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दलित बच्चों के धर्म परिर्वतन की बात को परिजनों ने नकारा, जानें पूरा मामला - हिंदी खबर

दलित बच्चों के धर्म परिवर्तन करने की खबरों का परिजनों और पुलिस ने खंडन किया है. पुलिस ने लोगों से अपील करते हुए कहा कि अफवाहों पर ध्यान ना दें.

पिनगवां पुलिस स्टेशन
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Published : Jun 29, 2019, 10:26 AM IST

नूंह: पिनगवां खंड के गांव पापड़ा में दलित समाज के बच्चों का धर्म परिवर्तन कराने की खबर झूठी निकली है. परिजनों और पुलिस ने खबर को सिरे से खारिज कर दिया है. परिजनों का कहना है कि उन्होंने सिर्फ अपने बच्चों के गुम होने की शिकायत दर्ज कराई थी.

इस घटना में पुलिस ने साफ कर दिया कि धर्म परिवर्तन की बात में कोई सच्चाई नहीं बल्कि अपहरण की घटना सही है. पुलिस ने जांच कर अपहरण का मामला दर्ज कर लिया है. शिकायतकर्ता प्रेमचंद की पत्नी ने पत्रकारों से बातचीत के दौरान कहा कि उनके ही गांव पापड़ा का साजिद उनके तीन बच्चों को उसे बिना कुछ बताए अपने एक रिश्तेदार के होटल पर काम कराने के लिए आंध्र प्रदेश के पल्ली में ले गया था.

कई दिन बाद जब बच्चों का कोई सुराग नहीं लगा तो उन्होंने बच्चों को इधर - उधर तलाशना शुरू किया. जब पता चला कि उनके बच्चों को साजिद एक होटल पर काम कराने के लिए लेकर गया है, तो उन्होंने अपने बच्चों से बात करने की कोशिश की लेकिन उनकी बात नहीं हो सकी. उसके बाद पीड़ित परिवार ने अपने बच्चों के गुमशुदा होने की शिकायत पुलिस में दी. जिसको एक दैनिक समाचार पेपर ने तरोड़ मरोड़ कर धर्म परिवर्तन के नाम से उजगार किया.

क्लिक कर देखें वीडियो

परिजनों का कहना है कि धर्म परिवर्तन कराने का कोई मामला नहीं है. गांव के गणमान्य लोगों ने भी इस मामले को झूठा बताया है. वहीं जब इस बारे में पिनगवां थाना प्रभारी समसुद्दीन से बात की गई, तो उन्होंने कहा कि हमारे पास शिकायत आई थी कि तीन बच्चों को साजिद नाम का युवक बहला फुसलाकर ले गया है. जिस पर मामला दर्ज कर लिया गया है. धर्म परिवर्तन का कोई मामला नहीं है. जांच में जो भी दोषी होगा उस पर कार्रवाई की जाएगी.

नूंह: पिनगवां खंड के गांव पापड़ा में दलित समाज के बच्चों का धर्म परिवर्तन कराने की खबर झूठी निकली है. परिजनों और पुलिस ने खबर को सिरे से खारिज कर दिया है. परिजनों का कहना है कि उन्होंने सिर्फ अपने बच्चों के गुम होने की शिकायत दर्ज कराई थी.

इस घटना में पुलिस ने साफ कर दिया कि धर्म परिवर्तन की बात में कोई सच्चाई नहीं बल्कि अपहरण की घटना सही है. पुलिस ने जांच कर अपहरण का मामला दर्ज कर लिया है. शिकायतकर्ता प्रेमचंद की पत्नी ने पत्रकारों से बातचीत के दौरान कहा कि उनके ही गांव पापड़ा का साजिद उनके तीन बच्चों को उसे बिना कुछ बताए अपने एक रिश्तेदार के होटल पर काम कराने के लिए आंध्र प्रदेश के पल्ली में ले गया था.

कई दिन बाद जब बच्चों का कोई सुराग नहीं लगा तो उन्होंने बच्चों को इधर - उधर तलाशना शुरू किया. जब पता चला कि उनके बच्चों को साजिद एक होटल पर काम कराने के लिए लेकर गया है, तो उन्होंने अपने बच्चों से बात करने की कोशिश की लेकिन उनकी बात नहीं हो सकी. उसके बाद पीड़ित परिवार ने अपने बच्चों के गुमशुदा होने की शिकायत पुलिस में दी. जिसको एक दैनिक समाचार पेपर ने तरोड़ मरोड़ कर धर्म परिवर्तन के नाम से उजगार किया.

