रेवाड़ी: रेवाड़ी में साइबर ठगी का मामला सामने आया है. रेवाड़ी साइबर थाना पुलिस ने साइबर ठगी करने वाले एक ऐसी शख्स को गिरफ्तार किया है जिसने 18 महीने पहले ठगी को अंजाम दिया था. पुलिस ने गिरोह के मास्टर माइंड आरोपी को मुंबई से गिरफ्तार किया है. बताया जा रहा है कि पकड़ा गया आरोपी उत्तर प्रदेश के हापुड़ का रहने वाला है. आरोपी का नाम मेहराज अंसारी है. आरोपी पर पहले से ही ठगी के कई मामले दर्ज हैं.
जानकारी के मुताबिक मेहराज अंसारी ने एक कंपनी संचालक के खाते से 20 लाख रुपये ठगे थे. 18 माह पहले की ये घटना है. फिलहाल, आरोपी को एक दिन की पुलिस रिमांड पर लिया गया है. वहीं आरोपी के बारे पता चला है कि वह हापुड़ के पूर्व का रहने वाला है. ठगी के कई मामले दर्ज होने के चलते आरोपी पकड़े जाने के डर से मुंबई में जाकर छिप गया था. जानकारी ये भी है कि मेहराज अंसारी डुप्लिकेट सिमकार्ड के जरिए नेट बैंकिंग से फ्रॉड करता है.
पुलिस पूछताछ में पता चला है कि आरोपी मेहराज अंसारी ठगी करने से पहले व्यक्ति की रेकी करता था. जहां ठगी करनी होती थी तो उस व्यक्ति के बारे में पता करता था और उसकी फोटो को हासिल कर उसका सिमकार्ड को बंद करा देता था. बाद में उसी सिम कार्ड को फर्जी आधार कार्ड पर अपनी फोटो लगाकर चालू करा लेता था. यही नहीं पुलिसिया पूछताछ में ये भी पता चला है कि आरोपी ठग ठगी के लिए भी दिन का चुनाव का करता था. इसके लिए वह शनिवार और रविवार के दिन ही घटना को अंजाम देता था.
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बता दें कि ये घटना 31 अगस्त 2021 की है, जहां रेवाड़ी के बावल में साईं पॉलीपैक कंपनी में ठगी हो गई. कंपनी के संचालक भूपेन्द्र सिंह के सिमकार्ड का अचानक सिग्नल गायब हो गया. इसके बाद 1 सितंबर को शनिवार और दो सितंबर को रविवार की छुट्टी होने की वजह से उसकी सिम नहीं निकल पाई. इसके बाद उसके खाते से पैसे निकलने के मैसेज आने शुरू हो गए. पीड़ित के मुताबिक तीन सितंबर को उसने अपनी सिमकार्ड निकलवाई. उसे समझ ही नहीं आया कि इतनी मोटी रकम कैसे निकली. उसने बैंक में जाकर पता किया तो 20 लाख रुपये उसके खाते से गायब हो चुके थे. कई महीनों की जांच के बाद रेवाड़ी साइबर थाना पुलिस मेहराज अंसारी तक पहुंच गई और उसे मुंबई से गिरफ्तार कर लिया.