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करनालः कई स्कूलों पर लटकी पावर कट की तलवार, करोड़ों रुपये का बिजली बिल बकाया

स्कूलों के बकाए बिजली बिल को लेकर बिजली विभाग अब सख्त हो चुका है और स्कूलों के कनेक्शन काटने और मीटर उखाड़ने की तैयारी भी कर ली है.

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Published : Jan 2, 2020, 8:42 PM IST

Updated : Jan 2, 2020, 8:51 PM IST

करनालः सरकार भले ही शिक्षा और स्कूलों के स्तर को ऊंचा करने की बात करती हो, लेकिन ये दावे खोखले और कोरा साबित होता दिखाई दे रहे हैं. हरियाणा के करनाल जिले के कई सरकारी स्कूलों में पावर कट की नौबत आ गई है.

करोड़ों रुपये में बाकी हैं बिजली के बिल

शिक्षा विभाग की बड़ी लापरवाही के चलते करनाल जिले के कई स्कूलों के बिजली के बिल ब्याज दर ब्याज लगने के बाद एक करोड़ रुपए की रकम तक पहुंच गए हैं. दरअसल प्रशासन की तरफ से प्रति स्कूल मात्र तीन हजार रुपये बिजली के बिल के लिए मिलते हैं, लेकिन स्कूलों का बिल हजारों में आता है, जिसके कारण बिजली के बिल नहीं भरे जाते और ब्याज दर ब्याज लगने के बाद आज करोड़ों रुपये तक पहुंच गए हैं.

कई स्कूलों पर लटकी पावर कट की तलवार, करोड़ों रुपये का बिजली बिल बकाया.

बिजली काटने की तैयारी में बिजली विभाग

स्कूलों के बकाए बिजली बिल को लेकर बिजली विभाग अब सख्त हो चुका है और स्कूलों के कनेक्शन काटने और मीटर उखाड़ने की तैयारी भी कर ली है.

सरकार से बजट की मांग कर रहे अधिकारी

वहीं शिक्षा अधिकारी का कहना है कि इसके लिए सरकार से एक करोड़ रुपये के बजट की मांग की गई है, जिसके लिए 4 से 5 बार हेड ऑफिस में लिखा भी गया है. लेकिन अभी तक इसके ऊपर कोई भी कार्यवाही नहीं हुई है, जिसका खामियाजा जिले के कई स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चे और स्कूल स्टाफ को भुगतना पड़ रहा है.

3 साल से स्कूलों को नहीं मिला है बिजली बिल का बजट

वहीं मामले में जब शिक्षा मंत्री कंवर पाल गुर्जर से बात की गई तो उन्होंने कहा कि हमने इस मामले में कार्यवाही कर दी है, बहुत जल्द स्कूलों को बजट मिल जाएगा. पिछले 3 सालों से शिक्षा विभाग की ओर से स्कूलों को बिजली बिल का बजट ही नहीं दिया गया. जिसके चलते स्कूलों के बिजली के बिल ना भरे जाने से कई स्कूलों के कनेक्शन कटने की नौबत आ गई है. अब देखना होगा कि आने वाले समय में अधिकारियों और राजनेताओं की ओर से दिए गए आश्वासन पर कितना अमल होता है.

ये भी पढ़ेंः- महंगाई के खिलाफ चंडीगढ़ महिला कांग्रेस ने खोला मोर्चा, थाली बजाकर किया प्रदर्शन

करनालः सरकार भले ही शिक्षा और स्कूलों के स्तर को ऊंचा करने की बात करती हो, लेकिन ये दावे खोखले और कोरा साबित होता दिखाई दे रहे हैं. हरियाणा के करनाल जिले के कई सरकारी स्कूलों में पावर कट की नौबत आ गई है.

करोड़ों रुपये में बाकी हैं बिजली के बिल

शिक्षा विभाग की बड़ी लापरवाही के चलते करनाल जिले के कई स्कूलों के बिजली के बिल ब्याज दर ब्याज लगने के बाद एक करोड़ रुपए की रकम तक पहुंच गए हैं. दरअसल प्रशासन की तरफ से प्रति स्कूल मात्र तीन हजार रुपये बिजली के बिल के लिए मिलते हैं, लेकिन स्कूलों का बिल हजारों में आता है, जिसके कारण बिजली के बिल नहीं भरे जाते और ब्याज दर ब्याज लगने के बाद आज करोड़ों रुपये तक पहुंच गए हैं.

कई स्कूलों पर लटकी पावर कट की तलवार, करोड़ों रुपये का बिजली बिल बकाया.

बिजली काटने की तैयारी में बिजली विभाग

स्कूलों के बकाए बिजली बिल को लेकर बिजली विभाग अब सख्त हो चुका है और स्कूलों के कनेक्शन काटने और मीटर उखाड़ने की तैयारी भी कर ली है.

