ETV Bharat / city

भारत-पाकिस्तान युद्ध के 50 साल: रि. कर्नल विधीचंद लगवाल ने बताया युद्ध के लिए क्यों चुना गया दिसंबर का महीना

भारत की 1971 के युद्ध में जीत और बांग्लादेश के गठन के 50 साल पूरे होने के उपलक्ष्य में स्वर्णिम विजय वर्ष समारोह (Swarnim Vijay Diwas) देश भर में मनाया जा रहा है. इस युद्ध में भारतीय सेना ने अपना शौर्य दिखाया था. इसमें हिमाचल के वीर सैनिकों ने भी इसमें अपने रण कौशल का परिचय दिया था. इन्हीं में से एक हैं शौर्य चक्र विजेता सेवानिवृत्त कर्नल विधीचंद लगवाल. उन्होंने युद्ध की यादों को साझा करते कहा कि इस युद्ध के दौरान भारतीय सेना ने ढाका को चारों तरफ से घेर (Vidhichand Lagwal on 50th Vijay Diwas) लिया था. आइए जानते हैं उन्होंने और क्या कुछ कहा.

retired colonel Vidhichand Lagwal
शौर्य चक्र विजेता सेवानिवृत्त कर्नल विधीचंद लगवाल.
author img

By

Published : Dec 16, 2021, 6:07 PM IST

Updated : Jan 4, 2022, 1:50 PM IST

हमीरपुर: विजय दिवस के मौके पर गुरुवार को हमीरपुर के गांधी चौक पर भव्य समारोह (Swarnim Vijay Diwas) का आयोजन किया गया, जिसमें सैकड़ों की तादाद में भूतपूर्व सैनिकों ने अपनी उपस्थिति दर्ज करवाई. भारत-पाकिस्तान के साल 1971 के युद्ध के 50 वर्ष 16 दिसंबर 2021 को आज के दिन पूरे हुए हैं. भारत-पाकिस्तान के बीच में युद्ध (war between india and pakistan) 3 दिसंबर से 16 दिसंबर तक लड़ा गया था. एक नहीं बल्कि कई मोर्चों पर इस युद्ध में भारतीय सेना ने अपना शौर्य दिखाया था. हिमाचल के वीर सैनिकों ने भी इसमें अपने रण कौशल का परिचय (Vidhichand Lagwal on 50th Vijay Diwas) दिया था.


हमीरपुर जिला से ताल्लुक रखने वाले शौर्य चक्र विजेता सेवानिवृत्त कर्नल विधीचंद लगवाल भी इनमें से एक है. इस युद्ध में सैकड़ों सैनिकों ने शहादत दी थी और हिमाचल के सैनिक भी इनमें शामिल थे. इस युद्ध के स्वर्णिम 50 वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य पर हमीरपुर में आयोजित सम्मान समारोह के बाद शौर्य चक्र विजेता सेवानिवृत्त कर्नल विधि चंद लगवाल ने युद्ध की यादों को ईटीवी भारत हिमाचल प्रदेश (etv bharat himachal pradesh) के साथ विशेष बातचीत में साझा किया है.

वीडियो

विधीचंद लगवाल ने युद्ध की यादों को साझा करते कहा कि इससे युद्ध के दौरान भारतीय सेना ने ढाका को चारों तरफ से घेर लिया था. युद्ध का समय दिसंबर चुना गया ताकि इनका भी इस युद्ध में कोई दखल न हो. इस महीने में बर्फबारी हो जाती है ऐसे में चीन के सेना के अधिकतर रास्ते बंद हो जाते हैं. उन्होंने कहा कि मुक्ति वाहिनी ने भी इस युद्ध में महत्वपूर्ण भूमिका अदा की है जिसकी वजह से जल्द से जल्द यह युद्ध समाप्त हुआ और भारत ने जीत हासिल की. हथियारों और युद्ध की तकनीक पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि उस दौर में हथियार भी आधुनिक नहीं थे, लेकिन बेहतर रण कौशल से भारतीय सेना ने युद्ध को जीता है.

ये भी पढ़ें: एग्रीकल्चर और हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी में प्राकृतिक खेती विषय की हो सकती है शुरुआत: CM जयराम

इसके साथ ही विधीचंद लगवाल ने कहा कि हमीरपुर जिला और हिमाचल के वीर जवानों ने भी यह युद्ध में शहादत का जाम पिया है. उन्होंने कहा कि यह युद्ध एक नहीं बल्कि कई मोर्चों पर लड़ा गया था. उन्होंने कहा कि यह ऐतिहासिक दिन है. 13 दिन में इस युद्ध को खत्म किया गया था. अमेरिका की तरफ से लगातार दबाव बनाया जा रहा था बावजूद इसके इस युद्ध में भारत ने ऐतिहासिक जीत हासिल की. वन रैंक वन पेंशन के दावे पर प्रतिक्रिया देते हुए उन्होंने मलाल जताया है कि भारत सरकार दावा कर रही है, लेकिन अभी तक वन रैंक वन पेंशन के सुविधा सही तरीके से सैनिकों को नहीं मिली है.

