सिरसा: हरियाणा के सिरसा में आज भी घना कोहरा देखने को मिला है. सातवें दिन भी कोहरा होने की वजह से आज विजिबिलिटी बिल्कुल 20 मीटर तक ही सीमित रही. विजिबिलिटी कम होने की वजह से (Visibility reduced in Haryana) वाहन चालकों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा. वाहन चालक फोग लाइट का इस्तेमाल कर वाहन चलाते (Fog problem for drivers) हुए दिखाई दिए. कोहरा ज्यादा होने की वजह से सड़कों पर आज वाहन पहले के मुकाबले कम ही दिखाई दिए.
हालांकि कोहरा होने के कारण ठंड भी पिछले कई दिनों के मुकाबले आज बढ़ गई है. जिससे लोगों की परेशानियां और बढ़ गई हैं. यह कोहरा आम लोगों के लिए घातक साबित हो सकता है. लेकिन किसानों के लिए यह कोहरा फायदेमंद (fog beneficial for farmers) साबित होगा. कोहरे से गेहूं और सरसों की फसल को फायदा मिलेगा और उम्मीद जताई जा रही है कि करीब इस महीने के अंत तक यूं ही कोहरा बरकरार रहेगा.
सुबह-सुबह ऑफिस जाने वाले और स्कूल जाने वाले वाहन चालकों को काफी मशक्कत का सामना करना पड़ा. क्योंकि आज विजिबिलिटी मात्र 20 मीटर तक ही सीमित रही. ऐसे में वाहन चालकों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा है. मौसम विभाग के अनुसार अगले कुछ दिनों तक सिरसा और आसपास के एरिया में यूं ही कोहरे का असर देखने को मिलेगा. कोहरे से जहां आम लोगों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.
वहीं यह कोहरा किसानों की खेती के लिए वरदान के रूप में साबित होगा.सिरसा वासियों ने बताया कि आज तीसरे दिन भी सिरसा में खूब कोहरा देखने को मिला है. जिस वजह से आज विजिबिलिटी भी बहुत कम दिखाई दे रही है उन्होंने कहा कि कोहरा ज्यादा होने की वजह से उनको वाहन चलाने में काफी परेशानियों का सामना (Fog problem for drivers) करना पड़ रहा है. (Cold Wave in Haryana)
फॉग लाइट का इस्तेमाल कर रहे हैं, ताकि सामने से आने वाले वाहन उनको सही तरीके से दिखाई दे सके. उन्होंने कहा कि आज कोहरा ज्यादा होने की वजह से ठंड भी काफी ज्यादा बढ़ गई है. जिस वजह से उनको भी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. उन्होंने कहा कि कोहरे और ठंड के बढ़ने से अलाव का सहारा ले रहे है. कृषि विभाग के उप कृषि निदेशक डॉ. बाबूलाल ने बताया कि इस समय गेहूं, चना, सरसों सहित अन्य फसल की बिजाई क्षेत्र में की गई है. (Farmers in Haryana)
मौसम के अनुसार कोहरे और धुंध से इन फसलों को बहुत (fog beneficial for farmers) लाभ मिलेगा. उन्होंने कहा कि ओस की बूंदें नाइट्रोजन का काम करती हैं, जिससे फसलों को नाइट्रोजन की पूर्ति होती है. इससे फसल में बहुत ज्यादा फुटाव होता है. उन्होंने बताया कि जिले में 2 लाख 75 हजार हेक्टेयर में गेहूं की बिजाई, 80000 हेक्टेयर में सरसों की बिजाई, चने की 3000 हेक्टेयर और जौ कि 2000 हेक्टेयर में बिजाई की गई है.
उन्होंने बताया कि इस बार गेहूं की बिजाई पिछले वर्ष के मुकाबले ज्यादा हुई है. उन्होंने किसानों को सलाह देते हुए कहा कि कृषि विशेषज्ञों के अनुसार ही फसल में पानी दे. ताकि फसल का उत्पादन बढ़ सके और किसान भाईयों को ज्यादा से ज्यादा लाभ मिल सके. मौसम भी किसानों के लिए काफी फायदेमंद बताया जा रहा है. कृषि विशेषज्ञों का भी यही कहना है कि किसानों के लिए ये कोहरे वाला मौसम काफी फायदेमंद है. (Weather Update Haryana)
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