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एशिया की नंबर-1 शुगर मिल में पिराई शुरू, हर रोज होती है हजारों टन गन्ने की पिराई

यमुनानगर की सरस्वती शुगर मिल में गन्ने की पिराई शुरू हो गई. मिल प्रबंधन की माने तो आज उन्होंने अपनी दोनों इकाइयों का शुभारंभ कर दिया है.

yamunanagar sugar mill session start
एशिया की नंबर-1 शुगर मिल में पिराई शुरू
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Published : Nov 28, 2019, 3:53 PM IST

यमुनानगर: एशिया की नंबर एक कही जाने वाली यमुनानगर की सरस्वती शुगर मिल में गन्ने की पिराई शुरू हो गई. इस बार 160 लाख क्विंटल गन्ने की पिराई का लक्ष्य रखा गया है. पिछले साल की तुलना में इस साल मिल में कम गन्ने की पिराई की जाएगी. पिछले साल 166 लाख क्विंटल गन्ने की पिराई की गई थी.

वहीं मिल के अधिकारियों का कहना है कि पिछले वर्ष की तुलना में 12 प्रतिशत गन्ने की कम पैदावार हुई है. जिसको देखते हुए ये लक्ष्य रखा गया है, लेकिन जब तक किसान गन्ना लाएंगे तब तक शुगर मिल चलेगी और अधिक गन्ना आता है तो उसकी पिराई के लिए भी हम सक्षम है.

एशिया की नंबर-1 शुगर मिल में पिराई शुरू, देखिए वीडियो

एशिया की सबसे बड़ी शुगर मिल का खिताब हासिल करने वाली यमुनानगर की सरस्वती शुगर मिल में गन्ने की पिराई शुरू हो गई. मिल प्रबंधन की माने तो आज उन्होंने अपनी दोनों इकाइयों का शुभारंभ कर दिया है. शुगर मिल के मुख्य संचालक अधिकारी एस के सचदेवा ने आज विधिवत रूप से पूजा अर्चना कर पिराई सत्र की शुरुआत की गई. 1 मई तक ये पिराई सत्र चलेगा.

ये पढ़ें- महाराष्ट्र की 'नौटंकी' हरियाणा की कार्बन कॉपी! देवीलाल ने सरकार बनाने के लिए राज्यपाल को मारा था तमाचा

166 लाख क्विंटल गन्ने की पिराई हुई थी
इस बार 160 लाख क्विंटल का लक्ष्य रखा गया है पिछले वर्ष 166 लाख क्विंटल का लक्ष्य था. इस बार 12 प्रतिशत कम पैदावार हुई है. इसकी वजह से ये लक्ष्य कम है यदि इससे भी ज्यादा गन्ना आता है. तो उसे भी मिल खरीदेगी. किसान जितना गन्ना चाहे उसे मिल में दे सकते है. पहले दिन 65 हजार क्विंटल गन्ना पिराई का लक्ष्य रखा गया है और अगले दिन 80 हजार क्विंटल के करीब पिराई की जाएगी.

गन्ने का रेट निर्धारित करने पर चल रही है बात
आपको बता दें कि शुगर मिल की चीनी देश विदेश में मशहूर है मिल खुलने की सूचना मिलते ही रात से ही गन्ने की ट्रॉलियां और ट्रक पहुंच गए थे. वहीं सबसे पहले गन्ना लेकर आये किसानों को मिल प्रबंधन की तरफ से सम्मानित किया गया. वहीं गन्ने के रेट जब तक निर्धारित नहीं होते ऐसे में क्या रहेगा. इस पर मुख्य संचालक अधिकारी ने कहा कि राज्य सरकार से इस मामले में लगातार बात चल रही है.

