पानीपत: कृषि कानूनों के विरोध में पंजाब और हरियाणा के किसान दिल्ली कूच कर रहे हैं. दिनभर की जद्दोजहद के बाद हजारों की संख्या में किसान पानीपत पहुंचे और टोल प्लाजा पर रात्रि ठहराव का कार्यक्रम बनाया. भारतीय किसान यूनियन के प्रदेश अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढूनी का कहना है कि किसान सुबह 9 बजे दिल्ली के लिए रवाना होंगे.
गुरनाम चढूनी ने कहा कि पुलिस प्रशासन द्वारा किसानों को काफी परेशान किया गया. किसान कई बैरिकेड तोड़कर यहां तक पहुंचे हैं. चढूनी ने कहा कि सरकार कितने ही बैरिकेड लगा ले, लेकिन किसान हर हाल में दिल्ली पहुंचेंगे.
हलदाना बॉर्डर (सोनीपत) पर किसानों को रोकने के लिए हरियाणा पुलिस ने सड़क पर खुदाई कर दी है. इस पर गुरनाम चढूनी ने कहा कि पहले के जमाने में राजा किले के मोर्चे बनाते थे और किले के बाहर पानी छोड़ देते थे, ताकि दुश्मन अंदर ना आ सके. अब वही रणनीति किसानों के खिलाफ बनाई जा रही है.
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गुरनाम चढूनी का कहना है कि अगर सरकार अपना फैसला वापस नहीं लेती है तो वो रोड पर ही भूखे मर जाएंगे, लेकिन ये आंदोलन जारी रहेगा. आंदोलन तब तक नहीं थमेगा जब तक सरकार स़क पर आकर किसानों से बात नहीं करती और उनकी मांगों को पूरा नहीं करती.
गुरनाम चढूनी ने बताया कि किसान मोर्चा के 7 संगठन हैं. सरकार सभी 7 संगठन के प्रतिनिधियों से बातचीत करे उसके बाद ही फैसला लिया जाएगा. उन्होंने कहा कि वो किसी मंत्री या मुख्यमंत्री से बात नहीं करेंगे. अब सीधी बात प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से होगी और तब तक ये आंदोलन ऐसे ही जारी रहेगा.