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परिजनों का कहना है कि धर्म परिवर्तन कराने का कोई मामला नहीं है. गांव के गणमान्य लोगों ने भी इस मामले को झूठा बताया है. वहीं जब इस बारे में पिनगवां थाना प्रभारी समसुद्दीन से बात की गई, तो उन्होंने कहा कि हमारे पास शिकायत आई थी कि तीन बच्चों को साजिद नाम का युवक बहला फुसलाकर ले गया है. जिस पर मामला दर्ज कर लिया गया है. धर्म परिवर्तन का कोई मामला नहीं है. जांच में जो भी दोषी होगा उस पर कार्रवाई की जाएगी.

Intro:संवाददाता नूंह मेवात
स्टोरी ;- दलित बच्चों के धर्म परिवर्तन को पुलिस ने दिया झूठा करार , अपहरण की बात कबूली
नूंह जिले के पिनगवां खंड के गांव पापडा में दलित समाज के बच्चों से धर्म परिवर्तन मामले को परिजनों ने मीडिय़ा के सामने गलत बताया है। परिजनों का कहना है कि उन्होंने सिर्फ अपने बच्चों की गुम होने की शिकायत दर्ज कराई थी। जिस तरीके से एक दैनिक समाचार पेपर में खबर को प्रकाशित किया गया है ऐसा मामला नहीं है। इस घटना में पुलिस ने साफ कर दिया कि धर्म परिवर्तन की बात में कोई सच्चाई नहीं बल्कि अपहरण की घटना सही है। पुलिस ने जांच कर अपहरण का मामला दर्ज कर लिया है। मामले को गलत मोड़ देने पर कहीं न कहीं मीडियाकर्मियों से भी इलाके के लोग बेहद नाराज हैं।
शिकायतकर्ता प्रेमचंद की पत्नी ने पत्रकारों से बातचीत के दौरान कहा कि उनके ही गांव पापड़ा का साजिद उनके तीन बच्चों को उसे बिना कुछ बताए अपने एक रिश्तेदार की होटल पर काम कराने के लिए आंध्रा प्रदेश के पल्ली में ले गया। कई दिन बाद जब बच्चों का कोई सुराग नहीं लगा तो उन्होंने बच्चों को इधर - उधर तलाशा। जब पता चला कि उनके बच्चों को साजिद एक होटल पर काम कराने के लिए लेकर गया है, तो उन्होंने अपने बच्चों से बात करने की कोशिश की तो उनकी बात नहीं हो पाई। जिसको लेकर उन्हें शक हुआ और पिनगवां थाने में गांव के ही साजिद के खिलाफ शिकायत दी गई। परिजनों का कहना है कि धर्म परिवर्तन कराने का कोई मामला नहीं है। गांव के गणमान्य लोगों ने भी इस मामले को झूठा बताया है। वहीं जब इस बारे में पिनगवां थाना प्रभारी समसुद्दीन से बात की गई तो उन्होंने कहा कि हमारे पास शिकायत आई थी कि तीन बच्चों को साजिद नाम का युवक बहला फुसला कर ले गया है। जिस पर मामला दर्ज कर लिया है। धर्म परिवर्तन का कोई मामला नहीं है। जांच में जो भी दोषी होगा कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
बाइट;- आशा पीड़ित मां
बाइट;- हफीज ग्रामीण
बाइट;- समसुद्दीन एसएचओ पिनगवां
संवाददाता कासिम खान नूंह मेवात Body:संवाददाता नूंह मेवात
स्टोरी ;- दलित बच्चों के धर्म परिवर्तन को पुलिस ने दिया झूठा करार , अपहरण की बात कबूली
नूंह जिले के पिनगवां खंड के गांव पापडा में दलित समाज के बच्चों से धर्म परिवर्तन मामले को परिजनों ने मीडिय़ा के सामने गलत बताया है। परिजनों का कहना है कि उन्होंने सिर्फ अपने बच्चों की गुम होने की शिकायत दर्ज कराई थी। जिस तरीके से एक दैनिक समाचार पेपर में खबर को प्रकाशित किया गया है ऐसा मामला नहीं है। इस घटना में पुलिस ने साफ कर दिया कि धर्म परिवर्तन की बात में कोई सच्चाई नहीं बल्कि अपहरण की घटना सही है। पुलिस ने जांच कर अपहरण का मामला दर्ज कर लिया है। मामले को गलत मोड़ देने पर कहीं न कहीं मीडियाकर्मियों से भी इलाके के लोग बेहद नाराज हैं।