किसानों को पेमेंट में नहीं होगी दिक्कत
ये बात कंट्रोल बोर्ड की मीटिंग में भी ये बात हुई थी. मिल शुरू होने से पहले गन्ने के रेट और पेमेंट की बारे में क्लेरिटी हो जाये जो फार्मूला पिछले साल सरकार ने पिछली बार निर्धारित किया था. इस विषय में हमारी जिन भी अधिकारियों से बात हुई थी. अगर वो फार्मूला चेंज नहीं होता तो हम पूरी तरह तैयार है उस पॉइंट पर पेमेंट में कोई दिक्कत नहीं आएगी, लेकिन जब तक कोई क्लेरिटी नहीं होती तबतक हम डाउट फुल पोजीशन में है.

यमुनानगर: एशिया की नंबर एक कही जाने वाली यमुनानगर की सरस्वती शुगर मिल में गन्ने की पिराई शुरू हो गई. इस बार 160 लाख क्विंटल गन्ने की पिराई का लक्ष्य रखा गया है. पिछले साल की तुलना में इस साल मिल में कम गन्ने की पिराई की जाएगी. पिछले साल 166 लाख क्विंटल गन्ने की पिराई की गई थी.

वहीं मिल के अधिकारियों का कहना है कि पिछले वर्ष की तुलना में 12 प्रतिशत गन्ने की कम पैदावार हुई है. जिसको देखते हुए ये लक्ष्य रखा गया है, लेकिन जब तक किसान गन्ना लाएंगे तब तक शुगर मिल चलेगी और अधिक गन्ना आता है तो उसकी पिराई के लिए भी हम सक्षम है.

एशिया की नंबर-1 शुगर मिल में पिराई शुरू, देखिए वीडियो

एशिया की सबसे बड़ी शुगर मिल का खिताब हासिल करने वाली यमुनानगर की सरस्वती शुगर मिल में गन्ने की पिराई शुरू हो गई. मिल प्रबंधन की माने तो आज उन्होंने अपनी दोनों इकाइयों का शुभारंभ कर दिया है. शुगर मिल के मुख्य संचालक अधिकारी एस के सचदेवा ने आज विधिवत रूप से पूजा अर्चना कर पिराई सत्र की शुरुआत की गई. 1 मई तक ये पिराई सत्र चलेगा.

ये पढ़ें- महाराष्ट्र की 'नौटंकी' हरियाणा की कार्बन कॉपी! देवीलाल ने सरकार बनाने के लिए राज्यपाल को मारा था तमाचा

166 लाख क्विंटल गन्ने की पिराई हुई थी
इस बार 160 लाख क्विंटल का लक्ष्य रखा गया है पिछले वर्ष 166 लाख क्विंटल का लक्ष्य था. इस बार 12 प्रतिशत कम पैदावार हुई है. इसकी वजह से ये लक्ष्य कम है यदि इससे भी ज्यादा गन्ना आता है. तो उसे भी मिल खरीदेगी. किसान जितना गन्ना चाहे उसे मिल में दे सकते है. पहले दिन 65 हजार क्विंटल गन्ना पिराई का लक्ष्य रखा गया है और अगले दिन 80 हजार क्विंटल के करीब पिराई की जाएगी.

गन्ने का रेट निर्धारित करने पर चल रही है बात
आपको बता दें कि शुगर मिल की चीनी देश विदेश में मशहूर है मिल खुलने की सूचना मिलते ही रात से ही गन्ने की ट्रॉलियां और ट्रक पहुंच गए थे. वहीं सबसे पहले गन्ना लेकर आये किसानों को मिल प्रबंधन की तरफ से सम्मानित किया गया. वहीं गन्ने के रेट जब तक निर्धारित नहीं होते ऐसे में क्या रहेगा. इस पर मुख्य संचालक अधिकारी ने कहा कि राज्य सरकार से इस मामले में लगातार बात चल रही है.

