकों को इन दिनों ले जाने की अनुमति नहीं मिल रही है, जिससे पर्यटक भी खासे परेशान हो रहे हैं.

Leh Manali Road
सरचू सीमा पर नाका

मनाली बाइक एसोसिएशन ने आरोपों को बताया निराधार: मनाली बाइक एसोसिएशन के (Manali Bikers Association) अध्यक्ष राजेश कुमार, उप प्रधान कर्ण ठाकुर व महामंत्री तेंजिन बौद्ध ने कहा कि बाइकर्स एसोसिएशन मनाली ने लेह वालों के साथ कोई करार नहीं तोड़ा है. उन्होंने बताया लेह वाले बिना वजह आरोप लगा रहे हैं. मनाली से बाहर के मोटरसाइकिल लेह के पर्यटन स्थलों में चल रहे होंगे, लेकिन एसोसिएशन समझौते अनुसार काम कर अपना पर्यटन कारोबार कर रहे हैं. उन्होंने बताया अगर लेह वाले बातचीत से इस गंभीर समस्या का समाधान नहीं करते हैं तो अब मनाली एसोसिएशन कानून का सहारा लेगी.

मनाली बाइक एसोसिएशन का कहना है कि लद्दाख बाइक रेंटल कोऑपरेटिव लिमिटेड और मनाली बाइक एसोसिएशन का फरवरी 2022 में एमओयू साइन हुआ था. इसके अनुसार मनाली बाइक एसोसिएशन को नेशनल हाईवे पर बाइक ले जाने की अनुमति थी. हाईवे के साथ लगते स्थानीय स्थलों पर भी वह जा सकते थे. एमओयू में यह भी जिक्र था कि नियम तोड़ने वालों पर यूनियन कार्रवाई करेगी. इसके मुताबिक नियम तोड़ने वालों पर कार्रवाई भी की गई है.

अब लद्दाख के बाइक संचालकों का (Bike Operators in Ladakh) कहना है कि नियम तोड़कर स्थानीय पर्यटन स्थलों में मनाली के बाइक जा रहे हैं. हालांकि उन्होंने कहा कि कई बार यदि पर्यटक किराये पर बाइक लेकर जाते हैं, तो इस तरह की समस्या उत्पन्न होती है. इसका समाधान आपस में बैठकर किया जा सकता है, लेकिन सीधा सरचू तक ही बाइक चलाने का तुगलगी फरमान जारी करना उचित नहीं है. उनके अनुसार मनाली में करीब 130 बाइक संचालक हैं और करीब 1500 बाइक चल रही हैं.

हाई कोर्ट पहुंचा विवाद: अध्यक्ष राजेश कुमार ने कहा कि उनके पास ऑल इंडिया का परमिट है. इस तरह का तुगलगी फरमान जारी कर कोई निजी संस्था उन्हें नहीं रोक सकती. वह ऑल इंडिया परमिट के अनुसार ही टैक्स भी अदा कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि कई संचालकों ने सितंबर तक की लेह के लिए बुकिंग कर रखी है. अब सरचू से आगे अगर जाने नहीं दिया गया तो सभी को भारी नुकसान उठाना पड़ेगा. ऐसे में अब यह विवाद प्रदेश हाई कोर्ट भी पहुंच गया है.

ये भी पढ़ें: कालका-शिमला रेलवे ट्रैक पर भूस्खलन, ट्रैक पर गिरे बड़े-बड़े पत्थर

कुल्लू: अपनी खूबसूरती के लिए दुनिया भर में प्रसिद्ध लेह-लद्दाख की वादियों को निहारने हर साल लाखों पर्यटक पहुंचते हैं. कुछ पर्यटक चार पहिया वाहनों से तो कुछ मनाली-लेह सड़क मार्ग से होते हुए मोटरसाइकिल की सवारी का भी मजा लेते हैं. लेकिन इस साल हिमाचल और लेह लद्दाख की बाइक एसोसिएशन की तनातनी के चलते पर्यटक मोटरसाइकिल की सवारी का मजा नहीं ले पा रहे हैं. क्योंकि इस साल फिर से हिमाचल और लेह-लद्दाख के बाइक टूर ऑपरेटरों में तनाव फिर से बढ़ गया है. हिमाचल के मोटरसाइकिल को लेह लद्दाख की सीमा पर रोका जा रहा है.

लेह और मनाली बाइकर्स एसोसिएशन के बीच तनाव: लद्दाख बाइक रेंटल कोऑपरेटिव लिमिटेड ने (Ladakh Bike Rental Co-Operative Limited) जुलाई माह में भी लद्दाख में कुछ बाइक जब्त कर लिए थे, लेकिन प्रशासन के हस्तक्षेप के बाद छोड़ दिए गए. साथ ही प्रशासन ने इन मोटरसाइकिल को वापस गाड़ियों में भरकर मनाली जाने की सलाह दी. इसके साथ ही मनाली से लद्दाख में बाइकों का प्रवेश रोकने के लिए सरचू सीमा पर नाका भी लगा दिया है. वहीं, इसके बाद अब हिमाचल की ओर से भी मनाली बाइकर्स एसोसिएशन ने सरचू में नाका लगा (Sarchu Border Dispute) दिया है, जिससे विवाद और गहरा हो गया है. मिली जानकारी के अनुसार लेह और मनाली बाइकर्स एसोसिएशन के बीच लंबे समय से तनाव चल रहा है.

