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बड़े-बड़े आश्वासन के बाद पहलू खान के परिवार को भूल गई राजनीतिक पार्टियां?

पहलू खान की पत्नी जैबुना ने आंखों में आंसू भरकर कहा कि उनकी दुनिया उजड़ गई. अब कुछ नहीं बचा. देश की स्थिति भी अजीबोगरीब है.

भीड़तंत्र का शिकार हुआ पीड़ित परिवार
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Published : May 3, 2019, 8:57 PM IST

नूंह: अप्रैल 2017 को नूंह जिले के जयसिंहपुर गांव के पहलू खान और उसके लड़कों को गोरक्षा की आड़ में भीड़तंत्र द्वारा बुरी तरह पीटा गया और पहलू खान को मौत के घाट उतार दिया था. आज 3 साल बीत जाने के बाद भी कोई भी सियासी दल उन्हें याद नहीं कर रहा है. उस समय बड़े बड़े सियासी दलों ने पहलू खान के घर जाकर उनके बड़े-बड़े आश्वासन दिए थे.

क्लिक कर देखें वीडियो

ETV भारत की टीम पहुंची पीड़ित के घर
नूंह मेवात जिले के पहलू खान निवासी जयसिंह पुर गांव की तरफ हमारी टीम ने रुख किया और बहरोड़ में भीड़तंत्र द्वारा पीट पीटकर मार देने वाले पहलू के परिजनों से बात की. भीड़तंत्र के गुस्से का निशाना बने इरशाद ने आपबीती को बताया.

'उजड़ गई पूरी दुनिया'
पहलू खान की पत्नी जैबुना ने आंखों में आंसू भरकर कहा कि उनकी दुनिया उजड़ गई. अब कुछ नहीं बचा. देश की स्थिति भी अजीबोगरीब है. देश में कुछ समय पहले गाय के नाम पर राजनीति हो रही थी. लेकिन आज सभी राजनीतिक पार्टियां शायद अब इस मुद्दे को भूल चुकी है.

नूंह: अप्रैल 2017 को नूंह जिले के जयसिंहपुर गांव के पहलू खान और उसके लड़कों को गोरक्षा की आड़ में भीड़तंत्र द्वारा बुरी तरह पीटा गया और पहलू खान को मौत के घाट उतार दिया था. आज 3 साल बीत जाने के बाद भी कोई भी सियासी दल उन्हें याद नहीं कर रहा है. उस समय बड़े बड़े सियासी दलों ने पहलू खान के घर जाकर उनके बड़े-बड़े आश्वासन दिए थे.

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ETV भारत की टीम पहुंची पीड़ित के घर
नूंह मेवात जिले के पहलू खान निवासी जयसिंह पुर गांव की तरफ हमारी टीम ने रुख किया और बहरोड़ में भीड़तंत्र द्वारा पीट पीटकर मार देने वाले पहलू के परिजनों से बात की. भीड़तंत्र के गुस्से का निशाना बने इरशाद ने आपबीती को बताया.

'उजड़ गई पूरी दुनिया'
पहलू खान की पत्नी जैबुना ने आंखों में आंसू भरकर कहा कि उनकी दुनिया उजड़ गई. अब कुछ नहीं बचा. देश की स्थिति भी अजीबोगरीब है. देश में कुछ समय पहले गाय के नाम पर राजनीति हो रही थी. लेकिन आज सभी राजनीतिक पार्टियां शायद अब इस मुद्दे को भूल चुकी है.

