हिसार: हरियाणा के तीन पर्वतारोहियों पर नेपाल सरकार कार्रवाई करने जा रही है. आरोप लग रहे हैं कि इन पर्वतारोहियों ने माउंट ऐवरेस्ट फतह करने का झूठा दावा किया है. बता दें कि हांसी उपमंडल के गांव लालपुरा के अंकुश कसाना ने 26 मई को माउंट एवरेस्ट को फतह करने का दावा किया. अंकुश कसाना के दो अन्य साथी जींद के गांव सुदकैन खुर्द के विकास राणा और कैथल के करोरा गांव की शोभा बनवाला ने भी माउंट एवरेस्ट फतह करने का दावा किया था.
अखबार ने किया दावा, 'खिलाड़ी झूठ बोल रहे हैं'
नेपाल के 'अखबार द हिमालयन टाइम्स' में छपी एक रिपोर्ट के मुताबिक तीनों किसी भी तरह के तथ्य पेश नहीं कर पाए जो इस बात की पुष्टि करें कि उन्होंने एवरेस्ट को फतह किया है. अखबार का दावा है कि यह तीनों ही शिखर पर पहुंचने की कोई तस्वीर नहीं दिखा रहे हैं और गाइड शेरपा ने इस बात की पुष्टि की है. गौरतलब है कि नेपाल सरकार ने 26 मई को हरियाणा के इन तीन पर्वतारोहियों पर कार्रवाई करने के आदेश दिए हैं.
अखबार ने किया दावा, 'खिलाड़ी झूठ बोल रहे हैं'
नेपाल के अखबार द हिमालयन टाइम्स में छपी एक रिपोर्ट के मुताबिक तीनों किसी भी तरह के तथ्य पेश नहीं कर पाए जो इस बात की पुष्टि करें कि उन्होंने एवरेस्ट को फतह किया है. अखबार का दावा है कि यह तीनों ही शिखर पर पहुंचने की कोई तस्वीर नहीं दिखा रहे हैं और गाइड शेरपा ने इस बात की पुष्टि की है. गौरतलब है कि नेपाल सरकार ने 26 मई को हरियाणा के इन तीन पर्वतारोहियों पर कार्रवाई करने के आदेश दिए हैं.
अंकुश कसाना के घर पहुंची ईटीवी भारत की टीम
ईटीवी भारत की टीम लालपुरा गांव के अंकुश कसाना से मिलने पहुंची तो पता चला कि वह कुरुक्षेत्र में एलएलबी कर रहे हैं और इस वक्त घर पर नहीं है. वहीं जो उनके मोबाइल पर संपर्क करने की कोशिश की गई तो संपर्क नहीं हो पाया.
पूरे मामले पर उनके परिवार का कहना है कि अंकुश खुद इस पर कोई प्रतिक्रिया देंगे और जब अंकुश कसाना का सर्टिफिकेट आ जाएगा तब इसकी पुष्टि करेंगे. परिवार का कहना है कि उन्होंने माउंट एवरेस्ट को फतह किया है. एवरेस्ट फतह के दौरान की तस्वीरों के बारे में जब परिवार से पूछा गया तो उन्होंने बताया कि सारी तस्वीरें अंकुश कसाना के मोबाइल में हैं.