यमुनानगर: कोरोना महामारी की दूसरी लहर के चलते प्रदेश में इन दिनों लॉकडाउन लगा हुआ है. रोडवेज विभाग को सरकार ने गाइडलाइंस जारी करते हुए बस में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करने के लिए 35 ही सवारियां बैठाने के आदेश दिए हुए हैं. जिस वजह से रोडवेज की बसों का खर्च भी पूरा नहीं हो पा रहा और हरियाणा के यमुनानगर डिपो को रोजाना करीब 10 लाख रुपये का नुकसान हो रहा है.
रोडवेज विभाग के मुताबिक यमुनानगर से रोजाना 22 बसें सहारनपुर के लिए जाती थी, लेकिन इन बसों का पहिया अब बिल्कुल थम चुका है और इनमें से कुछ ही बसें कलानौर बॉर्डर तक जा रही हैं. वहीं बात करें तो स्थिति ऐसी है कि चंडीगढ़ जाने वाली बसों में 2-2 घंटे के इंतजार के बावजूद सवारियां नहीं मिल रही.
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बता दें कि ज्यादातर बसें लॉकल रुट पर ही चल रही हैं और उन बसों में भी सवारियां नहीं होने की वजह से बसों का खर्च भी पूरा नहीं हो पा रहा. विभाग के मुताबिक यमुनानगर डिपो में कुल 141 बसें हैं जो विभिन्न राज्यों तक सफर करती थी और करीब 12 लाख रुपये की डिपो को रोजाना आमदनी हो रही थी. वहीं लॉकडाउन में रोजाना मात्र डेढ़ लाख रुपये की आमदनी हो रही है. इस वजह से करीब 10 लाख रुपये का रोजाना नुकसान हो रहा है.
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