किसानों को पेमेंट में नहीं होगी दिक्कत
ये बात कंट्रोल बोर्ड की मीटिंग में भी ये बात हुई थी. मिल शुरू होने से पहले गन्ने के रेट और पेमेंट की बारे में क्लेरिटी हो जाये जो फार्मूला पिछले साल सरकार ने पिछली बार निर्धारित किया था. इस विषय में हमारी जिन भी अधिकारियों से बात हुई थी. अगर वो फार्मूला चेंज नहीं होता तो हम पूरी तरह तैयार है उस पॉइंट पर पेमेंट में कोई दिक्कत नहीं आएगी, लेकिन जब तक कोई क्लेरिटी नहीं होती तबतक हम डाउट फुल पोजीशन में है.

Intro:ANCHOR_ एशिया की नंबर एक कही जाने वाली यमुनानगर की सरस्वती शुगर मिल में आज से गन्ने की पिराई शुरू हो गई।इस बार 160 लाख क्विंटल गन्ने की पिराई का लक्ष्य रखा गया है । पिछले साल की तुलना में हालांकि इस साल मिल में कम गन्ने की पिराई की जाएगी।पिछले वर्ष 166 लाख क्विंटल गन्ने की पिराई की गई थी ।वही मिल के अधिकारियों का कहना है कि पिछले वर्ष की तुलना में 12 प्रतिशत गन्ने की कम पैदावार हुई है जिसको देखते हुए ये लक्ष्य रखा गया है लेकिन जबतक किसान गन्ना लाएंगे तबतक शुगर मिल चलेगी।और अधिक गन्ना आता है तो उसकी पिराई के लिए भी हम सक्षम है।


Body:वीओ _  एशिया की सबसे बड़ी शुगर मिल का खिताब हासिल करने वाली यमुनानगर की सरस्वती शुगर मिल में गन्ने की पिराई शुरू हो गई। मिल प्रबंधन की माने तो आज उन्होंने अपनी दोनों इकाईयों का शुभारंभ कर दिया है। शुगर मिल के मुख्य संचालक अधिकारी एस के सचदेवा ने आज विधिवत रूप से पूजा अर्चना कर पिराई स्त्र की शुरुआत की गई।1 मई तक ये पिराई सत्र चलेगा ।इस बार 160 लाख क्विंटल का लक्ष्य रखा गया है पिछले वर्ष 166 लाख क्विंटल का लक्ष्य था।इस बार 12 प्रतिशत कम पैदावार हुई है इसकी वजह से ये लक्ष्य कम है यदि इससे भी ज्यादा गन्ना आता है तो उसे भी मिल खरीदेगी।किसान जितना गन्ना चाहे उसे मिल में दे सकते है पहले दिन 65 हज़ार क्विंटल गन्ना पिराई का लक्ष्य रखा गया है और अगले दिन 80 हज़ार क्विंटल के करीब पिराई की जाएगी।आपको बता दे कि शुगर मिल की चीनी देश विदेश में मशहूर है मिल खुलने की सूचना मिलते ही रात से ही गन्ने की ट्रॉलियां और ट्रक पहुंच गए थे ।वही सबसे पहले गन्ना लेकर आये किसानों को मिल प्रबंधन की तरफ से सम्मानित किया गया।वही गन्ने के रेट जब तक निर्धारित नही होते ऐसे में क्या रहेगा इस पर मुख्य संचालक अधिकारी ने कहा कि राज्य सरकार से इस मामले में लगातार बात चल रही है।ये बात कंट्रोल बोर्ड की मीटिंग में भी ये बात हुई थी।की मिल शुरू होने से पहले गन्ने के रेट और पेमेंट की बारे में क्लेरिटी हो जाये जो फार्मूला पिछले साल सरकार ने पिछली बार निर्धारित किया था इस विषय मे हमारी जिन भी अधिकारियों से बात हुई थी अगर वो फार्मूला चेंज नही होता तो हम पूरी तरह तैयार है उस पॉइंट पर पेमेंट में कोई दिक्कत नही आएगी।लेकिन जब तक कोई क्लेरिटी नही होती तबतक हम डाउट फूल पोजीशन में है ।

बाइट किसान

बाइट एस के सचदेवा मुख्य संचालक अधिकारी सरस्वती शुगर मिल ।Conclusion:
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