ये भी पढ़ें: ये भी पढे़ं : पीएम मोदी का किसानों से वर्चुअल संवाद, जैविक खेती अपनाने की दी सलाह

हमीरपुर: विजय दिवस के मौके पर गुरुवार को हमीरपुर के गांधी चौक पर भव्य समारोह (Swarnim Vijay Diwas) का आयोजन किया गया, जिसमें सैकड़ों की तादाद में भूतपूर्व सैनिकों ने अपनी उपस्थिति दर्ज करवाई. भारत-पाकिस्तान के साल 1971 के युद्ध के 50 वर्ष 16 दिसंबर 2021 को आज के दिन पूरे हुए हैं. भारत-पाकिस्तान के बीच में युद्ध (war between india and pakistan) 3 दिसंबर से 16 दिसंबर तक लड़ा गया था. एक नहीं बल्कि कई मोर्चों पर इस युद्ध में भारतीय सेना ने अपना शौर्य दिखाया था. हिमाचल के वीर सैनिकों ने भी इसमें अपने रण कौशल का परिचय (Vidhichand Lagwal on 50th Vijay Diwas) दिया था.


हमीरपुर जिला से ताल्लुक रखने वाले शौर्य चक्र विजेता सेवानिवृत्त कर्नल विधीचंद लगवाल भी इनमें से एक है. इस युद्ध में सैकड़ों सैनिकों ने शहादत दी थी और हिमाचल के सैनिक भी इनमें शामिल थे. इस युद्ध के स्वर्णिम 50 वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य पर हमीरपुर में आयोजित सम्मान समारोह के बाद शौर्य चक्र विजेता सेवानिवृत्त कर्नल विधि चंद लगवाल ने युद्ध की यादों को ईटीवी भारत हिमाचल प्रदेश (etv bharat himachal pradesh) के साथ विशेष बातचीत में साझा किया है.

वीडियो

विधीचंद लगवाल ने युद्ध की यादों को साझा करते कहा कि इससे युद्ध के दौरान भारतीय सेना ने ढाका को चारों तरफ से घेर लिया था. युद्ध का समय दिसंबर चुना गया ताकि इनका भी इस युद्ध में कोई दखल न हो. इस महीने में बर्फबारी हो जाती है ऐसे में चीन के सेना के अधिकतर रास्ते बंद हो जाते हैं. उन्होंने कहा कि मुक्ति वाहिनी ने भी इस युद्ध में महत्वपूर्ण भूमिका अदा की है जिसकी वजह से जल्द से जल्द यह युद्ध समाप्त हुआ और भारत ने जीत हासिल की. हथियारों और युद्ध की तकनीक पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि उस दौर में हथियार भी आधुनिक नहीं थे, लेकिन बेहतर रण कौशल से भारतीय सेना ने युद्ध को जीता है.

ये भी पढ़ें: एग्रीकल्चर और हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी में प्राकृतिक खेती विषय की हो सकती है शुरुआत: CM जयराम

इसके साथ ही विधीचंद लगवाल ने कहा कि हमीरपुर जिला और हिमाचल के वीर जवानों ने भी यह युद्ध में शहादत का जाम पिया है. उन्होंने कहा कि यह युद्ध एक नहीं बल्कि कई मोर्चों पर लड़ा गया था. उन्होंने कहा कि यह ऐतिहासिक दिन है. 13 दिन में इस युद्ध को खत्म किया गया था. अमेरिका की तरफ से लगातार दबाव बनाया जा रहा था बावजूद इसके इस युद्ध में भारत ने ऐतिहासिक जीत हासिल की. वन रैंक वन पेंशन के दावे पर प्रतिक्रिया देते हुए उन्होंने मलाल जताया है कि भारत सरकार दावा कर रही है, लेकिन अभी तक वन रैंक वन पेंशन के सुविधा सही तरीके से सैनिकों को नहीं मिली है.

ये भी पढ़ें: ये भी पढे़ं : पीएम मोदी का किसानों से वर्चुअल संवाद, जैविक खेती अपनाने की दी सलाह

Last Updated : Jan 4, 2022, 1:50 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.