कांगड़ा: सुलह विधानसभा क्षेत्र में एक पंचायत भवन का शिलान्यास अचानक सुर्खियों में आ गया है, क्योंकि यह शिलान्यास पूर्व विधायक को रास नहीं आया. वहीं, रड़ा पंचायत के प्रधान और उप प्रधान को इस शिलान्यास की कोई भी जानकारी नहीं थी और विधानसभा अध्यक्ष यहां शिलान्यास करने पहुंच गए.
वहीं, विधानसभा अध्यक्ष को शिलान्यास स्थान तक पुलिस ने सुरक्षित पहुंचाया और भीड़ में किसी ने पूर्व विधायक के सर पर किसी ने चोट मार दी. जिसकी पूर्व विधायक ने पुलिस में इसकी शिकायत भी दर्ज करवाई है. पूर्व विधायक ने इस शिलान्यास का विरोध जताया है क्योंकि न तो पंचायत के प्रधान को इसकी सूचना दी गई थी और न ही वार्ड पंचों को और जब यह बात पूर्व विधायक को पता चली तो वो उनके साथ उतर आए और आमरण अनशन पर बैठ गए.
वहीं इसी बीच एक और बात सामने निकल कर आई कि यह जो शिलान्यास किया गया है यह भूमि किसी ने दान में दी है और पंचायत की अपनी जमीन भी है. उसके बावजूद यह शिलान्यास किया गया. जब पूर्व विधायक से बात की गई तो उन्होंने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष अपनी मर्जी कर रहे हैं और यहां की जनता को गुमराह कर रहे हैं और जहां पर यह भवन का शिलान्यास होना चाहिए था वहां नहीं बनाया.
पंचायत प्रधान की राय लिए बिना ही अपनी मर्जी से कहीं और शिलान्यास कर दिया. वहीं, पूर्व विधायक ने कहा है कि भीड़ में गांव के लड़के जसवीर कुमार ने उनके सर पर किसी चीज से चोट मारी है. जिसकी शिकायत पुलिस को दे दी है और जगजीवन पाल ने कहा कि जब तक न्याय नहीं होता तब तक आमरण अनशन जारी रहेगा.
इस मामले में विधानसभा अध्यक्ष विपिन सिंह परमार से बात की गई तो उन्होंने किसी भी सवाल का जबाब देने से किनारा किया और कहा कि मैंने जो भी किया है ठीक किया है और मुझे किसी प्रमाण पत्र की जरूरत नहीं है.
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