Leh Manali Road
सरचू सीमा पर नाका

2018 में भी हुआ था विवाद: बाइक वालों को एक क्षेत्र से दूसरे क्षेत्रों में प्रवेश करने की अनुमति नहीं है. इससे पहले साल 2018 में हुए विवाद के कारण बाइक से एक क्षेत्र से दूसरे क्षेत्र में प्रवेश करने की अनुमति नहीं थी. फिर इस साल की शुरुआत में इस विवाद को सुलझा लिया गया था. दोनों यूनियनों ने एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए कि बाइक एक दूसरे के क्षेत्र में प्रवेश कर सकते हैं. लेकिन अब लद्दाख बाइक रेंटल कोऑपरेटिव लिमिटेड का कहना है कि मनाली के बाइकर्स ने एमओयू का उल्लंघन किया है.

पर्यटक हो रहे परेशान: लेह व मनाली एसोसिएशन के बीच 25 फरवरी 2022 को आपस में इकरार हुआ था कि मनाली वालों के मोटर साइकिल लेह तक ही जाएंगे, जबकि लेह के पर्यटन स्थलों में नहीं जाएंगे. इकरार अनुसार लेह वाले मनाली में अपने बाइक किराये पर नहीं देंगे. लेकिन लेह वालों ने मनाली वालों पर आरोप लगया कि वो इकरार को तोड़ रहे हैं. जबकि मनाली वालों का कहना है कि ऐसा कुछ नहीं है और उन पर गलत आरोप लगाए जा रहे हैं. वहीं, हिमाचल के अलावा भी बाहरी राज्यों की बाइकों को इन दिनों ले जाने की अनुमति नहीं मिल रही है, जिससे पर्यटक भी खासे परेशान हो रहे हैं.

Leh Manali Road
सरचू सीमा पर नाका

मनाली बाइक एसोसिएशन ने आरोपों को बताया निराधार: मनाली बाइक एसोसिएशन के (Manali Bikers Association) अध्यक्ष राजेश कुमार, उप प्रधान कर्ण ठाकुर व महामंत्री तेंजिन बौद्ध ने कहा कि बाइकर्स एसोसिएशन मनाली ने लेह वालों के साथ कोई करार नहीं तोड़ा है. उन्होंने बताया लेह वाले बिना वजह आरोप लगा रहे हैं. मनाली से बाहर के मोटरसाइकिल लेह के पर्यटन स्थलों में चल रहे होंगे, लेकिन एसोसिएशन समझौते अनुसार काम कर अपना पर्यटन कारोबार कर रहे हैं. उन्होंने बताया अगर लेह वाले बातचीत से इस गंभीर समस्या का समाधान नहीं करते हैं तो अब मनाली एसोसिएशन कानून का सहारा लेगी.

मनाली बाइक एसोसिएशन का कहना है कि लद्दाख बाइक रेंटल कोऑपरेटिव लिमिटेड और मनाली बाइक एसोसिएशन का फरवरी 2022 में एमओयू साइन हुआ था. इसके अनुसार मनाली बाइक एसोसिएशन को नेशनल हाईवे पर बाइक ले जाने की अनुमति थी. हाईवे के साथ लगते स्थानीय स्थलों पर भी वह जा सकते थे. एमओयू में यह भी जिक्र था कि नियम तोड़ने वालों पर यूनियन कार्रवाई करेगी. इसके मुताबिक नियम तोड़ने वालों पर कार्रवाई भी की गई है.

अब लद्दाख के बाइक संचालकों का (Bike Operators in Ladakh) कहना है कि नियम तोड़कर स्थानीय पर्यटन स्थलों में मनाली के बाइक जा रहे हैं. हालांकि उन्होंने कहा कि कई बार यदि पर्यटक किराये पर बाइक लेकर जाते हैं, तो इस तरह की समस्या उत्पन्न होती है. इसका समाधान आपस में बैठकर किया जा सकता है, लेकिन सीधा सरचू तक ही बाइक चलाने का तुगलगी फरमान जारी करना उचित नहीं है. उनके अनुसार मनाली में करीब 130 बाइक संचालक हैं और करीब 1500 बाइक चल रही हैं.

हाई कोर्ट पहुंचा विवाद: अध्यक्ष राजेश कुमार ने कहा कि उनके पास ऑल इंडिया का परमिट है. इस तरह का तुगलगी फरमान जारी कर कोई निजी संस्था उन्हें नहीं रोक सकती. वह ऑल इंडिया परमिट के अनुसार ही टैक्स भी अदा कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि कई संचालकों ने सितंबर तक की लेह के लिए बुकिंग कर रखी है. अब सरचू से आगे अगर जाने नहीं दिया गया तो सभी को भारी नुकसान उठाना पड़ेगा. ऐसे में अब यह विवाद प्रदेश हाई कोर्ट भी पहुंच गया है.

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