Intro:संवाददाता नूंह मेवात।

स्टोरी :- मॉबलिंचिंग की घटनाओं को नहीं कर रहा कोई भी सियासी दल याद इस लोकसभा चुनाव में ।
1 अप्रैल 2017 को नूंह जिले के जयसिंहपुर गांव के पहलू खान व उसके लड़कों को गौ रक्षा की आड़ में भीड़ तंत्र द्वारा बुरी तरह पीटा गया और पहलू खान को मौत के घाट उतार दिया था। आज 3 साल बीत जाने के बाद भी कोई भी सियासी दल उन्हें याद नहीं कर रहा है। उस समय बड़े बड़े सियासी दलों द्वारा पहलू खान के घर आकर उनके परिवार को बड़े-बड़े आश्वासन दिए गए ।
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नूंह मेवात जिले के पहलू खान निवासी जयसिंह पुर गांव की तरफ हमारी टीम ने रुख किया और बहरोड़ में भीड़तंत्र द्वारा पीट पीटकर मार देने वाले पहलू के परिजनों से बात की। भीड़तंत्र के गुस्से का निशाना बने इरशाद ने आपबीती को बताया ।
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पहलु खान की पत्नी जैबुना ने आंखों में आंसू भरकर कहा कि उनकी दुनिया उजड़ गई। अब कुछ नहीं बचा। देश की स्थिति भी अजीबोगरीब है। देश में कुछ समय पहले गाय के नाम पर राजनीति हो रही है थी लेकिन आज सभी राजनीतिक पार्टियां शायद अब इस मुद्दे को भूल चुकी है। गाय इंसान की जान पर भी भारी पड़ने लगी। बहरोड़ अलवर की घटना में तथाकथित गौरक्षकों की पिटाई से हमेशा के लिए दुनिया को अलविदा कह चुके पहलू खान निवासी जयसिंहपुर के घर में आज भी उस घटना सन्नाटा पसरा है।
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क्या है मामला :- 1 अप्रैल 2017 को पहलू खान निवासी जयसिंहपुर अपने दो बेटों और गांव के दो अन्य लोगों के साथ दो वाहनों में 5 दुधारू गाय ताजा ब्याई लेकर जयपुर के समीप मेले से मेवात अपने घर ला रहे थे। रास्ते में बहरोड़ के समीप दो बाइकों पर सवार तथाकथित गौरक्षकों ने गाड़ियों को रुकवाया और ताबड़तोड़ हमला कर पांच लोगों को जानवरों की तरह पीटा गया। जवान लडके तो पिटाई का दर्द सहन कर गए , लेकिन अधेड़ पहलू खान 55 वर्ष पिटाई के कारण दो दिन बाद दम तोड़ गया।
आपको बतादे की मॉबलिंचिंग में भाजपा सरकार में नूंह जिले के तक़रीबन आधा दर्जन लोगों की जान गई है कांग्रेस लोकसभा चुनाव में इस मॉबलिंचिंग मुद्दे को उठा रही है इसका लाभ भी उसे मिलता दिख रहा है।


बाइट :- इरशाद खान मृतक पहलू खान का चश्मदीद बेटा ।
बाइट :- जैबुना पत्नी पहलू खान ।

संवाददाता कासिम खान नूंह मेवात। Body:संवाददाता नूंह मेवात।

स्टोरी :- मॉबलिंचिंग की घटनाओं को नहीं कर रहा कोई भी सियासी दल याद इस लोकसभा चुनाव में ।
1 अप्रैल 2017 को नूंह जिले के जयसिंहपुर गांव के पहलू खान व उसके लड़कों को गौ रक्षा की आड़ में भीड़ तंत्र द्वारा बुरी तरह पीटा गया और पहलू खान को मौत के घाट उतार दिया था। आज 3 साल बीत जाने के बाद भी कोई भी सियासी दल उन्हें याद नहीं कर रहा है। उस समय बड़े बड़े सियासी दलों द्वारा पहलू खान के घर आकर उनके परिवार को बड़े-बड़े आश्वासन दिए गए ।
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नूंह मेवात जिले के पहलू खान निवासी जयसिंह पुर गांव की तरफ हमारी टीम ने रुख किया और बहरोड़ में भीड़तंत्र द्वारा पीट पीटकर मार देने वाले पहलू के परिजनों से बात की। भीड़तंत्र के गुस्से का निशाना बने इरशाद ने आपबीती को बताया ।
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पहलु खान की पत्नी जैबुना ने आंखों में आंसू भरकर कहा कि उनकी दुनिया उजड़ गई। अब कुछ नहीं बचा। देश की स्थिति भी अजीबोगरीब है। देश में कुछ समय पहले गाय के नाम पर राजनीति हो रही है थी लेकिन आज सभी राजनीतिक पार्टियां शायद अब इस मुद्दे को भूल चुकी है। गाय इंसान की जान पर भी भारी पड़ने लगी। बहरोड़ अलवर की घटना में तथाकथित गौरक्षकों की पिटाई से हमेशा के लिए दुनिया को अलविदा कह चुके पहलू खान निवासी जयसिंहपुर के घर में आज भी उस घटना सन्नाटा पसरा है।
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क्या है मामला :- 1 अप्रैल 2017 को पहलू खान निवासी जयसिंहपुर अपने दो बेटों और गांव के दो अन्य लोगों के साथ दो वाहनों में 5 दुधारू गाय ताजा ब्याई लेकर जयपुर के समीप मेले से मेवात अपने घर ला रहे थे। रास्ते में बहरोड़ के समीप दो बाइकों पर सवार तथाकथित गौरक्षकों ने गाड़ियों को रुकवाया और ताबड़तोड़ हमला कर पांच लोगों को जानवरों की तरह पीटा गया। जवान लडके तो पिटाई का दर्द सहन कर गए , लेकिन अधेड़ पहलू खान 55 वर्ष पिटाई के कारण दो दिन बाद दम तोड़ गया।
आपको बतादे की मॉबलिंचिंग में भाजपा सरकार में नूंह जिले के तक़रीबन आधा दर्जन लोगों की जान गई है कांग्रेस लोकसभा चुनाव में इस मॉबलिंचिंग मुद्दे को उठा रही है इसका लाभ भी उसे मिलता दिख रहा है।


