सोनीपतः सिंघु बॉर्डर पर किसान कृषि कानूनों के विरोध में धरने पर बैठे हैं. इसी बीच ईटीवी भारत की टीम भी लगातार ग्राउंड जीरो पर बनी हुई है. जिसके तहत अलग-अलग पहलुओं से खबरें दिखाई जा रही है. सिंघु बॉर्डर पर जारी आंदोलन के दौरान पंजाब के कुछ किसान खसखस की खेती शुरू करने की अपील करते हुए दिखाई दिए हैं. ये खेती नशे की होती है.
किसानों का कहना है कि दवाइयों के लिए बाहर से सरकार खसखस का आयत करती है. ऐसे में अगर इसी खेती यहीं पर शुरू हो जाए तो किसान को इसका फायदा मिलेगा. साथी ही मेडिकल नशा जो बहुत ही खतरनाक है वो भी बंद हो जाएगा. उन्होंने पंजाब सरकार और केंद्र सरकार से इसको लागू करने की अपील की है.
किसानों का कहना है कि पंजाब में इंजेक्शन, चीट्टे के अलावा अलग-अलग प्रकार की दवाइयों से युवा नशा करते हैं. जिसके चलते हम पंजाब सरकार और केंद्र सरकार से इन नशों के धंधो को बंद करने की अपील करते हैं. साथ ही पंजाब के अंदर खसखस की खेती शुरू करने की मंजूरी चाहते हैं ताकि आने वाले समय में युवा ज्यादा नशे की तरफ ना बढ़े. इससे किसानों की भी कमाई होगी तो साथ ही ये कुछ दवाइयों में भी काम आती है जो लाभदायक है.
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