शिकायतकर्ता प्रेमचंद की पत्नी ने पत्रकारों से बातचीत के दौरान कहा कि उनके ही गांव पापड़ा का साजिद उनके तीन बच्चों को उसे बिना कुछ बताए अपने एक रिश्तेदार की होटल पर काम कराने के लिए आंध्रा प्रदेश के पल्ली में ले गया। कई दिन बाद जब बच्चों का कोई सुराग नहीं लगा तो उन्होंने बच्चों को इधर - उधर तलाशा। जब पता चला कि उनके बच्चों को साजिद एक होटल पर काम कराने के लिए लेकर गया है, तो उन्होंने अपने बच्चों से बात करने की कोशिश की तो उनकी बात नहीं हो पाई। जिसको लेकर उन्हें शक हुआ और पिनगवां थाने में गांव के ही साजिद के खिलाफ शिकायत दी गई। परिजनों का कहना है कि धर्म परिवर्तन कराने का कोई मामला नहीं है। गांव के गणमान्य लोगों ने भी इस मामले को झूठा बताया है। वहीं जब इस बारे में पिनगवां थाना प्रभारी समसुद्दीन से बात की गई तो उन्होंने कहा कि हमारे पास शिकायत आई थी कि तीन बच्चों को साजिद नाम का युवक बहला फुसला कर ले गया है। जिस पर मामला दर्ज कर लिया है। धर्म परिवर्तन का कोई मामला नहीं है। जांच में जो भी दोषी होगा कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
बाइट;- आशा पीड़ित मां
बाइट;- हफीज ग्रामीण
बाइट;- समसुद्दीन एसएचओ पिनगवां
संवाददाता कासिम खान नूंह मेवात Conclusion:संवाददाता नूंह मेवात
स्टोरी ;- दलित बच्चों के धर्म परिवर्तन को पुलिस ने दिया झूठा करार , अपहरण की बात कबूली
नूंह जिले के पिनगवां खंड के गांव पापडा में दलित समाज के बच्चों से धर्म परिवर्तन मामले को परिजनों ने मीडिय़ा के सामने गलत बताया है। परिजनों का कहना है कि उन्होंने सिर्फ अपने बच्चों की गुम होने की शिकायत दर्ज कराई थी। जिस तरीके से एक दैनिक समाचार पेपर में खबर को प्रकाशित किया गया है ऐसा मामला नहीं है। इस घटना में पुलिस ने साफ कर दिया कि धर्म परिवर्तन की बात में कोई सच्चाई नहीं बल्कि अपहरण की घटना सही है। पुलिस ने जांच कर अपहरण का मामला दर्ज कर लिया है। मामले को गलत मोड़ देने पर कहीं न कहीं मीडियाकर्मियों से भी इलाके के लोग बेहद नाराज हैं।
शिकायतकर्ता प्रेमचंद की पत्नी ने पत्रकारों से बातचीत के दौरान कहा कि उनके ही गांव पापड़ा का साजिद उनके तीन बच्चों को उसे बिना कुछ बताए अपने एक रिश्तेदार की होटल पर काम कराने के लिए आंध्रा प्रदेश के पल्ली में ले गया। कई दिन बाद जब बच्चों का कोई सुराग नहीं लगा तो उन्होंने बच्चों को इधर - उधर तलाशा। जब पता चला कि उनके बच्चों को साजिद एक होटल पर काम कराने के लिए लेकर गया है, तो उन्होंने अपने बच्चों से बात करने की कोशिश की तो उनकी बात नहीं हो पाई। जिसको लेकर उन्हें शक हुआ और पिनगवां थाने में गांव के ही साजिद के खिलाफ शिकायत दी गई। परिजनों का कहना है कि धर्म परिवर्तन कराने का कोई मामला नहीं है। गांव के गणमान्य लोगों ने भी इस मामले को झूठा बताया है। वहीं जब इस बारे में पिनगवां थाना प्रभारी समसुद्दीन से बात की गई तो उन्होंने कहा कि हमारे पास शिकायत आई थी कि तीन बच्चों को साजिद नाम का युवक बहला फुसला कर ले गया है। जिस पर मामला दर्ज कर लिया है। धर्म परिवर्तन का कोई मामला नहीं है। जांच में जो भी दोषी होगा कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
बाइट;- आशा पीड़ित मां
बाइट;- हफीज ग्रामीण
बाइट;- समसुद्दीन एसएचओ पिनगवां
संवाददाता कासिम खान नूंह मेवात
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