सरकार से बजट की मांग कर रहे अधिकारी

वहीं शिक्षा अधिकारी का कहना है कि इसके लिए सरकार से एक करोड़ रुपये के बजट की मांग की गई है, जिसके लिए 4 से 5 बार हेड ऑफिस में लिखा भी गया है. लेकिन अभी तक इसके ऊपर कोई भी कार्यवाही नहीं हुई है, जिसका खामियाजा जिले के कई स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चे और स्कूल स्टाफ को भुगतना पड़ रहा है.

3 साल से स्कूलों को नहीं मिला है बिजली बिल का बजट

वहीं मामले में जब शिक्षा मंत्री कंवर पाल गुर्जर से बात की गई तो उन्होंने कहा कि हमने इस मामले में कार्यवाही कर दी है, बहुत जल्द स्कूलों को बजट मिल जाएगा. पिछले 3 सालों से शिक्षा विभाग की ओर से स्कूलों को बिजली बिल का बजट ही नहीं दिया गया. जिसके चलते स्कूलों के बिजली के बिल ना भरे जाने से कई स्कूलों के कनेक्शन कटने की नौबत आ गई है. अब देखना होगा कि आने वाले समय में अधिकारियों और राजनेताओं की ओर से दिए गए आश्वासन पर कितना अमल होता है.

ये भी पढ़ेंः- महंगाई के खिलाफ चंडीगढ़ महिला कांग्रेस ने खोला मोर्चा, थाली बजाकर किया प्रदर्शन

Intro:भले ही सरकार शिक्षा व स्कूलों के स्तर को ऊंचा करने की बात करता है लेकिन वह खोखला और कोरा साबित होता दिखाई दे रहा है हरियाणा के करनाल जिले के सरकारी स्कूलों का एक करोड़ से भी ज्यादा बिजली का बिल बकाया, बिजली विभाग हुआ सख्त, मीटर उखाड़ने की तैयारी में ,आला अधिकारियों की सुस्त कार्रवाई के चलते खामियाजा विद्यार्थियों और स्कूल स्टाफ को पड़ रहा है भुगतना , शिक्षा मंत्री के आश्वासन के बाद भी नहीं मिला अभी तक शिक्षा विभाग को बजट ।


Body:शिक्षा विभाग की बड़ी लापरवाही के चलते करनाल जिले के कई स्कूलों के बिजली के बिल ब्याज दर ब्याज लगने के बाद एक करोड़ रुपए की राशि तक पहुंच गए हैं प्रति स्कूल प्रशासन की तरफ से बिजली के बिल के लिए मात्र तीन हजार रुपए मिलते हैं लेकिन स्कूलों का बिल कई हजारों में आता है जिसके कारण बिजली के बिल नहीं भरे जाते और व्याज दर ब्याज लगने के बाद वह आज के तारीख में करोड़ों रुपए तक पहुंच गए हैं जिसके लिए बिजली विभाग अब सख्त हो चुका है ।उन्होंने स्कूलों के कनेक्शन काटने और मीटर उखाड़ने की तैयारी भी कर ली है वहीं शिक्षा अधिकारी का कहना है कि इसके बारे में सरकार से एक करोड़ रुपए के बजट की मांग की गई है जिसके लिए 4 से 5 बार हेड आफिस में लिखा भी गया है लेकिन अभी तक इसके ऊपर कोई भी कार्यवाही नहीं हुई है जिसका खामियाजा जिले के कई स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चे और स्कूल स्टाफ को भुगतना पड़ रहा है। इस मामले में जब शिक्षा मंत्री कंवर पाल गुज्जर से बात की गई तो उन्होंने कहा कि हमने इस मामले में कार्यवाही कर दी है बहुत जल्द स्कूलों को बजट मिल जाएगा लेकिन हालात यह हैं कि शासन की तरफ से प्रति स्कूल साल का ₹3000 मिलता है और बिल हजारों में आता है ।


Conclusion:देखने वाली बात यह है कि पिछले 3 सालों से शिक्षा विभाग द्वारा स्कूलों को बिजली बिल का बजट ही नहीं दिया गया जिस कारण से स्कूलों के बिजली के बिल ना भरे जाने से कई स्कूलों के कनेक्शन भी काटे जा रहे हैं जिसका प्रभाव बच्चों की पढ़ाई और सेहत पर पड़ रहा है । अब देखना होगा कि आने वाले समय में अधिकारियों और राजनेताओं द्वारा दिए आश्वासन पर कितना अमल होने वाला है ।
Last Updated : Jan 2, 2020, 8:51 PM IST
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