ETV Bharat / state

किसान नेताओं का ये फैसला बढ़ा सकता है सरकार की मुसीबत!

किसान आंदोलन के बीच जींद के किसान नेताओं ने एक और ऐलान किया है. ये ऐलान सरकार के लिए बड़ी मुसीबत साबित हो सकता है.

jind farmers election boycott
किसानों नेताओं ने किया चुनाव बहिष्कार का ऐलान
author img

By

Published : Jun 19, 2021, 8:58 PM IST

Updated : Jun 19, 2021, 9:10 PM IST

जींद: तीन कृषि कानूनों के खिलाफ दिल्ली के बॉर्डरों पर किसानों का आंदोलन (farmers agitation) लगातार जारी है. आंदोलन को 7 महीने का वक्त पूरा होने वाला है. ऐसे में अब किसान नेताओं की ओर से नया ऐलान किया गया है. जींद के खटकड़ टोल प्लाजा से किसान नेताओं ने सभी चुनावों का बहिष्कार करने और सर्वसम्मति से जनप्रतिनिधियों को चुनने का ऐलान किया है.

ये भी पढ़िए: बीजेपी सांसद का बड़ा आरोप, 'किसान आंदोलन की आड़ में धरनास्थल पर चल रही वेश्यावृत्ति और नशाखोरी'

इस बारे में जानकारी देते हुए किसान नेता रणधीर सिंह ने कहा कि किसानों को आंदोलन करते हुए अब 7 महीने होने वाले हैं, लेकिन सरकार अपनी जिद पड़ी है. ऐसे में अब किसानों ने फैसला लिया है कि आने वाले वक्त में सभी चुनावों का ना सिर्फ बहिष्कार (election boycott) किया जाएगा बल्कि सर्वसम्मति से खुद ही जनप्रतिनिधियों को चुना जाएगा.

किसानों नेताओं ने किया चुनाव बहिष्कार का ऐलान

ये भी पढ़िए: आंदोलन को बदनाम करने की कोशिश में सरकार, लेकिन किसान बना रहे हैं खास रणनीति: दर्शनपाल

उन्होंने कहा कि चुनाव के नाम पर पार्टियां सिर्फ राजनीति करती है, लेकिन हरियाणा के इतिहास में पहली बार ऐसा होगा जब किसान सभी लोगों को साथ लेकर ना सिर्फ राजनीति पार्टियों का बहिष्कार करेंगे बल्कि उन लोगों को जनप्रतिनिधि चुनेंगे जो क्षेत्रों का विकास करेंगे. किसान नेता ने कहा कि सराकर की तानाशाही और तीन कृषि कानूनों को रद्द नहीं करने की जिद्द से किसानों में काफी गुस्सा है. ऐसे में अब किसान किसी भी साफ छवि के शख्स को सर्वसमिति से जनप्रतिनिधि के तौर पर चुन लेंगे.

26 नवंबर 2020, को किसानों ने तीन कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन शुरू किया था. किसान आंदोलन (Kisan Andolan) के आगामी 26 तारीख को 7 महीने पूरे हो जाएंगे. किसानों का कहना है कि जबतक सरकार उनकी मांगें नहीं मान लेती तबतक उनका ये आंदोलन ऐसे ही जारी रहेगा. बता दें कि इस बीच सरकार के साथ किसान नेताओं की कई दौर की बातचीत भी हो चुकी है, लेकिन ये बातचीत अबतक बेनतीजा ही साबित हुई है.

जींद: तीन कृषि कानूनों के खिलाफ दिल्ली के बॉर्डरों पर किसानों का आंदोलन (farmers agitation) लगातार जारी है. आंदोलन को 7 महीने का वक्त पूरा होने वाला है. ऐसे में अब किसान नेताओं की ओर से नया ऐलान किया गया है. जींद के खटकड़ टोल प्लाजा से किसान नेताओं ने सभी चुनावों का बहिष्कार करने और सर्वसम्मति से जनप्रतिनिधियों को चुनने का ऐलान किया है.

ये भी पढ़िए: बीजेपी सांसद का बड़ा आरोप, 'किसान आंदोलन की आड़ में धरनास्थल पर चल रही वेश्यावृत्ति और नशाखोरी'

इस बारे में जानकारी देते हुए किसान नेता रणधीर सिंह ने कहा कि किसानों को आंदोलन करते हुए अब 7 महीने होने वाले हैं, लेकिन सरकार अपनी जिद पड़ी है. ऐसे में अब किसानों ने फैसला लिया है कि आने वाले वक्त में सभी चुनावों का ना सिर्फ बहिष्कार (election boycott) किया जाएगा बल्कि सर्वसम्मति से खुद ही जनप्रतिनिधियों को चुना जाएगा.

किसानों नेताओं ने किया चुनाव बहिष्कार का ऐलान

ये भी पढ़िए: आंदोलन को बदनाम करने की कोशिश में सरकार, लेकिन किसान बना रहे हैं खास रणनीति: दर्शनपाल

उन्होंने कहा कि चुनाव के नाम पर पार्टियां सिर्फ राजनीति करती है, लेकिन हरियाणा के इतिहास में पहली बार ऐसा होगा जब किसान सभी लोगों को साथ लेकर ना सिर्फ राजनीति पार्टियों का बहिष्कार करेंगे बल्कि उन लोगों को जनप्रतिनिधि चुनेंगे जो क्षेत्रों का विकास करेंगे. किसान नेता ने कहा कि सराकर की तानाशाही और तीन कृषि कानूनों को रद्द नहीं करने की जिद्द से किसानों में काफी गुस्सा है. ऐसे में अब किसान किसी भी साफ छवि के शख्स को सर्वसमिति से जनप्रतिनिधि के तौर पर चुन लेंगे.

26 नवंबर 2020, को किसानों ने तीन कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन शुरू किया था. किसान आंदोलन (Kisan Andolan) के आगामी 26 तारीख को 7 महीने पूरे हो जाएंगे. किसानों का कहना है कि जबतक सरकार उनकी मांगें नहीं मान लेती तबतक उनका ये आंदोलन ऐसे ही जारी रहेगा. बता दें कि इस बीच सरकार के साथ किसान नेताओं की कई दौर की बातचीत भी हो चुकी है, लेकिन ये बातचीत अबतक बेनतीजा ही साबित हुई है.

Last Updated : Jun 19, 2021, 9:10 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.