लाहौल स्पीति/कुल्लू: गलवान घाटी विवाद के बीच भारतीय सैनिकों के साथ अब सीमा से सटे गांवों के नागरिकों को विशेष ट्रेनिंग मिलेगी. यह विशेष ट्रेनिंग सीमा पर बने तनाव के हालातों को देखते हुए नागरिकों को देने का फैसला लिया गया है.
इसमें नागरिकों को बाकायदा आत्मरक्षा के गुर भी सिखाए जाएंगे. बता दें कि चीन के साथ हिमाचल के करीब 48 गांवों की सीमा सटी हुई है. इसमें लाहौल-स्पीति के 12 और किन्नौर के 36 गांव शामिल हैं.
यह विशेष ट्रेनिंग लोगों को सेना के कमांडेंट स्तर के अधिकारी देंगे जिसमें लाहौल-स्पीति और किन्नौर जिला के एसपी और उनकी टीमें भी शामिल रहेंगी. ग्रामीणों को यह विशेष ट्रेनिंग 28 जून से 5 जुलाई तक दी जाएगी.
बता दें कि 15 जून को गलवान घाटी में भारत व चीन के सैनिकों के बीच हुई हिंसक झड़प के बाद से ही चीन से सटी हिमाचली सीमाओं पर हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है. इसके साथ ही गांव के लोगों को भी सतर्क रहने के लिए कहा गया है.
लाहौल-स्पीति और किन्नौर के एसपी भी तीन दिन तक सीमावर्ती क्षेत्रों के हालातों का जायजा लेने पहुंचे थे. इसकी रिपोर्ट भी उन्होंने सरकार व संबंधित सुरक्षा एजेंसियों को सौंपी थी.
इसके बाद अब चीनी सीमा से सटे हिमाचल गांव के लोगों को विषम परिस्थितियों के लिए यह विशेष ट्रेनिंग दी जाने वाली है. इसमें लाहौल-स्पीति के 12 और किन्नौर जिला के 36 गांव शामिल हैं, जिन्हें यह विशेष ट्रेनिंग दी जाने वाली है.
इस प्रशिक्षण के लिए पांच कमांडिंग ऑफिसर लाहौल-स्पीति और किन्नौर पहुंचेंगे. बता दें कि दो कमांडिंग ऑफिसर शीत-मरूस्थल के गांव के लोगों को ट्रेनिंग देंगे, जबकि तीन कमांडिंग ऑफिसर किन्नौर के गांववासियों को ट्रेन करेंगे.
खास बात यह है कि किन्नौर पहुंचने वाले तीन कमांडिंग ऑफिसर में से दो महिला सीओ शामिल रहेंगी. इस दौरान विषम परिस्थितियों के लिए नागरिकों को तैयार करने के साथ ही उन्हें जागरूक भी किया जाएगा. उधर, एसपी लाहौल-स्पीति राजेश धर्माणी ने बताया कि 28 जून से सीमावर्ती गांवों में रहने वाले ग्रामीणों को विशेष ट्रेनिंग दी जाएगी.
दरअसल हिमाचल के दो जिलों की 225 किलोमीटर लंबी सीमा चीन के साथ लगती है. इसमें लाहौल-स्पीति जिला की 105 किलामीटर और किन्नौर जिला की 120 किलोमीटर लंबी सीमा शामिल है.
गौरतलब है कि भारतीय और चीनी सेना के सैनिकों के बीच पूर्वी लद्दाख में लगभग 17,000 फीट ऊंची गलवान घाटी में 15 जून की रात हिंसक झड़प हुई थी. दरअसल, सीमा पर भारत और चीनी सेनाओं के बीच हुई झड़प में 20 भारतीय सैनिक शहीद हो गए.
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