बाइट :- इरशाद खान मृतक पहलू खान का चश्मदीद बेटा ।
बाइट :- जैबुना पत्नी पहलू खान ।

संवाददाता कासिम खान नूंह मेवात। Conclusion:संवाददाता नूंह मेवात।

स्टोरी :- मॉबलिंचिंग की घटनाओं को नहीं कर रहा कोई भी सियासी दल याद इस लोकसभा चुनाव में ।
1 अप्रैल 2017 को नूंह जिले के जयसिंहपुर गांव के पहलू खान व उसके लड़कों को गौ रक्षा की आड़ में भीड़ तंत्र द्वारा बुरी तरह पीटा गया और पहलू खान को मौत के घाट उतार दिया था। आज 3 साल बीत जाने के बाद भी कोई भी सियासी दल उन्हें याद नहीं कर रहा है। उस समय बड़े बड़े सियासी दलों द्वारा पहलू खान के घर आकर उनके परिवार को बड़े-बड़े आश्वासन दिए गए ।
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नूंह मेवात जिले के पहलू खान निवासी जयसिंह पुर गांव की तरफ हमारी टीम ने रुख किया और बहरोड़ में भीड़तंत्र द्वारा पीट पीटकर मार देने वाले पहलू के परिजनों से बात की। भीड़तंत्र के गुस्से का निशाना बने इरशाद ने आपबीती को बताया ।
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पहलु खान की पत्नी जैबुना ने आंखों में आंसू भरकर कहा कि उनकी दुनिया उजड़ गई। अब कुछ नहीं बचा। देश की स्थिति भी अजीबोगरीब है। देश में कुछ समय पहले गाय के नाम पर राजनीति हो रही है थी लेकिन आज सभी राजनीतिक पार्टियां शायद अब इस मुद्दे को भूल चुकी है। गाय इंसान की जान पर भी भारी पड़ने लगी। बहरोड़ अलवर की घटना में तथाकथित गौरक्षकों की पिटाई से हमेशा के लिए दुनिया को अलविदा कह चुके पहलू खान निवासी जयसिंहपुर के घर में आज भी उस घटना सन्नाटा पसरा है।
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क्या है मामला :- 1 अप्रैल 2017 को पहलू खान निवासी जयसिंहपुर अपने दो बेटों और गांव के दो अन्य लोगों के साथ दो वाहनों में 5 दुधारू गाय ताजा ब्याई लेकर जयपुर के समीप मेले से मेवात अपने घर ला रहे थे। रास्ते में बहरोड़ के समीप दो बाइकों पर सवार तथाकथित गौरक्षकों ने गाड़ियों को रुकवाया और ताबड़तोड़ हमला कर पांच लोगों को जानवरों की तरह पीटा गया। जवान लडके तो पिटाई का दर्द सहन कर गए , लेकिन अधेड़ पहलू खान 55 वर्ष पिटाई के कारण दो दिन बाद दम तोड़ गया।
आपको बतादे की मॉबलिंचिंग में भाजपा सरकार में नूंह जिले के तक़रीबन आधा दर्जन लोगों की जान गई है कांग्रेस लोकसभा चुनाव में इस मॉबलिंचिंग मुद्दे को उठा रही है इसका लाभ भी उसे मिलता दिख रहा है।


बाइट :- इरशाद खान मृतक पहलू खान का चश्मदीद बेटा ।
बाइट :- जैबुना पत्नी पहलू खान ।

संवाददाता कासिम खान नूंह मेवात।
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